लखनऊ से अनूप गुप्ता के प्रधान संपादकत्व में प्रकाशित होने वाली मैग्जीन ‘दृष्टांत’ का भ्रष्ट तंत्र ने गला घोंट दिया है. खबर है कि इस मैग्जीन का डिक्लयरेशन कैंसल करते हुए अब आरएनआई भी निरस्त करने की सिफारिश कर दी गई है. इस मैग्जीन ने भ्रष्ट आईएएस नवनीत सहगल, भ्रष्ट पत्रकार हेमंत तिवारी, भ्रष्ट मंत्री महबूब अली समेत ढेरों भ्रष्टाचारियों के चेहरों से नकाब हटाया था. अनूप गुप्ता को उनकी साहसी पत्रकारिता के लिए पिछले दिनों दिल्ली में भड़ास4मीडिया की तरफ से प्रेस क्लब आफ इंडिया में आयोजित एक कार्यक्रम में भड़ास सम्मान से सम्मानित किया गया था.
सम्मान लेने के बाद दिल्ली से लखनऊ लौटे अनूप गुप्ता को पता चला कि उनके मैग्जीन का गला घोंटा जा चुका है. अनूप गुप्ता ने भड़ास4मीडिया से बातचीत में कहा कि ये भ्रष्ट गठजोड़ चाहे जो प्रयास कर ले, आज के डिजिटल दौर में मीडिया का मुंह पूरी तरह नहीं बंद किया जा सकता. अगर मैग्जीन के रूप में ये लोग प्रकाशन बंद कराते हैं तो फिर दृष्टांत को आनलाइन माध्यमों के जरिए प्रकाशित प्रसारित किया जाएगा. उधर, भड़ास4मीडिया के संपादक यशवंत सिंह ने अनूप गुप्ता को प्रस्ताव दिया है कि अपनी मैग्जीन को वो पीडीएफ फार्मेट में भड़ास4मीडिया पर प्रकाशित करावें ताकि उसे ज्यादा से ज्यादा पाठक डाउनलोड करके पढ़ सके. कुल मिलाकर अगर भ्रष्टाचारियों का गठजोड़ एकजुट होकर एक अच्छी साहसिक मैग्जीन को बंद कराने पर आमादा है तो हजारों हाथ अनूप गुप्ता के पक्ष में उठ खड़े होकर यह संदेश दे रहे हैं कि रुक जाने का नाम जिंदगी नहीं, नए दौर में नए तरीके के साथ युद्ध जारी रखिए.
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Rakesh Srivastava
October 15, 2015 at 12:14 am
बेहतरीन कवरेज, सही मायने मे पत्रकारिता यही कहलाती है