जब से कोरोना का कहर टूटा है देश के उद्योग धंधों की कमर टूट गयी है। इससे अछूता मीडिया इंडस्ट्री भी नहीं रहा। कई बड़े मीडिया हाउस ने अपने employees की सैलरी भी कट करनी शुरू कर दी है। इस क्रम में पुणे के सबसे बड़े मीडिया ग्रुप सकाल मीडिया ग्रुप में भी employees की सैलरी कट की जाने वाली है।
बताया जाता है कि 20 से 50 हज़ार रुपये तक सेलरी पाने वालों की सैलरी में से 40 परसेंट की कटौती होगी। 50 हज़ार से ऊपर की सैलरी वालों को 50 परसेंट कम सेलरी मिलेगी। हालांकि ये सभी एम्प्लाइज जानते थे कि इस बार यानी अप्रैल महीने की सैलरी पूरी नहीं मिलेगी लेकिन इतनी ज्यादा कटौती होगी, ये किसी ने नहीं सोचा था।
सकाल मीडिया अपने employees को हर महीने की 7 तारीख को सैलरी देता है। लेकिन इस बार 8 को मिलेगी क्योंकि 7 को बुद्ध पूर्णिमा की छुट्टी थी। 6 मई की सुबह 10 बजे से सकाल मीडिया के एडिटर्स यानी सकाल मराठी, सकाल टाइम्स (इंग्लिश), एग्रोवन (मराठी किसानों और कृषि आधारित खबरें आती हैं), सरकारनामा (मराठी ऑनलाइन) ने फोन कर के जानकारी दी कि इस बार सैलरी 40 परसेंट कट होकर मिलेगी, वो भी एडवांस अगेंस्ट सैलरी। इसके साथ ही अप्रैल महीने की सैलरी स्लीप भी नहीं दी जाएगी।
हालांकि ये जानकारी ईमेल पर भी कई employees ने मांगी पर उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया।
अब समस्या employees के साथ ये है कि सैलरी के एक दिन पहले जानकारी देने से शेष राशि की व्यवस्था नहीं कर पा रहे हैं। यहाँ के ज्यादार employees 40 परसेंट में आते हैं और महीने की 30 से 35 हज़ार take home सैलरी है।
कंपनी के मालिक अभिजीत पवार खुद को नरेंद्र मोदी का बहुत बड़ा फैन कहते हैं। वो हमेशा कहते हैं कि मोदी जी जैसा सोचते हैं वैसा ही करने की कोशिश करता हूँ। हालांकि मार्च के 15 तारीख को ही सकाल मीडिया के कुल 20-30 employees को निकाले जाने की सूचना हुई थी। उनसे कहा गया था कि 30 मार्च उनका कंपनी में आखरी दिन होगा। उन्हें अप्रैल महीने तक की सैलरी मिलेगी। पर उस समय इस खबर के बाहर आने से इसे वापस ले लिया गया।
Amir
May 10, 2020 at 5:31 am
The Sakal group is not a Modi Bhakt.
Mr. Pratap Pawar, the owner of this group is brother of NCP Chief Sharad Pawar.