‘सारा खेल राजदीप, पुण्य प्रसून और राहुल कंवल ने बिगाड़ा”

यशवंत जी, आप चाहें जो लिखें-कहें, लेकिन सच यही है कि अगर कोई बात लिखित रूप से तय हुई है, इंबारगो के बारे में सब कुछ सबकी सहमति से तैयार हो गया तो फिर इसे तोड़ना न सिर्फ अनैतिक है बल्कि किसी पर भी भरोसा न करने जैसा ट्रेंड पनपाने वाला है. पहले से ही तमाम तरह के आरोपों से घिरी मीडिया को एक बार फिर मीडिया वालों ने ही अनैतिकता के गड्ढे में धक्का दे दिया है. सारा खेल राजदीप चौरसिया, राहुल कंवल और पुण्य प्रसून ने बिगाड़ा.

सलमान और मुलायम की मांग- मीडिया करप्शन भी लोकपाल के दायरे में आए!

द हिंदू अखबार में दो खबरें पिछले दिनों प्रकाशित हुई. एक रिपोर्ट के मुताबिक केंद्रीय कानून और सामाजिक न्याय मंत्री सलमान खुर्शीद ने एक न्यूज चैनल पर एंकर के सवालों के जवाब में उन्हीं से सवाल पूछ लिया कि ”…मीडिया करप्शन को टीम अन्ना वर्जन के लोकपाल के अधीन जांच का विषय क्यों नहीं बनाया जाना चाहिए. क्या हम लोगों को नीरा राडिया टेप का यहां जिक्र नहीं करना चाहिए.