Abhishek Chandra : SC/ST Act का उपयोग कर यही वो शिकायत है जिसे आधार बना कर नालंदा का एक तथाकथित पत्थर तोड़ने वाला मजदूर अपने दलित होने का हवाला दे राजस्थान के बाड़मेर के एक पत्रकार को पटना तक गिरफ्तार कर हाज़िर करवा लेता है!
Rajiv Nayan Bahuguna : बाड़मेर, राजस्थान के एक निर्भीक एवं निरपेक्ष पत्रकार दुर्ग सिंह राजपुरोहित को बिहार पुलिस एक काल्पनिक एवं झूठे मामले में साथ हांक ले गयी। अंधेर है। प्रथम दृष्टया मामला यह पता चला है कि राजस्थान निवासी बिहार के महमहिम यहां किसी महिला के पास निरन्तर आते जाते थे। राजपुरोहित ने vvip की इस तरह निरन्तर यात्राओं पर कौतूहल जताते हुए मामला उठाया। इस पर उनके विरुद्ध sc/st एक्ट के तहत मामला दर्ज कर पटना पुलिस के एक व्हाट्स एप्प मेसेज़ पर राजपुरोहित को बिहार पुलिस के सुपुर्द कर दिया गया। यह बाजीराव – मस्तानी जैसा केस है, और स्वेच्छाचारिता का चरमोत्कर्ष है। मेरी मान्यता है कि गवर्नर की भी दैहिक कामनाएं हो सकती हैं , और उन्हें मनचाही महिला अथवा पुरुष से मिलने, जुलने और घुलने का प्राकृतिक अधिकार प्राप्त है , जैसा कि हम सभी को है । लेकिन एक गरिमा पूर्ण संवैधानिक पद पर बैठ कर यदि वह सामान्य मजनुओं जैसा बर्ताव करते हैं, तो उन्हें अपनी ओर उठ रही उंगलियों का सामना भी करना होगा। तिलमिलाहट में उनके द्वारा पत्रकार उत्पीड़न की कार्रवाई घोर आपत्तिजनक एवं अश्लील है। मित्रगण सुझाएँ कि हमे क्या करना चाहिए। मेरी समझ से कुछ पत्रकार मित्रों को बाड़मेर जाकर मामले पर एक रिपोर्ट तय्यार करनी चाहिए।
Kavish Aziz Lenin : तो क्या सचमुच हम इमरजेंसी के दौर में जी रहे हैं… राजस्थान बाड़मेर इंडिया न्यूज के वरिष्ठ पत्रकार Durg Singh Rajpurohit को सच लिखने की सज़ा एससीएसटी एक्ट के अंतर्गत गिरफ्तारी के रूप में मिली..कल Yashwant Singh sir ने लिखा था जिसके बाद मैंने दुर्ग सिंह राजपुरोहित से बात किया, बिना सुरक्षा के एक पत्रकार को फ़र्ज़ी मामले में फंसा कर पटना भेजा जा रहा जिसका न तो पटना से कोई लेना देना है ना ही वो कभी पटना गए.. राजस्थान में भी भाजपा सरकार है और बिहार में भी और ये पूरा खेल इन दोनों राज्य की सरकारों के बीच का है, दुर्ग सिंह राजपुरोहित एक निडर पत्रकार हैं जो सच लिखने में झिझकते नहीं, और इस सच का नतीजा उन्हें गिरफ्तारी के रूप में मिला.. मैं हिंदुस्तान के हर स्टेट के पत्रकार और आम जन से गुज़ारिश करती हूं कि दुर्ग जी के लिए आवाज़ उठाएं.. और #justicefordurgsinghrajpurohit की मुहिम चला कर उन्हें न्याय दिलाए.. हर रोज़ पत्रकार मारे जा रहे हैं आज नही तो कल हमारा नम्बर भी आएगा, इसलिए अपनी क़लम से प्रोटेस्ट करना शुरू कर दीजिए… गज़ब सरकार है बात करती है सच बोलना दुश्वार कर दिया है… Please सब से गुज़ारिश है पोस्ट को शेयर करें।
वरिष्ठ पत्रकार अभिषेक चंद्रा, राजीव नयन बहुगुणा और कविश अज़ीज़ लेनिन की एफबी वॉल से.
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