अपने ही घर में लगातार आठ वर्षों से जंजीरों में जकड़ा रहता था बिहार के कटिहार जिले का चौबीस वर्षीय अभिलाष। मानिसक रूप से बीमार उक्त युवक का इलाज गरीबी के कारण नहीं हो पा रहा था। निर्धन माता-पिता मानसिक रूप से विक्षिप्त अपने पुत्र को कटिहार, पूर्णिया, पटना एवं बंगाल तक इलाज करवा चुके थे। ठीक नहीं होने के कारण थक हारकर उसे आठ वर्षों से घर में ही जंजीर से बांध कर रखा था। अभिलाष की मां ने मदद की गुहार मीडिया से लगाते हुए कहा कि उसे अगर सरकारी स्तर पर सहायता की जाये तो उसका इलाज संभव है।
अभी तक पिछले 8 सालों से उसे किसी भी स्तर से कोई सहायता नहीं मिली थी। इस खबर को जब कटिहार के एक-दो मीडियाकर्मियों ने चैनल के माध्यम से दुनिया के लोगों को बताया तो आज उसे उच्च स्तरीय इलाज के लिए भागलपुर ले जाया गया। इस खबर की फालोअप स्टोरी करने गए ईटीवी के पत्रकार प्रवीन ठाकुर पर अस्पताल के गुर्गे ने जान लेवा हमला कर दिया। इस गुर्गे का कहना था कि इस ठंढ में तुम लोगों को कोई काम मिलता है कि नहीं???? खामोखा हम लोगो को परेशान करते हो। यह कहते हुए उसने ईटीवी के पत्रकार पर जानलेवा हमला किया। इस मामले की शिकायद कटिहार के नगर थाने में कटिहार के पत्रकारों ने दर्ज करा दी है।