Comments on “मेरी बच्ची पूछ रही है, कपड़े क्यों उतारे पापा!”
सुधीर says:
इसे कहते ही सत्ता की हनक
और दूसरे बात सोसल मीडिया के नाम पर यू ट्यूब की अपनी एक नई राह ही भोदी और कुतर्क से भरी बाते ही अधिकतर परोसी जा रही हे
और ये भी सच है की यू ट्यूब बालो की वजह से पत्रकारिता में अपना आधे से जादा जीवन व्यतीत करने वाले पत्रकारों का अब जीना मुहाल हो गया है क्योंकि संस्थान से सेलरी गायब हे और सांस को विज्ञापन के नाम पर कमीशन भी गायब हे
सरकार यू ट्यूब को बंद ही करना चाहिए या युत्युब के समाचार चैनलों पर बंद लगाए
मानवीय आधार पर बिल्कुल गलत हुआ… कोई सभ्य लोग इसका समर्थन नहीं करते हैं… पर इस तरह के लोग जो पत्रकारिता के नाम पर धंधा करते हैं उसका विरोध करते हैं …. इसे खुद सोचना चाहिए दूसरों का जब चरित्रहनन करते थे …. इस बार थोड़ा मजबूत विपक्षी मिल गया तो लेने के देने परे…
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इसे कहते ही सत्ता की हनक
और दूसरे बात सोसल मीडिया के नाम पर यू ट्यूब की अपनी एक नई राह ही भोदी और कुतर्क से भरी बाते ही अधिकतर परोसी जा रही हे
और ये भी सच है की यू ट्यूब बालो की वजह से पत्रकारिता में अपना आधे से जादा जीवन व्यतीत करने वाले पत्रकारों का अब जीना मुहाल हो गया है क्योंकि संस्थान से सेलरी गायब हे और सांस को विज्ञापन के नाम पर कमीशन भी गायब हे
सरकार यू ट्यूब को बंद ही करना चाहिए या युत्युब के समाचार चैनलों पर बंद लगाए
मानवीय आधार पर बिल्कुल गलत हुआ… कोई सभ्य लोग इसका समर्थन नहीं करते हैं… पर इस तरह के लोग जो पत्रकारिता के नाम पर धंधा करते हैं उसका विरोध करते हैं …. इसे खुद सोचना चाहिए दूसरों का जब चरित्रहनन करते थे …. इस बार थोड़ा मजबूत विपक्षी मिल गया तो लेने के देने परे…