ग्रेटर नोएडा: उत्तर प्रदेश में जनता पर अत्याचार करने के लिए कुख्यात यूपी पुलिस पर इस बार गंभीर आरोप लगे है। मामला यूपी के ग्रेटर नोएडा के दनकौर थानाक्षेत्र का है। दनकौर थाने के प्रभारी प्रवीण यादव पर आरोप लगा है कि थाने में शिकायत दर्ज कराने आए एक दलित परिवार की एफआईआर दर्ज करने से मना कर दिया। जब परिवार ने इसका विरोध किया तो थाना प्रभारी ने महिला के साथ बदतमीजी और मारपीट की। साथ ही थाना प्रभारी ने दंपत्ति के बीच सड़क पर कपड़े फाड़ दिये।
गौरतलब है कि सुनील गौतम निवासी अट्टा के साथ 7 अक्टूबर (बुधवार) की शाम को लूट हो गयी थी। इसी मामले में गिरफ्तारी के लिए अपने परिवार के साथ दनकौर थाने गए थे। आरोप है कि तभी भीड़ देखकर थाना प्रभारी आग बबूला हो गए और गिरफ्तारी की मांग करने वालों के साथ मारपीट करते हुए महिला के साथ बदसलूकी की व कपडे फाड़ दिए।
मामले की अधिक जानकारी के लिए थाना प्रभारी से बात करने की कोशिश की तो उन्होंने सही से बात नहीं की। उन्होंने अपने ऊपर लगे आरोपों को झूठा बताया। यूपी मे गौतमबुद्धनगर के कस्बा दनकौर के बाजार में सड़क पर कपडे उतार कर प्रदर्शन करने तथा पुलिस को बदनाम व विवाद खड़ा करने के आरोप में तीन महिलाओं समेत पांच लोगों को गुरुवार को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया गया। एसएसपी किरन एस ने यह जानकारी देते हुए बताया कि घटना के संबंध मे दनकौर के संभ्रात नागरिकों के एक प्रतिनिधिमंडल ने उनसे मिलकर सुनील गौतम और उनके परिजनों द्वारा सार्वजनिक स्थान पर किए गए नग्न प्रदर्शन व पुलिस के साथ दुर्व्यवहार के आरोप में सुनील गौतम, उनके भाई और पत्नी ,तीन महिलाओं सहित पांचों लोगों पर 307,232,323,147,148,353,294,394, 7 क्रिमिनल एक्ट की धाराओं में मुकदमा दर्ज कर जेल भेज दिया है।