Connect with us

Hi, what are you looking for?

प्रदेश

उत्तर रेलवे के अधिकारियों को हाईकोर्ट ने जारी किया अवमानना नोटिस

लखनऊ : राजधानी के कानुपर रोड स्थित एलडीए कालोनी के सेक्टर एफ और सेक्टर एफ विस्तार में बने मकानों से सटाकर बाउन्ड्रीवाल का निर्माण कराया जा रहा हैं, जिसे रोके जाने की सेक्टर एफ जन कल्याण समिति द्वारा मांग की गई थी। मगर कोई निष्कर्ष न निकलने पर समिति ने उच्च न्यायालय इलाहाबाद खण्डपीठ लखनऊ में जनहित याचिका दायर की थी। जिसके तहत उच्च न्यायालय ने कालोनीवासियों के पक्ष में आदेष पारित किया था। जिसका रेलवे विभाग द्वारा अनुपालन न किये जाने और उच्च न्यायालय के आदेष को मानने से इंकार करने पर समिति के अधिवक्ता की तरफ से उच्च न्यायाल के समक्ष अवमानना याचिका संख्या 1241/2015 दाखिल की गई थी। जिसके संदर्भ में आज लखनऊ खण्ड पीठ के न्यायमूर्ति राजन राय ने अवमानना याचिका की सुनवाई करते हुए उसे संज्ञान में लिया और इस संबंध में वरिष्ठ रेल प्रबंधक उत्तर रेलवे केके लोहाटी, वरिष्ठ मण्डल इंजीनियर अनिल कालरा और वरिष्ठ मंडल इंजीनियर उत्तर रेलवे एसएन चौहान सहित अन्य उच्चाधिकारियों को स्वतः व्यक्तिगत रूप से हाईकोर्ट में तलब करते हुए अवमानना नोटिस जारी किया हैं।

<p>लखनऊ : राजधानी के कानुपर रोड स्थित एलडीए कालोनी के सेक्टर एफ और सेक्टर एफ विस्तार में बने मकानों से सटाकर बाउन्ड्रीवाल का निर्माण कराया जा रहा हैं, जिसे रोके जाने की सेक्टर एफ जन कल्याण समिति द्वारा मांग की गई थी। मगर कोई निष्कर्ष न निकलने पर समिति ने उच्च न्यायालय इलाहाबाद खण्डपीठ लखनऊ में जनहित याचिका दायर की थी। जिसके तहत उच्च न्यायालय ने कालोनीवासियों के पक्ष में आदेष पारित किया था। जिसका रेलवे विभाग द्वारा अनुपालन न किये जाने और उच्च न्यायालय के आदेष को मानने से इंकार करने पर समिति के अधिवक्ता की तरफ से उच्च न्यायाल के समक्ष अवमानना याचिका संख्या 1241/2015 दाखिल की गई थी। जिसके संदर्भ में आज लखनऊ खण्ड पीठ के न्यायमूर्ति राजन राय ने अवमानना याचिका की सुनवाई करते हुए उसे संज्ञान में लिया और इस संबंध में वरिष्ठ रेल प्रबंधक उत्तर रेलवे केके लोहाटी, वरिष्ठ मण्डल इंजीनियर अनिल कालरा और वरिष्ठ मंडल इंजीनियर उत्तर रेलवे एसएन चौहान सहित अन्य उच्चाधिकारियों को स्वतः व्यक्तिगत रूप से हाईकोर्ट में तलब करते हुए अवमानना नोटिस जारी किया हैं।</p>

लखनऊ : राजधानी के कानुपर रोड स्थित एलडीए कालोनी के सेक्टर एफ और सेक्टर एफ विस्तार में बने मकानों से सटाकर बाउन्ड्रीवाल का निर्माण कराया जा रहा हैं, जिसे रोके जाने की सेक्टर एफ जन कल्याण समिति द्वारा मांग की गई थी। मगर कोई निष्कर्ष न निकलने पर समिति ने उच्च न्यायालय इलाहाबाद खण्डपीठ लखनऊ में जनहित याचिका दायर की थी। जिसके तहत उच्च न्यायालय ने कालोनीवासियों के पक्ष में आदेष पारित किया था। जिसका रेलवे विभाग द्वारा अनुपालन न किये जाने और उच्च न्यायालय के आदेष को मानने से इंकार करने पर समिति के अधिवक्ता की तरफ से उच्च न्यायाल के समक्ष अवमानना याचिका संख्या 1241/2015 दाखिल की गई थी। जिसके संदर्भ में आज लखनऊ खण्ड पीठ के न्यायमूर्ति राजन राय ने अवमानना याचिका की सुनवाई करते हुए उसे संज्ञान में लिया और इस संबंध में वरिष्ठ रेल प्रबंधक उत्तर रेलवे केके लोहाटी, वरिष्ठ मण्डल इंजीनियर अनिल कालरा और वरिष्ठ मंडल इंजीनियर उत्तर रेलवे एसएन चौहान सहित अन्य उच्चाधिकारियों को स्वतः व्यक्तिगत रूप से हाईकोर्ट में तलब करते हुए अवमानना नोटिस जारी किया हैं।

गौरतलब हो कि समिति की तरफ से महापौर, डीएम, डीआरएम सहित अन्य आलाधिकारियों को ज्ञापन सौंपा गया था। मगर अफसोस की बात हैं कि करीब एक से डेढ़ माह की अवधि गुजर गई, मगर इन जिम्मेदार अधिकारियों द्वारा आज तक इस गंभीर मामले के प्रति सक्रियता नहीं दिखाई गई। परिणामस्वरूप रेलवे प्रषासन द्वारा जबरन लोगों की मकान से सटाकर 10 फीट की बाउन्ड्रीवाल  बनायी जा रही हैं। जिसकी वजह से लोगों के मकानों में दरारें आने लगी हैं।  वही कुछ लोगों के मकानों की नींव धंसने लगी हैं। गौरतलब हो कि कानपुर स्थिल एलडीएक कालोनी के सेक्टर एफ विस्तार में रेलवे प्रषासन लोगों की मकानों से सटाकर 10 फीट की बाउन्ड्रीवाल बनायी जा रही हैं। रेलवे 10 फीट की बाउन्ड्रीवाल बनाने के लिए लोगों के मकानों से सटाकार जमीन के नीचे 8 से 10 फीट की जेसीबी से नींव की खुदाई करवा रहा हैं।

स्थानीय निवासियों ने बताया कि कालोनी के सभी मकानों की नींव अधिकतम चार फीट की हैं। जबकि मकानों की ऊंचाई कुल मिलाकर करीब 12 फीट हैं। रेलवे की इस तानाषाही का परिणाम हैं कि जेसीबी से खुदाई कराने के चलते लोगों के मकानों की नींव धंस गई हैं। कुछ लोगों के मकान में बुरी तरह से दरारें आ गई हैं। यदि रेलवे लोगों के मकानों से सटाकर अपनी बाउन्ड्रीवाल बनवाने में कामयाब रहा तो वह दिन दूर नहीं जब चोर खुलेआम रेलवे की बाउन्ड्रीवाल पर चढ़कर लोगों के घरों में चोरी करते नजर आयेंगे। मगर रेलवे को लोगों की इस समस्या से कोई लेना देना हैं।

इतना ही नहीं रेलवे की मनमानी की सारी हदों को पार करते हुए हाईकोर्ट के आदेश को भी मानने से इंकार कर दिया हैं। रेलवे की मनमानी के प्रति स्थानीय नागरिकों ने सभी प्रषासनिक अधिकारियों की षरण में न्याय की आस को लेकर गुहार लगाई। मगर किसी भी स्तर पर स्थानीय नागरिकों को न्याय नहीं मिली। जिससे क्षुब्ध होकर सेक्टर एफ एलडीए कालोनी वासियों ने सेक्टर एफ जन कल्याण समिति ने 8 जून 2015 को हाईकोर्ट के अधिवक्ता डीके श्रीवास्तव एवं प्रियंका पाण्डेय के माध्यम से हाईकोर्ट में जनहित याचिका संख्या 5086/2015 दाखिल की। जिसमें ग्रीष्माकालीन डिविजन बैंच हाईकोर्ट लखनऊ खण्डपीठ ने रेलवे विभाग को यह आदेष दिया कि समिति के सदस्यों और कालोनी वासियों जो कि एलडीए के आवंटी हैं। उनके मकानों को किसी भी प्रकार से क्षतिग्रस्त नहीं करेगा, वह अपनी बाउन्ड्रीवाल बनाने में पूरी सावधानी बरतेगा, और खुदाई करते समय विषेष सावधानी बरतेगा।

साथ ही बाउन्ड्रीवाल बनाते से कालोनी वासियों के मकानों से एक निर्धारित दूरी बनाये रखेगा। हाईकोर्ट ने स्पष्ट रूप से निर्देष दिया हैं कि यदि आंवटियों के मकानों को किसी भी प्रकार की क्षति होती हैं तो उसकी जिम्मेदारी पूरी तरह से रेलवे विभाग की होगी। रेलवे को इस बात की जानकारी होने के बावजूद भी 12 जून 2015 को उत्तर रेलवे के अधिकारियों ने हाईकोर्ट के आदेषों का अनुपालन नहीं किया और कालोनी वासियों के मकानों से सटाकर करीब आठ से दस फीट की खुदाई कर बाउन्ड्रीवाल बनाने की प्रक्रिया षुरू कर दी गई हैं। जिसके कारण कई मकानों में दरारें आ गई हैं और कुछ मकान धंसने की कगार पर हैं। रेलवे के इस कृत्य से क्षुब्ध होकर सेक्टर एफ जन कल्याण समिति लखनऊ के अध्यक्ष जीबी सिंह ने समिति अधिवक्ता डीके श्रीवास्तव, प्रियंका पाण्डेय ने उत्तर रेलवे के मण्डल रेल प्रबंधक अनिल कुमार लोहाटी, महाप्रबंधक एके पुथिया, उत्तर रेलवे बोर्ड के चेयरमैन एके मित्तल, वरिष्ठ मण्डल इंजीनियर अनिल कालरा, वरिष्ठ मण्डल इंजीनियर द्वितीय एसएन चौहान द्वारा कार्यवाही नहीं किये जाने पर उच्च न्यायालय में अवमानना वाद दायर किया गया था। जिससे न्यायमूर्ति राजन राय की पीठ ने मामले को संज्ञान में लेते हुए उपरोक्त रेलवे के अधिकारियों को जवाबदेही के लिए स्वतः व्यक्तिगत रूप से उच्च न्यायालय के आदेषों की अवमानना नोटिस जारी करते हुए तलब किया हैं। 

You May Also Like

Uncategorized

मुंबई : लापरवाही से गाड़ी चलाने के मामले में मुंबई सेशन कोर्ट ने फिल्‍म अभिनेता जॉन अब्राहम को 15 दिनों की जेल की सजा...

ये दुनिया

रामकृष्ण परमहंस को मरने के पहले गले का कैंसर हो गया। तो बड़ा कष्ट था। और बड़ा कष्ट था भोजन करने में, पानी भी...

ये दुनिया

बुद्ध ने कहा है, कि न कोई परमात्मा है, न कोई आकाश में बैठा हुआ नियंता है। तो साधक क्या करें? तो बुद्ध ने...

दुख-सुख

: बस में अश्लीलता के लाइव टेलीकास्ट को एन्जॉय कर रहे यात्रियों को यूं नसीहत दी उस पीड़ित लड़की ने : Sanjna Gupta :...

Advertisement