प्रख्यात पत्रकार प्रभाष जोशी ने पटना में शुक्रवार को संजय कुमार की किताब ‘बिहार की पत्रकारिता – तब और अब’ का लोकार्पण किया। गांधी संग्रहालय, पटना में आयोजित ‘रामचरित्र सिंह स्मृति व्याख्यान’ में शरीक होने आए प्रभाष जोशी ने व्याख्यान के बीच में संजय की किताब को लोकार्पित किया। व्याख्यन का विषय था- ‘लोकतंत्र का ढहता हुआ चौथा स्तम्भ’।
इस मौके पर प्रभाष जोशी ने कहा कि आज पत्रकारिता में जो कुछ हो रहा है, उससे उसके अस्तित्व पर सवाल खड़ा हो गया है। अगर पत्रकारिता की मौत होती है तो समझिए लोकतंत्र की मौत हो जाएगी। श्री जोशी ने कहा कि पत्रकारिता साधारण नागरिक का हथियार है। इसके माध्यम से वह विधायिका पर नजर रखता है। हाल में हुए आम चुनाव के दौरान मीडिया द्वारा खबर छापने के लिए उगाहे गए धन का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि आम जनता से इस हथियार को छीनने की साजिश हो रही है। लोकार्पित पुस्तक ‘बिहार की पत्रकारिता – तब और अब’ में संजय कुमार ने बिहार की पत्रकारिता की विभिन्न और विविध पत्रकारीय गुणों की तफ्सील से चर्चा की है। किताब के लेखक पत्रकार संजय कुमार आकाशवाणी, पटना में समाचार संपादक के रूप में कार्यरत हैं। इस अवसर साहित्यकार खगेन्द्र ठाकुर, पत्रकार हरिवंश, हेमन्त, स्वयं प्रकाश, गांधी संग्रहालय के महामंत्री रजी अहमद सहित जाने माने पत्रकार-साहित्यकार उपस्थित थे।