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अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी ने पंजाब केसरी के पत्रकार के.एम. शर्मा को दिया एक करोड़ का नोटिस

अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के खिलाफ पिछले दो माह से पंजाब केसरी जालंधर में समाचार प्रकाशित करा रहे अलीगढ़ के पत्रकार के.एम. शर्मा को अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) की ओर से वकील बी.एस. कमठानिया ने एक करोड़ रुपये की मानहानि का नोटिस दिया है। इससे पूर्व एएमयू के कंट्रोलर जावेद अख्तर ने के.एम. शर्मा के मोबाइल पर एसएमएस भेजकर खबर छपने पर स्वयं जिम्मेदार होने की धमकी भी दी है।  पंजाब केसरी जालंधर के पत्रकार के.एम. शर्मा पिछले दो माह से आरटीआई से जानकारी लेकर तथ्यों के आधार पर एएमयू में वीसी के भ्रष्टाचार की पोल खोलने के समाचार प्रकाशित करा रहे थे।

अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के खिलाफ पिछले दो माह से पंजाब केसरी जालंधर में समाचार प्रकाशित करा रहे अलीगढ़ के पत्रकार के.एम. शर्मा को अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) की ओर से वकील बी.एस. कमठानिया ने एक करोड़ रुपये की मानहानि का नोटिस दिया है। इससे पूर्व एएमयू के कंट्रोलर जावेद अख्तर ने के.एम. शर्मा के मोबाइल पर एसएमएस भेजकर खबर छपने पर स्वयं जिम्मेदार होने की धमकी भी दी है।  पंजाब केसरी जालंधर के पत्रकार के.एम. शर्मा पिछले दो माह से आरटीआई से जानकारी लेकर तथ्यों के आधार पर एएमयू में वीसी के भ्रष्टाचार की पोल खोलने के समाचार प्रकाशित करा रहे थे।

 

इस पर अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के जनसम्पर्क अधिकारी राहत अबरार ने पहले उनके खिलाफ थाना सिविल लाइन में रिपोर्ट दर्ज कराई, जिसमें उन्हें पंजाब केसरी दिल्ली का प्रतिनिधि न होना दर्शाया, जबकि मानहानि के नोटिस व स्वयं 16 जून 2014 को पंजाब केसरी जालंधर के एडीटर आर.एस. जॉली को पत्र लिखकर के.एम. शर्मा की एएमयू के खिलाफ खबर लिखने पर शिकायत की। थाना सिविल लाइन में पहुंचकर पत्रकार के.एम. शर्मा ने राहत अबरार के द्वारा दर्ज कराई रिपोर्ट को फर्जी व कूटरचित सोच करार दिया है। इसमें उन्होंने एएमयू द्वारा पुलिस को गुमराह कर 420 का सुबूत दिया है। उसके बाद अमुवि के वाइस चासंलर जमीरउद्दीन शाह ने पत्र लिखा, जिसमें उन्होंने के.एम. शर्मा के साथ कोई भी बातचीत न करने की स्टाफ/सभी संकायों के अध्यापकों पर प्रतिबंध लगा दिया था। अब एएमयू ने के.एम. शर्मा को एक करोड़ रूपये की मानहानि का नोटिस दिया है। ऐसे में एएमयू के भ्रष्टाचार का उजागर न करने पर के.एम. शर्मा पर तरह-तरह से दवाब बनाया जा रहा है और धमकियां दी जा रही हैं कि वह एएमयू के खिलाफ समाचार प्रकाशित करना बंद करें।

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0 Comments

  1. raja

    July 24, 2014 at 12:07 pm

    के एम शर्मा पत्रकार नहीं हैं यह शेखर का गुर्गा हैं जोकि पंजाब केसरी दिल्ली से निकाला जा चूका हैं। यह फिरोजाबद से बहुत पैसा अशोक यादव से चुनाव के दौरान लाया था जिसमें उसने संस्थान मैं नहीं जमा कराया। इसलिए जहाँ तक मेरा सवाल हैं यह पत्रकार नहीं हैं और रही बात पंजाब केसरी की तो इसके मालिक भी दलाल हैं। मथुरा मैं कमल कान्त उपमन्यु इसका उदाहरण हैं

  2. Rahis Qureshi

    September 13, 2014 at 12:31 pm

    Bhai aap ne tek he kaha Mathura me bhi Kamal Kant Naam ka ek Dalal Patkar hai. jo apne ko Panjab Kesri ka Repoter kata h. 😆
    is Dalal patkar ne mathura mai IPS aur IAS officer ko Col Girl Puhuchata. 😆

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