जादूगोड़ा(झारखण्ड)। पोटका प्रखंड के भाटिन पंचायत के झरिया मौजा में स्वर्ण रेखा परियोजना के अंतर्गत नहर निर्माण का कार्य वन भूमि में किया किया जा रहा है। नहर के निर्माण के लिए सैकडों की संख्या में छोटे-बड़े वृक्षों को काटा गया है। सामाजिक औऱ आरटीआई कार्यकर्ता सोनू कालिंदी ने सूचना अधिकार के तहत डीएफओ पूर्वी सिंहभूम से इस संबंध में जानकारी माँगी, जिसके बाद से पुरे वन विभाग में खलबली मच गयी और आनन् फानन में नहर निर्माण का काम बंद करवा दिया गया।
सोनू की आरटीआई के जवाब में वन विभाग की ओर से जवाब दिया गया है की भाटिन पंचायत के झरिया मौजा में नहर निर्माण से सम्बंधित कोई आदेश वन विभाग से निर्गत नहीं हुआ है एवं वर्तमान में नहर निर्माण कार्य बंद करवाते हुए दोषियों के विरुद्ध आपराधिक मामला दर्ज किया गया है। सोनू कालिंदी ने इस संबंध में बताया की सैकडों की संख्या में वृक्षों को काटकर पर्यावरण के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है। बिना आदेश के वन भूमि में इतने किलोमीटर अन्दर तक काम कैसे हो गया इस संबंध में भी उन्होंने सूचना अधिकार के तहत डीएफओ से जवाब माँगा है।
इस संबंध में नहर निर्माण करा रहे मंगोतियाँ कंपनी के ठेकेदार लड्डू मंगोतिया ने बताया की अभी दूसरी साईट में काम हो रहा है इसी कारण इधर का काम रोका गया है। राखा वन क्षेत्र के वनपाल समीर अधिकारी ने बताया की ठेकेदार से नहर निर्माण के संबंध में कागजातों की मांग की गयी थी लेकिन उन्होंने अभी तक कोई कागजात उपलब्ध नहीं कराया है। इसके चलते काम रोक दिया गया है और इस संबंध में मामला दर्ज किया गया है।
इस संबंध में भाटिन पंचायत के मुखिया खेलाराम मुर्मू ने बताया की झरिया मौजा में बड़ी संख्या में पेड़ों को काटकर पर्यावरण को नुकसान पहुंचाया है और वो भी बिना किसी आदेश के। उन्होंने कहा की प्रयावरण को नुकसान पहुंचाने वालो पर कड़ी कार्यवाही की जानी चाहिए और बड़ा पंचायत स्तर पर भी बैठक कर इस संबंध में कारवाई की जायेगी।
जादूगोड़ा से संतोष अग्रवाल की रिपोर्ट।