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मध्य प्रदेश

इंदौर में पत्रकारों को रॉड-डंडों से पीटा, कैमरे तोड़े

इंदौर। किबे कम्पाउंड में दोपहर एक बजे स्टैंडर्ड पेंट हाउस के गोदाम में आग लगने की घटना के दौरान आनंद पेट्रोल पंप द्वारा बरती जा रही लापरवाही को कवरेज करने गए पत्रकारों की पंप मालिक और उसके गुंडों ने घसीट-घसीटकर लात-घूंसों, रॉड, डंडों से पीटा और कैमरे तोड़ डाले। टीआई व पुलिस टीम गुंडों को बचाती रही। इससे गुस्साए पत्रकारों ने गांधी प्रतिमा के पास चक्काजाम कर दिया। वे डीआईजी-एसपी को बुलाने तथा दोषी टीआई सहित पुलिसकर्मियों को सस्पेंड करने की मांग पर अड़े रहे और तीन घंटे तक चक्काजाम चला।

<p>इंदौर। किबे कम्पाउंड में दोपहर एक बजे स्टैंडर्ड पेंट हाउस के गोदाम में आग लगने की घटना के दौरान आनंद पेट्रोल पंप द्वारा बरती जा रही लापरवाही को कवरेज करने गए पत्रकारों की पंप मालिक और उसके गुंडों ने घसीट-घसीटकर लात-घूंसों, रॉड, डंडों से पीटा और कैमरे तोड़ डाले। टीआई व पुलिस टीम गुंडों को बचाती रही। इससे गुस्साए पत्रकारों ने गांधी प्रतिमा के पास चक्काजाम कर दिया। वे डीआईजी-एसपी को बुलाने तथा दोषी टीआई सहित पुलिसकर्मियों को सस्पेंड करने की मांग पर अड़े रहे और तीन घंटे तक चक्काजाम चला।</p>

इंदौर। किबे कम्पाउंड में दोपहर एक बजे स्टैंडर्ड पेंट हाउस के गोदाम में आग लगने की घटना के दौरान आनंद पेट्रोल पंप द्वारा बरती जा रही लापरवाही को कवरेज करने गए पत्रकारों की पंप मालिक और उसके गुंडों ने घसीट-घसीटकर लात-घूंसों, रॉड, डंडों से पीटा और कैमरे तोड़ डाले। टीआई व पुलिस टीम गुंडों को बचाती रही। इससे गुस्साए पत्रकारों ने गांधी प्रतिमा के पास चक्काजाम कर दिया। वे डीआईजी-एसपी को बुलाने तथा दोषी टीआई सहित पुलिसकर्मियों को सस्पेंड करने की मांग पर अड़े रहे और तीन घंटे तक चक्काजाम चला।

दोपहर 1.30 बजे मीडियाकर्मी फुटेज ले रहे थे। इस पर पंप संचालक बलजीतसिंह भाटिया ने बदसलूकी की। मीडियाकर्मियों ने विरोध किया तो भाटिया ने गुंडों को बुला लिया। मीडियाकर्मी संदीप मिश्रा कवरेज कर रहे थे। तभी दर्जनभर गुंडों ने लात-घूंसों से पिटाई कर दी।  फोटोग्राफर विनय वर्मा ने रोकने की कोशिश की तो उनकी भी पिटाई की और कैमरा तोड़ने की कोशिश की। इसके बाद गुंडे रॉड, डंडे लेकर मीडियाकर्मियों पर टूट पड़े। उन्होंने मिश्रा के कैमरे के टुकड़े कर दिए। बाद राहुल वावीकर की भी जमकर पिटाई की। फिर फिरोज खान, अंकुर जायसवाल, शरद व्यास व डीडी न्यूज के मनोहर राजपूत के साथ भी मारपीट की।
 
जब पत्रकार की दूसरी टीम जो गोदाम के आग के कवरेज में लगी थी, उधर पहुंची तो गुंडे उन्हें भी मारने पर उतारू हो गए। पत्रकारों का आक्रोश उस समय फूट पड़ा, जब मौके पर मौजूद छोटी ग्वालटोली टीआई वीरेंद्रप्रताप शर्मा व उनकी टीम पत्रकारों को बचाने के बजाय गुंडों का साथ देकर उन्हें वहां रवाना कर दूसरी ओर ले गई। इसके बाद गुंडों ने वहां से भी पत्थरों व लोहे के टुकड़े फेंके, जिसमें पांच पत्रकार घायल हो गए। इस बीच पत्रकारों ने वरिष्ठ अधिकारियों से मोबाइल पर बात की। इसके बाद पुलिस वहां से पांच-छह गुंडों को छोटी ग्वालटोली थाने ले गई, जहां पत्रकार भी पहुंचे और घटना को लेकर विरोध जताया।

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इस बीच थाने पर टीआई शर्मा ने पत्रकारों की रिपोर्ट लिखाने के बजाय आवेदन देने की बात कही तो स्थिति बिगड़ गई। यहां भी गुंडे थाने में पत्रकारों को धमकाते रहे और उलटे पत्रकारों के खिलाफ रिपोर्ट लिखने की बात कही। इसके बाद पत्रकारों ने गांधी प्रतिमा के सामने चक्काजाम कर दिया। एडीशनल एसपी बिट्टू सहगल ने उन्हें समझाइश दी, लेकिन उनका कहना था कि अकसर पत्रकारों के साथ कवरेज करने के दौरान ऐसी घटनाएं होती है। वे मामले में डीआईजी संतोषकुमार सिंह या एसपी ओपी त्रिपाठी से ही चर्चा करेंगे।
 
कुछ देर बाद एसपी ओपी त्रिपाठी, एडीएम दीपकसिंह, एसडीएम डीके नागेंद्र सहित अन्य अधिकारी मौके पर पहुंचे तो प्रेस क्लब के अध्यक्ष प्रवीण खारीवाल, पत्रकार जितेंद्र सोनी सहित अन्य ने मांग रखी कि पुलिस पहले मारपीट करने वाले गुंडों के खिलाफ केस दर्ज कर सख्त कार्रवाई करें और उन्हें संरक्षण देने वाले टीआई शर्मा व संबंधित पुलिसकर्मियों को तत्काल सस्पेंड करें। पत्रकारों ने एसपी को मोबाइल पर वे फुटेज बताए, जिसमें पंप मालिक के गुंडों द्वारा मीडियाकर्मियों की बेरहमी से पिटाई की जा रही थी। इस पर एसपी ने घटना की निंदा कर कहा कि पहले जांच की जाएगी, तो पत्रकार नहीं माने और तीन घंटे तक चक्काजाम चलता रहा। इस दौरान एसपी ने पहले सीएसपी प्रभा चौहान से जांच की बात कही तो पत्रकारों का कहना था पुलिस जांच कभी निष्पक्ष नहीं होती।

पिछली बार जीआरपी थाने पर पत्रकारों के साथ हुई मारपीट में पुलिस ने महीनों बाद पत्रकारों के खिलाफ ही केस दर्ज कर दिया। पत्रकार तुरंत कार्रवाई की मांग पर अड़े रहे। इस दौरान सभी ओर से वाहनों की कतारें लग गई। इस बीच पत्रकारों की मांगों को लेकर प्रेस क्लब अध्यक्ष प्रवीण खारीवाल ने एसपी को मौके पर ज्ञापन सौंपा। शाम 4.30 बजे दोनों पक्षों की सहमति के बाद कंट्रोल रूम में एसपी ने प्रेस क्लब पदाधिकारियों से चर्चा हुई। इसमें एसपी ने आश्वस्त किया कि वे एएसपी सहगल से मामले की जांच तीन घंटे में करवाकर रिपोर्ट देंगे। इसके साथ ही उन्होंने पत्रकारों से घटना से संबंधित फोटो व फुटेज उपलब्ध कराने को कहा। एसपी ने विश्वास दिलाया कि दोषी पर सख्त से सख्त कार्रवाई होगी। इसके बाद चक्काजाम समाप्त हुआ।

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शाम को छोटी ग्वालटोली पुलिस ने पत्रकार अंकुर जायसवाल की रिपोर्ट पर पंप संचालक बलजीत भाटिया , सुधीर, शमशेर मौर्य, राजेश पटेल, बद्रीनारायण राव, बबलू पिता रणछोड़, कमल पसारी, विनय उर्फ विन्नू वाधवानी व संदीप के खिलाफ हत्या का प्रयास, तोड़फोड़, जान से मारने की धमकी सहित गंभीर धाराओं में केस दर्ज किया। एफआईआर में सात पत्रकारों पर जानलेवा हमले का जिक्र है। पुलिस ने पंप संचालक बलजीत, सुधीर, शमशेर, राजेश पटेल, बद्रीनारायण व बबलू को गिरफ्तार कर लिया है जबकि कमल, विनय व संदीप की तलाश की जा रही है। उधर, शहर आगमन पर प्रभारी मंत्री भूपेंद्रसिंह ने भी घटना की कड़ी निंदा  करते हुए दोषियों पर सख्त कार्रवाई को लेकर डीआईजी को निर्देशित किया। महापौर मालिनी गौड़ ने भी दोषियों पर जल्द कार्रवाई की मांग की। इस कड़ी में कलेक्टर पी. नरहरि ने सोशल मीडिया पर घटना को लेकर दुख जताया और मातहतों को ठोस कार्रवाई के निर्देश दिए।

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