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पेड न्यूज : प्रभात खबर की राह चला हिंदुस्तान

बिहार में विधानसभा चुनाव की घोषणा के तुरंत बाद नैतिक आग्रहों के आधार पर पत्रकारिता करने के लिये जाने जाने वाले समूह प्रभात खबर ने तत्काल इस बात की घोषणा कर दी है कि वह पूरे चुनाव अभियान के दौरान पेड न्यूज को प्रश्रय नहीं देगा. अखबार ने सात जुलाई को जैकेट पेज छाप कर चुनाव से संबंधित अपनी आचार संहिता का विस्तार से खुलासा किया है.

बिहार में विधानसभा चुनाव की घोषणा के तुरंत बाद नैतिक आग्रहों के आधार पर पत्रकारिता करने के लिये जाने जाने वाले समूह प्रभात खबर ने तत्काल इस बात की घोषणा कर दी है कि वह पूरे चुनाव अभियान के दौरान पेड न्यूज को प्रश्रय नहीं देगा. अखबार ने सात जुलाई को जैकेट पेज छाप कर चुनाव से संबंधित अपनी आचार संहिता का विस्तार से खुलासा किया है.

मकसद ये कि चुनाव की रिपोर्टिंग निष्पक्ष तरीके से की जा सके और पेड न्यूज के शर्मनाक प्रचलन के कारण समाज में मीडिया की बिगड़ी छवि में भी सुधार किया जा सके. गौरतलब है कि हाल के दो-तीन चुनावों में देश के कई प्रमुख समाचार पत्रों ने पेड न्यूज के नाम पर पत्रकारिता की इज्जत नीलाम कर दी थी. मगर उस दौर में भी प्रभात खबर ने इस तरह के व्यवहार को प्रश्रय न देकर अपनी विश्वसनीयता बरकरार रखी थी. जब वरिष्ठ पत्रकार प्रभाष जोशी ने पेड न्यूज के खिलाफ मुहिम छेड़ी तो उनका साथ देने में प्रभात खबर सबसे आगे रहा.

पीछे-पीछे हिंदुस्तान भी आया : प्रभात खबर द्वारा चुनाव की घोषणा के तत्काल बाद इस तरह की सार्वजनिक घोषणा के बाद अगले दिन दैनिक हिंदुस्तान ने भी इस तरह की घोषणा की है. सबसे रोचक बात है कि हिंदुस्तान ने अपनी घोषणा भी ठीक उसी तरीके से की है, जैसे प्रभात खबर ने एक दिन पहले की थी, यानि जैकेट पेज छापकर. ऐसे में राज्य के मीडिया कर्मियों ने इस बात की चर्चा शुरू हो गई है कि भले सर्कुलेशन के मामले में देश के दूसरे अखबार आगे हों मगर जब मीडिया की नैतिकता की बात आती है तो प्रभात खबर ही सबसे आगे नजर आता है. इस मामले में लोग उसी का अनुसरण करते हैं.

हैरत की बात तो यह है कि हिंदुस्तान अखबार ने प्रभात खबर की देखा-देखी इस बार पेड न्यूज के खिलाफ मोरचा खोला है, जबकि पेड न्यूज की बहस की शुरुआत ही हिंदुस्तान भागलपुर के अनुभवों से हुई थी. प्रभाष जी ने वहीं के अनुभवों को आधार बनाकर इस मुहिम की शुरुआत की थी, बाद में हिंदुस्तान लखनऊ भी इन विवादों के लपेटे में आ गया. अब अगर वे भूल सुधार कर सच्चाई की राह पर चलना चाहते हैं तो उनका स्वागत किया जाना चाहिये.

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0 Comments

  1. xyz

    September 8, 2010 at 11:35 am

    Ummid hai ki *PRABHAT KHABAR* to apnee zabaan par kaayam rahega , par *HINDUSTAN* ? Baat kuch hazam nahi huiee ! Congress ka samarthak paper hai , lihaaza aisa kar paane ki ummid ? Khair ! aage aage dekhiye hota hai ky ?

    !! SHUBHKAAMNA !!

  2. ankur

    September 8, 2010 at 3:06 pm

    Akku Srivastav jaise corroupt editor ke rehte hindustan yeh dawa kar hi nahi sakta…. sab paid hoga jaise akku abhi tak promotion aur transfer kar rahe hai…..

  3. tushar mishra

    September 8, 2010 at 6:56 pm

    hindustan ne jo baat kahi hain use woh jarur poora karega …..

  4. gautam tripathi

    September 9, 2010 at 6:09 am

    ¹FVF½Fa°F ªFe,´F°FF ³FWXeÔ ³F`d°FIY°FF QZ£F³FZ IYF IYü³F ÀFF ¨FV¸FF AF´F»Fû¦Fûa IZY ´FFÀF WX`,ªFû ´Fi•FF°F £F¶FSX ½FF»FZ AF´FIYû ÀF¶FÀFZ ª¹FFQF ³F`d°FIY dQ£FFBÊX QZ°FZ W`ÔÜ ¹FWXe ½FWX A£F¶FFSX W`,dªFÀF³FZ SXFa¨Fe IZY dSX´FûÊMXSXûÔ ÀFZ d½FÄFF´F³F IYSX½FF³FZ IYe VFbøYAF°F IYeÜ AFªF •Fe BXÀFIZY »Fû¦F ½F¿FÊ ¸FZ IYBÊX ¶FFSX ¶FIYF¹FQF ¸FedMaX¦F IYSXIZY dSX´FûMÊXSXûÔ IYû d½FÄFF´F³F »FF³FZ IYF MXFSX¦FZMX d³F²FFÊdSX°F IYSX°FZ W`ÔXÜ BX³FIZY ÀFaÀ±FF³F ¸FZÔ dSX´FûMÊXSXûÔ IYe ¹Fû¦¹F°FF d½FÄFF´F³F IYe SXFdVF ÀFZ AFaIYe ªFF°Fe W`XÜ Ad²FIY d½FÄFF´F³F QZ³FZ½FF»FF dSX´FûMÊXSX ÀFaÀ±FF³F IZY d»FE ¸FWX°½F´Fc¯FÊ W`XÜ A¨LXF d½FÄFF´F³F QZ³FZ IZY ¶FFQ IYûBÊX dSX´FûMXÊSX A´F³FZ ÃûÂF ¸FZÔ ªFbAF AçXF ¨F»FFE, VFSXF¶F ¶FZ¨FZ ¹FF °FÀIYSXe IYSmX, ÀFaÀ±FF³F IYû BXÀFÀFZ IYûBÊX »FZ³FF QZ³FF ³FWXeÔ W`XÜ BXÀF CXQFSX°FF IYF »FF•F IYBÊX ÃûÂFe¹F dSX´FûMÊXSX ½F¿FûË ÀFZ CXNXF SXWZX W`ÔXÜ ³F`d°FIY°FF IZY ÀF½FF»F ´FSX ¸F`Ô dSX´FûMÊXSXûÔ IYZ Q¹F³Fe¹F ¸FF³FQZ¹F IYe ¶FF°F CXNXFCaX¦FF, °Fû AF´F ¶Fû»FZÔ¦FZ dIY……

  5. kumar amit

    September 9, 2010 at 8:40 am

    Prabhat khabar ke natak ko bhadas me har bar khub jagah milti rahi hai. prabhat khabar ke sach ko jharkhand ke patrakar janate hain. sach to ye hai ki hamam me sab nange hai. election me Prabhat khabar ne package ke naam par jam kar maal vasula aur ab natak karne me ye loog sabae aage hain. kaun nahi janata ki usha martin ko mines ki lease nahi mili to Prabhat khabar ne hangama kar diya. Prabhat khabar vaale shor machakaar khud ko imandar aur dushron ko kam imandar bataten rahen hain. jabki unke reporter aur senior logon per sabse jyada ongli uthi hai.

  6. Ranjan

    September 9, 2010 at 3:55 pm

    IS MAMLE ME PRABHAT KHABAR AAGE HI RAHTA HAI.

  7. ranjeet

    September 12, 2010 at 9:43 am

    Hindustan is having a brand team. If they are just copying other newspapers than what this team is doing is the obvious question.

    Jagran seems to be totally on back foot in this initiative for obvious reasons.

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