टीवी न्यूज चैनलों में गलाकाट प्रतियोगिता के बीच आईबीएन 7 लगातार अपनी स्थिति मजबूत बनाता जा रहा है। पिछले साल जुलाई में नए मैनेजमेंट ने कमान संभाली थी जिसके बाद हालात काफी बेहतर हुए हैं। आंकड़े गवाह हैं कि जुलाई 2015 में चैनेल 4 से 4.5 फीसदी की टीआरपी के साथ बुरी हालात में था जबकि पिछले मौजूदा दौर में आईबीएन7 की टीआरपी लगातार 6 फीसदी से ऊपर बनी हुई है। टीआरपी मीटर पर नजर डाले तो पिछले करीब एक साल में IBN-7 ने तकरीबन 40 फीसदी का उछाल दर्ज किया है जो अपने आप में बाजार में उसकी मजबूत होती स्थिति को बयान कर रहा है। यही नहीं पिछली जुलाई के आसपास IBN-7 न्यूज चैनेल्स की टीआरपी में 10वें नंबर पर हुआ करता था। टीआरपी मीटर में IBN 7 की हैसियत एनडीटीवी से भी कम हुआ करती थी जबकि मौजूदा दौर में IBN-7 सातवें नंबर पर लगातार जमा हुआ है।
नए मैनेजमेंट के कमान संभालने के बाद से IBN 7 का लुक और फील तकरीबन पूरी तरह से बदल दिया गया है। कांटेंट में भी धार और रफ्तार देखने को मिल रही है। चैनेल के प्राइम टाइम को और बेहतर बनाने के लिए कई बदलाव किए गए हैं। शाम पांच बजे का डीबटे प्रोग्राम आज का मुद्दा टीआरपी के हिसाब से लगातार बेहतरीन प्रदर्शन कर रहा है। इसके अलावा IBN 7 ने प्राइम-टाइम में अपने डीबेट प्रोग्राम को हम तो पूछेंगे नाम से री-ब्रांड किया है। इस प्रोग्राम को चैनेल के डिप्टी मैनेजिंग एडिटर और न्यूज इंडंस्ट्री के जाने माने चेहरे सुमित अवस्थी पेश करते हैं। BARC के आंकड़े बताते हैं पिछले कई हफ्तों से ये प्रोग्राम बड़े-बड़े चैनेल्स से प्राइम-टाइम में लोहा ले रहा है । हम तो पूछेंगे में जब पार्लियामेंट में सुषमा के बयान पर डीबेट चल रहा था तो उस दौरान IBN 7 को सभी चैनेल्स से ज्यादा देखा गया। टीआरपी में सेंध लगाने के लिए IBN 7 ने रात नौ बजे और दस बजे में भी काफी बदलाव किये हैं । इंडिया 9 बजे को न्यूज इंडस्ट्री के सबसे पुराने एंकर्स में से एक आकाश सोनी पेश करते हैं।
दर्शकों में अपनी पकड़ बनाने और चैनेल का परसेप्शन ठीक करने के लिए भी IBN 7 ने पिछले एक साल में काफी कोशिशें की है। इसी रणनीति के तहत चैनेल पर लगातार बड़े चेहरे बुलाए गए। हॉट सीट नाम का इंटरव्यू प्रोग्राम फिर से शुरु कराया गया जिसे भूपेंद्र चौबे पेश करते हैं। भूपेंद्र के पास पत्रकारिता का लंबा अनुभव है और माना जाता है कि राजनीतिक हलकों में उनकी काफी अच्छी पकड़ है । भूपेंद्र के नेटवर्किंग से भी चैनेल को काफी फायदा पहुंच रहा है। IBN 7 ने मोदी सरकार के एक साल पूरा होने पर दिल्ली में बड़ा ग्राउंड इवेंट भी किया था उस दौरान IBN 7 के मंच पर तकरीबन केंद्र सरकार के सभी बड़े मंत्री मौजूद थे। दिल्ली समेत कई राज्यों के चुनाव हो, प्रधानमंत्री की विदेश यात्रा या फिर नेपाल में भूकंप IBN 7 के कवरेज में पैनापन नजर आ रहा है और ये बदलाव अब टीआरपी में भी दिखाई देने लगी है।
दरअसल IBN 7 में जड़ हो चुकी व्यस्था को जड़ से ठीक करने को कोशिश जुलाई से ही शुरु हो गई थी। चैनेल के प्रेसिडेंट न्यूज बन कर आए उमेश उपाध्याय इलेंक्ट्रानिक मीडिया के काफी पुराने खिलाड़ी है और उनके नाम पर कई बड़े मीडिया समूह में काम करने वालों ने IBN 7 का रुख किया। उन्होने आजतक और जी समेत कई बड़े चैनेल्स के लोगो को IBN 7का हिस्सा बनाया। जाहिर ये बदलाव IBN 7 के लिए बेहतर साबित हुआ। ये बात अलग है कि चैनेल में अभी भी बहुत कुछ बेहतर किए जाने की गुंजाइश है।
भड़ास को भेजे गए एक पत्र पर आधारित.
Brij Doggal
September 13, 2015 at 11:48 am
Pravin Towari is the best anchor of IBN7
Aadab
September 13, 2015 at 8:25 pm
प्रवीण तिवारी कई मायनों में सुमित अवस्थी से अच्छे एंकर हैं