उत्तर प्रदेश में अखिलेश यादव मुख्यमंत्री बन गए. उन्होंने शपथ ले ली. उनके साथ 48 लोगों ने मंत्री पद की शपथ ली. अफसरों को बदलने का काम भी शुरू किया जा चुका है. अनिता सिंह, आलोक कुमार, पंधारी यादव को सचिव मुख्यमंत्री बनाया गया है. राजीव कुमार-2 को नियुक्ति सचिव बनाया गया है. चर्चा है कि डीजीपी के पद पर अतुल कुमार कांटीन्यू किया जाएगा. देर शाम कई जिलों के अफसरों के बदलने की कवायद शुरू होनी है.
कुंवर अरविंद सिंह देव को गृह सचिव (होम सेक्रेट्री) बनाया गया है. बताया जा रहा है कि कुंवर अरविंद सिंह देव आज आपाधापी के दौरान फिसल कर गिर पड़े और घायल हो गए. आरएम श्रीवास्तव को नया प्रमुख सचिव गृह बनाया गया है.
अखिलेश ने आज जिन 48 मंत्रियों के साथ शपथ ली, उनमें 19 कैबिनेट मंत्री हैं. इनके नाम हैं- आज़म खान, शिवपाल यादव, अहमद हसन, डॉ. वकार अहमद शाह, राजा महेंद्र अरिदमन सिंह, आनंद सेन, अम्बिका चौधरी, रघुराज प्रताप राजा भैया, बलराम यादव, अवधेश प्रसाद, ओमप्रकाश सिंह, पारसनाथ यादव, राम गोविन्द चौधरी, दुर्गा प्रसाद यादव, ब्रह्मशंकर त्रिपाठी, कामेश्वर उपाध्याय, राजाराम पाण्डेय, राज किशोर सिंह, शिव कुमार बेरिया.
जो 28 राज्य मंत्री बने हैं, उनके नाम हैं- इक़बाल मसूद, महबूब अली, शाहिद मंजूर, रियाज़ अली, फरीद अहमद किदवई, वसीम अहमद, नरेन्द्र सिंह यादव, शिव प्रताप यादव, राजेंद्र सिंह राणा, मूल चंद चौहान, अरविन्द सिंह गोप, राजीव कुमार सिंह, अभिषेक मिश्र, विनोद कुमार सिंह, भगवत शरण गंगवार, नरेन्द्र वर्मा, मानपाल वर्मा, मनोज पारस, राम मूर्ति वर्मा, चितरंजन स्वरुप, कमाल अख्तर, शंख लाल मांझी, सुरेन्द्र पटेल, कैलाश चौरसिया, राम करन आर्य, अरुणा कोरी, जगदीश सोनकर, रामपाल राजवंशी.
अपनी सरकार के औपचारिक गठन के साथ उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ऐलान किया कि समाजवादी पार्टी के हर वादे को पूरा किया जाएगा. आज शाम की कैबिनेट की मीटिंग में बेरोजगारी भत्ता और कर्ज माफी पर फैसला होगा. मुख्यमंत्री पद पर बिठाने के लिए अखिलेश यादव ने यूपी की जनता को बहुत-बहुत धन्यवाद दिया. उन्होंने कहा कि आज से प्रदेश में कानून-व्यवस्था की जिम्मेदारी उनकी है और वह हर हाल में लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा करेंगे. कुंडा के निर्दलीय बाहुबली विधायक राजा भैया को कैबिनेट में शामिल किए जाने पर सफाई देते हुए उन्होंने कहा कि राजा भैया के खिलाफ हुई कार्रवाई राजनीति से प्रेरित थी.
मायावती पर निशाना साधते हुए मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा कि उनके पूरे कार्यकाल में भ्रष्टाचार चरम पर था. उन्होंने कहा- पिछली सरकार के कार्यकाल के दौरान लूट-खसोट और अन्याय करने वाले अधिकारियों के खिलाफ समाजवादी पार्टी की सरकार कार्रवाई करेगी. हमारी सरकार भ्रष्टाचार खत्म करने के वादे को पूरा करने के लिए कदम उठाएगी. मुख्यमंत्री ने कहा कि लोग यूपी में लोकतंत्र बहाली का जश्न मना रहे हैं. पिछली सरकार में कई तरह की पाबंदी थी. उन्होंने जनता की समस्याओं को दूर करने के लिए फिर से जनता दरबार शुरू करने की बात भी कही.
अखिलेश यादव को सबसे कम उम्र के मुख्यमंत्री होने का दर्जा हासिल हो गया है. मुलायम सिंह यादव पहली बार जब 1989 में मुख्यमंत्री बने थे उस समय उनकी उम्र करीब 50 वर्ष थी, लेकिन उनके पुत्र अखिलेश यादव ने मात्र 38 वर्ष की उम्र में ही उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री पद को संभाल लिया. उल्लेखनीय है कि मुलायम सिंह यादव के तीसरी बार 2003 में मुख्यमंत्री बनने के पहले अखिलेश की मां का निधन हो गया था. पिता के तौर पर मुलायम ने उनकी सफलता की कामना करते हुये कहा कि अखिलेश यदि अपने व्यक्तिगत और सार्वजनिक जीवन को बेदाग रखेंगे तो उन्हें बेहद खुशी होगी. हमें खुशी होगी कि अखिलेश अपने सार्वजनिक और व्यक्तिगत जीवन को बेदाग रखें. इसी से मेरे जीवन का एक बड़ा सपना पूरा होगा. सपा अध्यक्ष ने कहा कि जीवन बेदाग रहने पर सफलता अपने आप कदम चूमती है. बेदाग रहते हुए संघर्ष जारी रखना चाहिए. इससे आम जनता का लगाव नेता के प्रति बढता है.
भावुक अखिलेश ने भरोसा दिलाया कि जनता की सेवा करते हुए वह अपने पिता और समर्थकों को कभी निराश नहीं करेंगे. उन्होंने कहा कि पार्टी की नीतियां किसानों और नौजवानों को केन्द्र में रखकर बनाई जानी चाहिये. कथनी करनी में अन्तर नहीं होना चाहिये. अखिलेश यादव ने कहा कि अब पार्टी के सामने 2014 के लोकसभा चुनाव का लक्ष्य है. अखिलेश के शपथ ग्रहण समारोह में पूर्व केंद्रीय गृह मंत्री लाल कृष्ण आडवाणी समेत प्रकाश सिंह बादल, ओमप्रकाश चौटाला, पवन बंसल, मोतीलाल बोरा, जया बच्चन, अनिल अम्बानी, नसीमुद्दीन सिद्दीकी, स्वामी प्रसाद मौर्य भी मौजूद थे.