अपने संस्थान की एक महिला पत्रकार से दुष्कर्म के आरोप में गिरफ़्तार किए गए तहलका के पूर्व संपादक तरुण तेजपाल फ़िलहाल जेल से रिहा नहीं हो पाएंगे। उनकी ज़मानत याचिका को बॉम्बे हाई कोर्ट की गोवा बेंच ने ख़ारिज कर दिया है। बेंच ने कहा कि 50 वर्षीय तेजपाल के भाग जाने और सबूतों के साथ छेड़छाड़ की संभावना को देखते हुए ज़मानत नहीं दी जा सकती। बेंच ने ये भी कहा कि इस बात के सबूत हैं कि अभियुक्त जेल में मोबाइल फोन का इस्तेमाल कर रहा था जबकि ऐसा करना जेल नियमों के विरुद्ध है। इसलिए इस बात पर यकीन करना कठिन है अभियुक्त बेल दिए जाने पर उसकी शर्तों का पालन करेगा।
लेकिन स्थानीय अदालत ने उन्हे अपनी बीमार मां से मिलने की इजाज़त दे दी है। तेजपाल की मां पणजी के अस्पताल में भर्ती हैं। तेजपाल ने अपनी याचिका में कहा था कि उनकी मां को ब्रेन ट्यूमर है और उनकी हालत अत्यंत गंभीर है।
इस मामले में गोवा पुलिस तरुण के ख़िलाफ़ चार्जशीट दाख़िल कर चुकी है। तेजपाल गत वर्ष नवंबर से जेल में हैं।