हरियाणा में पंचकुला इलाके से सटे हुए नारायणगढ़ कस्बे के युवा पत्रकार ने अपनी जान दे दी।
यह पत्रकार मौत को गले लगाने के लिए इसलिए मजबूर हुआ क्योंकि वह स्थानीय विधायक व पुलिस के उत्पीड़न से आजिज आ चुका था। 27 वर्षीय पंकज खन्ना उर्फ सन्नी खन्ना उर्फ सन्नी पंकज नामक यह पत्रकार स्थानीय हिंदी मैग्जीन ‘क्राइम तहकीकात’ में काम करता था। पंकज के पिता भी पत्रकारिता से जुड़े हुए हैं। इन दिनों वे ‘हिमालय दर्पण’ नामक अखबार के लिए खबरें भेजते हैं। पंकज ने आत्महत्या से पहले जो सुसाइड नोट लिखा, उसमें मरने के कारणों की विस्तार से चर्चा की है। पंकज ने आत्महत्या के लिए विवश करने वाले तीन व्यक्तियों के नामों का खुलासा किया है।
पंकज ने लिखा है कि स्थानीय विधायक ने उसके खिलाफ झूठा केस दर्ज कराने के बाद थाने में दो बार जमकर पिटवाया। पंकज के आत्महत्या पत्र के मुताबिक वो घर की हुई बदनामी और इज्जत खराब होने के कारण जान दे रहा है। पंकज ने आत्महत्या 10 जून को किया और बाद में पुलिस ने सुसाइड नोट भी बरामद कर लिया लेकिन पुलिस प्रभावशाली पदों पर होने के चलते आरोपियों के खिलाफ नामजद रिपोर्ट दर्ज करने में आनाकानी करती रही। बाद में स्थानीय लोगों और मीडियाकर्मियों के दबाव के चलते पुलिस को विधायक रामकिशन के खिलाफ धारा 306 में रिपोर्ट दर्ज करना पड़ा। हरियाणा पुलिस ने पंकज के शव का पोस्टमार्टम चंडीगढ़ स्थित पीजीआई में कराया। बताया जा रहा है कि पंकज के आत्महत्या के बाद उनके परिजन जब सूचना देने व रिपोर्ट लिखाने थाने पहुंचे तो पुलिसवालों ने उनसे धक्कामुक्की करके भगा दिया। पंकज के परिजनों का कहना है कि अगर उन्हें न्याय नहीं मिला तो वे भी पंकज की तरह जान देने के लिए मजबूर हो जाएंगे। जानकारी मिलने तक युवा पत्रकार पंकज के शव को सड़क पर रखकर उसके परिजन दोषियों की गिरफ्तारी की मांग पर अड़े हुए हैं।
पंकज के सुसाइड नोट को पढ़ने के लिए क्लिक करें- मैं सन्नी खन्ना मरने से पहले…