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कार्पोरेट-परस्त आर्थिक नीतियों पर चुप्पी साधकर फासीवाद से नहीं लड़ा जा सकता

वाराणसीः ‘फासीवादी उभार और हमारे कार्यभार’ नामक विषय पर रविवार को भाकपा-माले की तरफ से वरुणा पुल, नेपाली कोठी स्थित प्रेरणा कला मंच में संगोष्ठी का आयोजन किया गया है।  अखिल भारतीय किसान सभा के उत्तर प्रदेश अध्यक्ष जय प्रकाश नारायण ने विषय प्रवर्तन करते हुए कहा कि उदार आर्थिक नीतियों पर सत्तापक्ष और सत्ताधारी विपक्ष के बीच सर्वानुमति के चलते ही आरएसएस जैसे फासीवादी संगठन को उर्वर जमीन मिल रही है। इसके चलते वे भारत को खुलेआम हिंदू राष्ट्र बनाने का ऐलान करने लगे हैं।

<p>वाराणसीः 'फासीवादी उभार और हमारे कार्यभार' नामक विषय पर रविवार को भाकपा-माले की तरफ से वरुणा पुल, नेपाली कोठी स्थित प्रेरणा कला मंच में संगोष्ठी का आयोजन किया गया है।  अखिल भारतीय किसान सभा के उत्तर प्रदेश अध्यक्ष जय प्रकाश नारायण ने विषय प्रवर्तन करते हुए कहा कि उदार आर्थिक नीतियों पर सत्तापक्ष और सत्ताधारी विपक्ष के बीच सर्वानुमति के चलते ही आरएसएस जैसे फासीवादी संगठन को उर्वर जमीन मिल रही है। इसके चलते वे भारत को खुलेआम हिंदू राष्ट्र बनाने का ऐलान करने लगे हैं।</p><script async src="//pagead2.googlesyndication.com/pagead/js/adsbygoogle.js"></script> <script> (adsbygoogle = window.adsbygoogle || []).push({ google_ad_client: "ca-pub-7095147807319647", enable_page_level_ads: true }); </script>

वाराणसीः ‘फासीवादी उभार और हमारे कार्यभार’ नामक विषय पर रविवार को भाकपा-माले की तरफ से वरुणा पुल, नेपाली कोठी स्थित प्रेरणा कला मंच में संगोष्ठी का आयोजन किया गया है।  अखिल भारतीय किसान सभा के उत्तर प्रदेश अध्यक्ष जय प्रकाश नारायण ने विषय प्रवर्तन करते हुए कहा कि उदार आर्थिक नीतियों पर सत्तापक्ष और सत्ताधारी विपक्ष के बीच सर्वानुमति के चलते ही आरएसएस जैसे फासीवादी संगठन को उर्वर जमीन मिल रही है। इसके चलते वे भारत को खुलेआम हिंदू राष्ट्र बनाने का ऐलान करने लगे हैं।

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आजादी के आंदोलन के दौरान भी एक तरफ धर्म-आधारित पाकिस्तान बन रहा था तब भी भारत लोकतांत्रिक, धर्मनिरपेक्ष और वैज्ञानिक सोच के साथ आगे बढ़ने का संकल्प ले रहा था। उन्होंने कहा कि आज समाज को पीछे ले जाने वाली ताकतें जिस तरह से मनमानी करने पर उतारू हैं उससे लोकतंत्र को बचाने का सवाल प्रमुख सवाल बन गया है। ऐसे में आज सामाजिक न्याय व वामपंथी ताकतों को एकता के अनगिनत रास्ते तलाशते हुए सामाजित-आर्थिक व राजनीतिक मुद्दों पर आगे बढ़ना चाहिए, परिस्थिति की यह मांग है।

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अखिल भारतीय खेत व ग्रामीण मजदूर सभा के नेता अमरनाथ राजभर ने कहा कि हिंदुत्ववाद की राजनीति करने वाली सवर्ण-सामंती ताकतों के निशाने पर सिर्फ मुसलमान ही नहीं दलित भी हैं, और खतरनाक तरीके से इनको इनको आपस में लड़ाने की भी कोशिश है। ऐसे में दलितो-मुसलमानों की एकता व उनके अधिकारों की लड़ाई आज संविधान व लोकतंत्र को बचाने की लड़ाई के साथ गहरे जुड़ी हुई है। इसलिए इस मसले पर फासीवाद से लड़ने वाली ताकतों को गंभीरता से काम शुरू कर देना चाहिए।

युवा नेता फजर्लुरहमान ने कहा कि सत्ताधारी विपक्ष के इस रवैए का भी जनता के बीच पर्दाफाश किया जाना चाहिए कि वह भाजपा-आरएसएस के खिलाफ चुनावी समीकरण तो बनाते हैं पर दलितों-मुसलमानों पर सड़कों पर हमले होते हैं तो चुप्पी साथ लेते हैं।  इस मौके पर मुन्नी देवी, अमरनाथ राजभर, आबिद शेख, फजलुर्रहमान, श्याम बहादुर, साजिद, राहुल राजभर, बजले रहीम अंसारी, जुबैर अंसारी, अफसर अली, राजकुमार गुप्ता, अनिल मौर्या, अनिल सागर, कमलेश, श्रवण, महेंद्र, नंदलाल, देवीलाल, कामता प्रसाद मौजूद थे।

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