: पांच महीनों में दूरदर्शन की बढ़ी पूछ : टीवी दर्शक सबसे ज्यादा कौन सा चैनल देखते हैं? इसका खुलासा करने वाले टीआरपी यानी टेलीविजन रेटिंग प्वाइंट चाहे जो कहते हों लेकिन मोदी सरकार के आने के बाद सत्ता के गलियारों में अब देश के सार्वजनिक टीवी चैनल दूरदर्शन की बढ़ती धमक साफ देखने को मिल रही है। सरकार ,संचालन के केंद्र नॉर्थ और साउथ ब्लॉक में दूरदर्शन की पूछ पिछले पांच महीनों में तेजी से बढ़ी है। मंत्री और अफसरों से लेकर देशी-विदेशी राजनयिक और कांग्रेस समेत तमाम राजनीतिक दल सरकार के हरेक कदम की जानकारी के लिए दूरदर्शन के समाचार चैनल पर खुद को अपडेट रख रहे हैं।
सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने भी केबल ऑपरेटरों को दूरदर्शन के सभी चैनल दिखाने के लिए कड़े निर्देश दिए और कई ऑपरेटरों के खिलाफ डीडी न्यूज नहीं दिखाने के लिए कड़ी कार्रवाई भी की है। सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने पिछले महीने ही सभी मंत्रालयों के सचिवों को चिट्ठी लिखकर अपने मंत्रालय की गतिविधियों की जानकारी सबसे पहले दूरदर्शन को देने की अपील की थी। इन सभी बातों को ध्यान में रखते हुए मंत्री और अफसरों ने अपनी नजरें दूरदर्शन के डीडी न्यूज पर लगा दी है।
मानव संसाधन मंत्रालय के दो निदेशकों ने तो मंत्रालय के प्रशासकीय विभाग से अपने कमरों में टीवी रखने की गुजारिश लिखकर की है। इनमें से एक निदेशक ने बताया है कि बदले माहौल में टीवी पर दूरदर्शन देखना बहुत जरूरी हो गया है। डीडी न्यूज की हैसियत तब और बढ़ गई, जब प्रधानमंत्री अपने विदेश दौरों में सिर्फ डीडी न्यूज की मीडिया टीम को प्रसारण के लिए ले जाने का फैसला किया। अमेरिका, जापान, भूटान, नेपाल समेत तमाम विदेशी यात्राओं की जानकारी सबसे पहले डीडी न्यूज ने दी। फिर बाकी निजी चैनलों को डीडी न्यूज के जरिये सूचना हाथ लगी।
ऐसे ही स्वच्छ भारत अभियान, शिक्षक दिवस और राष्ट्रीय एकता दिवस की प्रधानमंत्री की पहल का सबसे पहले आधिकारिक प्रसारण का अधिकार डीडी न्यूज को मिला। उसके बाद डीडी के जरिये दूसरे चैनलों को यह दिखाने का मौका मिला। सरकार के 100 दिनों के मौके पर लगभग सभी मंत्रालयों ने प्रेस कांफ्रेंस कर अपनी उपलब्धियां बताईं। यही एक मौका था कि सभी मंत्री बाकी मीडिया से रू-ब-रू हुए। मगर ज्यादातर मंत्री डीडी न्यूज को बुलाकर ही अपने मंत्रालय की जानकारी देना ठीक समझ रहे हैं। सरकार की सूचना और प्रचार की जिम्मेदारी निभाने वाला प्रेस सूचना ब्यूरो भी सबसे पहले दूरदर्शन और आकाशवाणी को ही जानकारी दे रहा है।
विदेश दौरों में सिर्फ डीडी न्यूज की टीम ले जाने के मोदी के फैसले से दूरदर्शन की हैसियत काफी बढ़ गई। अमेरिका, जापान, भूटान, नेपाल समेत तमाम विदेशी यात्राओं की जानकारी सबसे पहले डीडी न्यूज ने दी। सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने केबल ऑपरेटरों को दूरदर्शन के सभी चैनल दिखाने के लिए कड़े निर्देश दिए हैं। कई ऑपरेटरों के खिलाफ डीडी न्यूज नहीं दिखाने के लिए कड़ी कार्रवाई की गई है।
अमर उजाला, दिल्ली में प्रकाशित धीरज कनोजिया की स्टोरी.
santosh singh
November 23, 2014 at 2:22 pm
Naya Nau Din Purana Sau Din.Der Aaye Durust Aaye.Bahut Jaruri Tha DD News ka sahi se adhunikikran ke sath sahi samay per sahi prasaren ka. THANK YOU MODI JI