Satyendra PS : दूर संचार नियामक प्राधिकरण वाले शर्मा बोल रहे हैं कि नए नियम से टीवी केबल का बिल कम हो जाएगा। हमसे तो आज ही केबल वाला 300 रुपये ले गया है, इसके पहले 250 रुपये देता था। उप्पर से कह गया है कि कुछ चैनल कट जाएंगे औऱ मैंने कहा है कि जो देखता हूँ, हिंदी अंग्रेजी का, उसमें से एक भी कटा तो तुम्हारे केबल का डिब्बी डब्बा उठाकर फेंक देंगे,अगले महीने पैसे लेने मत आना।
हालांकि वो भी कॉन्फिडेंस से बोला है कि जितना चैनल हम आपको दिखाते हैं उतने का डीटीएच वाले 1000 रुपये लेंगे। बक्सा न फेक पाएंगे। लेकिन मैंने भी कह दिया कि वो लाख रुपये महीने लेते हों,हमसे मतलब नहीं है। आपके यहाँ टीवी है न? जरा बताइये न कि पहले जितना चैनल देख थे, उतना देखने का अब कितना पैसा दे रहे हैं?
भक्त लोग भी ईमानदारी से बता सकते हैं। हालांकि भक्त लोगों को पता भी न होगा कि क्या नियम बदला है और केबल डीटीएच वाले ज्यादा पैसा क्यों चाँप रहे हैं? वो बेचारे तो इतने निरीह हैं कि यही सोच रहे होंगे कि केबल डीटीएच वाले हरामी हैं खान्ग्रेसी हैं, 70 साल पहले नेहरू ने केबल का दाम तय किया था। बेचारे प्यारे मोदी जी का क्या दोष।
(आपको बता दें कि ये मोर मोरनी वाले शर्मा नहीं हैं। ये वो वाले शर्मा हैं जिन्होंने अपना आधारकार्ड सार्वजनिक किया तो हैकर इनकी चड्ढी का कलर बता दिए थे। उसके बाद सरकार को चेतावनी जारी करनी पड़ी थी कि आप अपना आधार नम्बर सार्वजनिक न करें, उसी तरह गोपनीय रखें जैसे पैन आदि रखते हैं।)
वरिष्ठ पत्रकार सत्येंद्र पी सिंह की एफबी वॉल से.