प्रकाश के रे-
यह भयावह है. यह भारतीय व्यवस्था के अंतस पर चोट है. गाँवों की छोड़ ड़ें, शहरों में किसी भी किराना दुकान पर कुछ देर के लिए खड़े हो जाएँ, आप देखेंगे कि कोई कामगार या उसके परिवार का कोई दस रुपए का तेल या पाँच रुपया का साबुन आदि लेता हुआ दिख जायेगा. एक बड़ी आर्थिकी है गाँव से शहर तक, जो ऐसे खुदरा लेन-देन का बड़ा विस्तार है. तेल, मसाला, चाय, साबुन, अनाज आदि थोड़ी-थोड़ी मात्रा में ख़रीद कर एक बड़ी आबादी, जो ग़रीब है, जीती है. ऐसे नियम लाना केवल ग़लत नहीं है, यह पाप है, अत्याचार है.
अमन यादव-
तुम मरो या जिंदा रहो देश में धंधा तो अब अडानी और अंबानी ही करेंगे। तुम अपने मरने के सारे विकल्पों पर विचार कर सकते हो कि कौन सा तरीका कम दर्दनाक और आसान रहेगा। सभी देशवासियों को कंपनियों की गुलामी की हार्दिक बधाई शुभकामनाएं!
विजय शंकर सिंह-
ख़ल्क़ खुदा की, मुल्क, ख़ल्क़ का और हुक्म कंपनी बहादुर का। उन गरीबो का क्या होगा जो पाव भर तेल खरीद के परचून के दुकानदार से ले जाते हैं और अपने कुछ दिन बिताते है।
रोज कमाने और रोज खाने वाली यह वह बहुसंख्यक आबादी है जो एक्सप्रेस वे, एयरपोर्ट, बड़े बड़े मॉल, स्मार्ट सिटी जैसे विकास के नए मापदंड से दूर एक अलग और उपेक्षित मुल्क की तरह है।
5 किलो मुफ्त राशन पर पल रही यह बहुसंख्यक आबादी, जिसकी एक दिन की आय, सबसे सस्ते टोल नाके की फीस से भी कम है, वह अब तेल, मसाले, साबुन, जैसे रोजमर्रा की चीजों से भी महरूम हो जाएगी।
तेल के छोटे पाउच भी आ जाएंगे या कहिये आ ही गए हैं, पर गांव, कस्बो के छोटे दुकानदार और परचून के व्यापारी तो कम्पनी राज के इस फरमान से सबसे अधिक प्रभावित होंगे।
jai
September 20, 2021 at 1:23 pm
ये तो गत वर्ष के दिसम्बर की खबर है जो लगभग सभी मीडिया मे कव्हर हुई थी. आप लोग किस अँगल से अपने को पत्रकार कहलवाने की हसरत लिये बैठे है, जब इतनी बेसिक जनकारी तक नाही आपको? देखीये, न्युज18 वालो ने क्या छापा था 23 दिसम्बर 2020 को : “देश में बीते 9 साल से खाने के तेल की खुली बिक्री पर बैन लगा हुआ है. इतना ही नहीं जिस टिन के डिब्बे में तेल बिकता है उसको भी दोबारा से इस्तेमाल करने पर पाबंदी लगी हुई है. इसी के चलते सभी राज्य हर साल अपने यहां इस पाबंदी को बढ़ाते रहते हैं. मद्रास हाईकोर्ट ने भी इसी तरह का फैसला देते हुए खुले तेल की बिक्री पर रोक लगा दी है. साथ ही कानून तोड़ने वाले पर राज्य गुंडा एक्ट के तहत कार्रवाई करने की बात कही है.”…
At least do google search now to verify it…