क्या दयाशंकर मिश्रा आफिस टाइम में अपने जूनियर से किताब लिखवाते रहे?

पाठकों पर दया करो, हे दयाशंकर! दयाशंकर की किताब 21वीं सदी में भारत के पहले पुनर्जागरण की गाथा नहीं, राहुल के पक्ष में किया जाने वाला घटिया स्तर का प्रोपेगेंडा है! अपनी भ्रष्ट और अनैतिक हरकतों को नैतिकता का जामा पहनाने वाले पत्रकार दयाशंकर मिश्र की किताब में न तो कोई तथ्यात्मक विश्लेषण है, न … Continue reading क्या दयाशंकर मिश्रा आफिस टाइम में अपने जूनियर से किताब लिखवाते रहे?