2010 – 407 करोड़ रुपये, 2011 – 477 करोड़ रुपये, 2012 – 526 करोड़ रुपये, 2013 – 544 करोड़ रुपये, 2014 – 640 करोड़ रुपये। साथियों, उपरोक्त आंकड़े देखकर आप समझ सकते हैं कि अमर उजाला कौन से ग्रेड का समाचारपत्र है। यह आंकड़े उस रिपोर्ट के हैं जो अमर उजाला ने सेबी को शेयर बाजार में सूचीबद्व होने के लिए जमा करवाए थे। आप अमर उजाला की वित्तीय रिपोर्ट सेबी से या आरटीआइ (RTI) के माध्यम से एमसीए (Ministry Of Corporate Affairs website- http://www.mca.gov.in/) और इनकम टैक्स विभाग से भी मांग सकते हैं।
अमर उजाला ही क्या किसी भी समाचारपत्र या पत्रिका का मजीठिया वेजबोर्ड लागू करने की प्रक्रिया में अपनी यूनिटों को अलग-अलग दर्शाना 1955 के अधिनियम की धारा 2(घ) का उल्लंघन है। श्रमजीवी पत्रकार अधिनियम 1955 (हिंदी-अंग्रेजी) में डाउनलोड करने के लिए यहां क्लिक करें या इस Path का प्रयोग करें- https://goo.gl/wdKXsB. मजीठिया वेजबोर्ड की सिफारिशें हिंदी में डाउनलोड करने के लिए यहां क्लिक करें या निम्न Path का प्रयोग करें- https://goo.gl/8fOiVD (यह आंकड़े हमें उपलब्ध करवाएं हैं हिमाचल प्रदेश से रविंद्र अग्रवाल ने। आप इनसे इस मोबाइल नंबर पर संपर्क कर सकते हैं 9816103265, इनका मेल आईडी है [email protected])
जागरण, भास्कर और अमर उजाला के अलावा अन्य संस्थानों में कार्यरत साथी निराश नहीं हो। यदि उन्हें अपने संस्थान के ग्रेड के बारे में जानकारी चाहिए तो पीटीआई यूनियन के पदाधिकारी से संपर्क करें। उनकी मजीठिया वेजबोर्ड की सिफारिशें लागू करवाने से लेकर सुप्रीम कोर्ट में केस जितवाने तक महत्वपूर्ण भूमिका रही है। इनके पास आपके संस्थान के ग्रेड के बारे में पूरी जानकारी उपलब्ध है। पीटीआई में ही वेतनमान को लेकर सही मानक इस्तेमाल किए गए हैं। इनसे आप बेहिचक संपर्क कर सकते हैं : M S Yadav – 09810263560 , [email protected]. यदि हमसे कहीं गणना या तथ्यों में गलती रह गई हो तो सूचित अवश्य करें।
मजीठिया वेतमान के संबंध में जानकारी के लिए संपर्क : [email protected]
himanshu
July 27, 2015 at 5:22 pm
Bhai amount crore main nahi millions may hai. Upar right side main likha bhi hai.
´ravinder
July 28, 2015 at 7:39 am
himanshu bhai aapko Maths b sikhana pdega kya.
chalo sikh hi lo….
one million yani 10 lakh
4069.93 million
yani 4069.93x 10 lakhs
= 40699.3 lakhs
yani 40699.3/ 100 crore
= 406.993 crore
anu chauhan
July 29, 2015 at 12:55 pm
bhai divya himachal ke bare me bi kuch likh diya kro yahaan bhi halat alag nhi hain. yahan bhi chand logo ko hi khush karke kam chalaya ja rha hai
राम
May 29, 2019 at 9:40 pm
ह्मे तो मजेठिया मांगने पर धमकाया जाता है. आज २० साल से काम कर रहे कर्मचारियों को पे स्लिप में गडबड़ी करके और आपना सक्युलेशन २लाख ७५ हजार दिखाया जाता है. और गवरमेंट से उसका फायदा उठाया जाता है आज हमारा मजेठिया केस लेबर कोर्ट में चल रहा है. लेकिन उसको वापस लेने के लिये मैनेजमेंट हम पर प्रेशर बना रही है. अगर लेबर कोर्ट में कोई भी जाएगा तो उसका महिने का वेतन काट लिया जाएगा एैसी धमकी दि जा रही है . यहां मालिक को ध्रतराष्ट्र का चेहरा पेहनके चुप है . क्यौं कि उसको आपना महिने का पैसा मिलता है . तो ओ जो चमचे है उसका हि सुनता है. यहां तो इतना भ्रष्टाचार है कि मैनेजमेंट के लोगो नें मुंबई मे अपने ४ फ्लैट बनाए है. यहां तो लडकियों का शोषन ताे होता है . लेकिन यहां उसके खिलाफ आवाज उठाया तो उसको मैनेजमेंट केऔर से हरेसमेंट किया जाता है यह नवभारत की बात चल रही है. आज २० साल में मालिक को यह भी मालुम नही की उसके कंपनियों में कितने कामगार काम करते है . मालिक अंधा बना इसलिये इनका हर जगह चाेरी करते थे उनको मालुम था मालिक को कैसे भी मुर्ख बनाया जा सकता है. यहां तो मैनेजर पोस्ट बांटे जाते है . जो चमचे गिरी करेगा उसको पोस्ट दिया जाएगा. यहा का कानुन है . ना उसकी हैसियत है की नही उसका आकलन नही होता.