निलेन्दु जयपुरियार ने छोड़ा रांची एक्सप्रेस संपादक का पद.. लिया दैनिक आवाज़ अखबार की फ्रैंचाइजी… स्थानीय संपादक के तौर पे देखेंगे हजारीबाग एडिशन… जाने माने पत्रकार और रांची एक्सप्रेस के हजारीबाग एडिशन के स्थानीय संपादक निलेन्दु जयपुरियार ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया।
इसके साथ ही उनकी नई पारी शुरू हो गयी दैनिक आवाज की फ्रैंचाइजी लेकर। वे अब इस अखबार के हजारीबाग एडिशन को लांच करेंगे जुलाई तीन को जिसमे होंगे चार जिले यानी हजारीबाग, कोडरमा, रामगढ़ और चतरा।
हजारीबाग में दैनिक हिंदुस्तान अखबार के ब्यूरो चीफ रहे श्री जयपुरियार ने कई बड़े अखबारों में काम करने के बाद रांची एक्सप्रेस का दामन थामा था। ये उनके कलम की ताकत ही थी कि कुछ महीनों में रांची एक्सप्रेस अखबार यहां अपनी खबरों की वजह से चर्चा में आ गया था। पर प्रबंधन की लापरवाही और कर्मचारियों, रिपोर्टर्स को वेतन नहीं देने की से इसका हजारीबाग एडिशन कभी लांच नहीं हो पाया।
कहा जा रहा है कि इन्हीं कुछ वजहों से श्री जयपुरियार की नाराजगी दिख रही थी। अंततः इसका परिणाम आया उनके इस्तीफे के रूप में। अब बतौर फ्रैंचाइजी होल्डर और स्थानीय संपादक के तौर पर वे दैनिक आवाज को जुलाई में लांच कर रहे हैं, एक सशक्त टीम के साथ।
उधर, पटना से खबर है कि भारतीय बसंत कुमार ने दैनिक जागरण पटना यूनिट के संपादक के पद का कार्यभार ग्रहण कर लिया है। इससे पूर्व वे धनबाद में थे। अभी तक पटना यूनिट की देखरेख स्टेट एडिटर सद्गुरु सरण अवस्थी कर रहे थे।
ग्वालियर से मिल रही सूचना के मुताबिक देव श्रीमाली को श्रेष्ठ रिपोर्टिंग के लिए प्रतिष्ठित राज्य स्तरीय राजेन्द्र नूतन स्मृति सम्मान के लिए चुना गया है. श्रीमाली जी को यह सम्मान सप्रे संग्रहालय भोपाल में 11 जून को प्रदान किया जाएगा.
https://www.youtube.com/watch?v=6mdBsfxTjMw
madhukar
June 8, 2018 at 12:03 pm
रांची एक्सप्रेस के झारखण्ड स्टेट इंचार्ज मधुकर श्रीवास्तव के मुताबिक निलेन्दु जयपुरियार रांची एक्सप्रेस के स्थानीय संपादक नहीं बल्कि हजारीबाग कार्यालय के ब्यूरो मात्र थे ! अखबार का एडिशन लांच होने के बाद इन्हें सम्पादकीय प्रभारी बनाया जाना था ! हजारीबाग कार्यालय के लिए जल्द ही नए ब्यूरो का चयन कर लिया जाएगा!
पवन
June 8, 2018 at 2:20 pm
वेतन नही मिलता है राची एक्सप्रेस मे। फर्जी अखबार है।ठग सब जुटा है। चुनाव के बाद बंद हो जायेगा
राहुल कुमार
June 9, 2018 at 3:59 am
मधुकर बाबू कितने दूध के धुले है सबको पता है। और रांची में उनका हल्का पन सबको मालूम है। मैं भी एक रिपोर्टर हूँ रांची एक्सप्रेस हज़ारीबाग में और निलेन्दु सर यहां संपादक थे। उन्हें नियुक्ति पत्र सबके सामने दिया गया था और इस बाबत एक बड़ी खबर अखबार ने छापी थी फ्रंट पेज पे। यानी मधुकर जी साफ झूठ बोल रहे। वे खुद चमचई कर संपादक बने है और वो रांची में जो कर रहे वो पत्रकारिता पे धब्बा है। निलेन्दु सर के फेसबुक पे जाके देखा जा सकता है कई खबरे जिसे छापा है रांची एक्सप्रेस ने जिसमे उन्हें संपादक बताया गया है। दूसरी बात फेसबुक पे ही रांची एक्सप्रेस का आफर लेटर भी है जो निलेन्दु सर को दिया था सुधांशु सुमन ने
nilendu jaipuriar
June 9, 2018 at 4:33 am
यह किसी पत्रकार की हरकत नहीं है । इस तरह की बात लिखनेवाला उस मैनेजमेंट का फिलहाल पोश माना हुआ वह व्यक्ति है, जो संश्थान में रहकर इस तरह की गलतबयानी कर दो लोगों को आपस में भिड़ाने की इच्छा रखता है । क्योंकि मधुकरजी जी खुद एक मंजे पत्रकार हैं और इतना घटियापा नहीं कर सकते, यह जानते हुए कि रांची एक्सप्रेस ने बतौर स्थानीय संपादक नियुक्ति पत्र दिया, इसकी खबर भी प्रमुखता से छापी और पिछले कई महीनों के दौरान स्थानीय संपादक की कलम से नाम और पदनाम खबर भी छापी । ऐसे में ऐसे नकारात्मक लोगों के लिये, जो अखबार उद्योग का हिस्सा बन गए हैं, उनके लिये यही कि पत्रकारिता और पत्रकार आग हैं और उसे मिस हैंडल करने पर खुद जलने का खतरा आ जाता है । पॉजिटिव चीजों में समय लगाये, दलाली में नहीं ।
निलेन्दु जयपुरियार
स्थानीय संपादक
आवाज़, हज़ारीबाग यूनिट
पवन
June 11, 2018 at 4:28 am
पहले मधुकर जी स्टेट इंचार्ज है भी या नही ये तो स्पष्ट करें। यहाँ हर 3 महीने पर कर्मचारी बदले जाते। किसी को भी बड़े वेतनमान पर किसी को नौकरी पर रख।लिया जाता। तीन महीने जब वेतन नही मिलता तो लोग खुद नौकरी छोड़ भाग जाते। देखिए मधुकर जी कब तक रांची एक्सप्रेस में टिकते। वैसे रांची एक्सप्रेस में संपादक मालिक की पत्नी है जिन्हें पत्रकारिता का ककहरा नही मालूम, प्रबंध संपादक उनकी साली के पति है जो रांची एक्सप्रेस से पहले बैटरी बेचते थे। और साले साहब मुख्य प्रबंधन। इनपर ये भी आरोप है कि मालिक सुधांशू सुमन ने अपने साले साहब को प्लांट में जेनरेटर खरीदने 8.5 लाख रुपये दिये थे, साले साहब पूरी रकम पचा गए और कंपनी के नाम बैंक से लोन लेकर जनरेटर लगवा दिया। वैसे मालिक की संपादक के आगे बोलती भीगी बिल्ली के समान बन्द हो जाती। भगवान मालिक इस अखबार का।
Sukhdeo prasad
June 13, 2018 at 9:10 am
रांची एक्सप्रेस के लिये एक और बुरी खबर । अब रांची प्रिंट लोकेशन के संपादक पूरनचंद ने रांची एक्सप्रेस को चूरन चटा दिया है । वे दो दिनों से दफ्तर नहीं जा रहे हैं । प्रबंधन से वे पहले से नाराज चल रहे थे । एक तो प्रिंट लाइन से नाम उतार दिया, दूसरा मधुकर श्रीवास्तव को उनके ऊपर बिठा दिया । दोनों में विवाद के कारण अभी अखबार में अभी किसी संपादक का नाम नहीं जा रहा था ।