वर्धा : महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा में 12 करोड़ की लागत से अंतरराष्ट्रीय स्तर का म्यूजियम बनाया जा रहा है। विश्वविद्यालय परिसर स्थित गांधी हिल में स्वामी सहजानंद सरस्वती संग्रहालय (म्यूजियम) के भवन का शिलान्यास करते हुए कुलपति विभूति नारायण राय ने कहा कि यह संग्रहालय ज्ञान-विज्ञान के उन्नयन में मील का पत्थर साबित होगा।
उन्होंने आशा जताई कि संग्रहालय में बहुमूल्य सांस्कृतिक विरासत को सहेजकर रखा जाएगा। निश्चित रूप से यहॉं शोधार्थी सर्जनात्मक ऊर्जा से एक बेहतर समाज के निर्माण में अपनी महती भूमिका निभाऍंगे। शिलान्यास समारोह के दौरान संग्रहालय के प्रभारी प्रो.देवराज, विशेष कर्तव्याधिकारी नरेन्द्र सिंह, भवन समिति के सदस्य डॉ.आर.जी.बैस, उ.प्र.समाज कल्याण निर्माण निगम लि.वर्धा के अधिशासी अभियंता कालिका प्रसाद प्रमुखता से उपस्थित थे।
उल्लेखनीय है कि म्यूजियम की उच्च तकनीक युक्त दो मंजिला इमारत दो लिफ्टों से युक्त होगी। साथ ही इसके आकर्षण का केंद्र स्वचालित सीढि़यॉं भी होंगी। विश्वविद्यालय परिसर का स्थापत्य प्राकृतिक सौन्दर्य के अनुरूप है। विश्वविद्यालय परिसर में चहुँओर ईको-फ्रेंडली निर्माण कार्य किया जा रहा है।
प्रतिकुलपति, वित्ताधिकारी, प्रोफेसर, पुस्तकालयाध्यक्ष आदि के 56 आवासों का भी शिलान्यास कुलपति श्री राय ने किया। अज्ञेय संकुल के समीप नवनिर्मित ट्रांजिट हॉस्टल में 24 कर्मियों को आवास दिए जाने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। पिछले चार-पांच वर्षों में विश्वविद्यालय के स्वरूप में काफी परिवर्तन आया है। यहॉं अकादमिक गुणवत्ता के साथ इन्फ्रास्ट्रक्चरल डेवलपमेंट का कार्य काफी तीव्र गति से हो रहा है। जहॉं उत्तरी परिसर में भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरू जैसे परिवर्तनकामी क्रांतिकारियों के नाम पर छह सौ कमरे के तीन पुरुष छात्रावास बनाये जा रहे हैं वहीं दक्षिणी परिसर में सावित्रीबाई फुले महिला छात्रावास के समीप रोज़ा लक्ज़ेमबर्ग के नाम पर एक महिला छात्रावास का निर्माण किया जाएगा।
कुलपति श्री राय ने उत्तरी परिसर के विकास कार्य को तेजी से करने के लिए आर.सी.सी.सड़क मार्ग का भी शिलान्यास किया। विश्वविद्यालय के दक्षिणी परिसर में सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाया गया है जिससे सीवर का पानी शुद्ध होकर पौधों की सिचाई में काम आएगा। उत्तरी परिसर में भी सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाया जा रहा है। मेजर ध्यानचंद खेल परिसर के समीप महाकवि निराला के नाम पर एक हजार क्षमता वाले ऑडिटोरियम का निर्माण कार्य काफी तेजी से हो रहा है। ऑडिटोरियम का शिलान्यास विश्वविद्यालय के कुलाधिपति प्रो.नामवर सिंह द्वारा फरवरी में किया गया था।
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