पंजाब में पिछले पांच माह से लांच होने की कोशिश कर रही पंजाब की शक्ति लाख प्रयत्नों के बाद इस बार भी 22 अक्टूबर को लांच नहीं हो पाया. लुधियाना के कोलोनाइज़ेर एमडी राजेश शर्मा ने लगभग पांच माह पहले पंजाब की शक्ति नाम से हिंदी अख़बार निकालने का बीड़ा उठाया था और अपने को एक बहुत बड़ा ग्रुप बना कर पेश किया था, जिसकी कलई अब खुल गई है. लेकिन गैर प्रोफेशनल होने के कारण पंजाब की शक्ति की शक्ति को वो बढ़ा नहीं सके.
स्टाफ बढ़ने की बजाय घटता ही गया. प्रदीप ठाकुर, संधू, आरती सेठ, मंदीप, आशु, लूथरा, गुरप्रीत, सुरेश और न जाने कितने ही लोग आए और मैनेजमेंट की कमी के कारण पंजाब की शक्ति का दामन छोड़ गए और उसी क्रम में लांचिंग की तारीख कई बार बदलती गई. इसी उठा पटक में नवीन गुप्ता भास्कर छोड़ कर पंजाब की शक्ति में अपना करियर बनाने व अखबार की शक्ति बढ़ाने बतौर एनई आ गए और सर्वे सर्वा भी बन बैठे. इसके साथ ही वे एमडी, जो कि गैर प्रोफेशनल थे, को नचाने लगे. अख़बार की लांचिंग पहले जुलाई में फिर एक अगस्त, 30 अगस्त, 30 सितम्बर, 16 अक्टूबर और फिर 22 अक्टूबर को रखी गई और इस दौरान जिला स्तर पर टीमों द्वारा माझा, मालवा व दोआबा में सर्कुलेशन प्रभारी राकेश मल्होत्रा द्वारा एजेंसियों व पाठकों से बुकिंग व एजेंसी एडवांस के नाम पर लाखों रुपया एकत्र कर लिया गया.
इसी बीच पंजाब के मोगा जिले में पंजाब की शक्ति के एमडी राजेश शर्मा का एक नकली सीमेंट का ट्रक पकड़ा गया और आरोपियों सहित एमडी पर पुलिस ने मामला दर्ज कर दिया, जिसको एक साजिश का नाम देकर पंजाब की शक्ति की टीम को 18 अक्टूबर को एमडी की ज़मानत के बाद लांचिंग का दिलासा दिया जाने लगा. जमानत के बाद भी 22 को लांचिंग के दावे जारी ही रहे लेकिन 22 को भी लांचिंग नहीं हो सकी. जिले की टीमों को पगार भी अभी तक नहीं मिली. उलेखनीय है कि पंजाब की शक्ति के पास डेस्क पर एनई नवीन के अलावा कोई काबिल टीम या व्यक्ति नहीं है. शक्ति प्रबंधकों द्वारा कुछ दिनों पहले कुछ अनजान लोगों सहित राधे, जो कि बतोर चपरासी काम कर रहा है, को भी डेस्क पर बिठा कर खिंचवाई एक फोटो फेसबुक पर डाली गई थी, जिसके बाद हिमाचल के दो जिलों में अख़बार लांच की गई, जिसके अभी तक अनियंत्रित होने की सूचना है.
इस उहापोह की स्थिति में बुकिंग करवा चुके पाठक अपने पैसे वापिस की मांग करने लगे हैं और अपने को ठगा सा महसूस कर अखबार के लांच होने की संभावना न के बराबर समझ रहे हैं. वहीँ दूसरी और सर्कुलेशन व एडिटोरियल के कुछ लोग अपने करियर को देखते हुय पंजाब की शक्ति से किनारा करने का मन बना चुके हैं. पैसा न मिलने की सूरत में पाठक कोई ठोस कदम भी उठा सकते हैं, जिस से एमडी व एनई की मुश्किलें बढ़ सकती हैं. अब पंजाब की शक्ति प्रबंधन लांच की तारीख 1 नवम्बर बता रहा है. अब देखना है कि यह अखबार एक नवम्बर को भी लांच हो पाता या फिर अगली तारीख तक टल जाता है.