सबसे संभ्रांत और मानवीय माने जाने वाले मीडिया समूह एनडीटीवी ग्रुप में छंटनी की आंधी अब दिल्ली पहुंच चुकी है। मुंबई में दर्जनों लोगों को बाहर किए जाने के बाद दिल्ली में भी करीब एक दर्जन लोगों पर गाज गिरा दी गई है। शुरुआत हिंदी न्यूज चैनल एनडीटीवी इंडिया से हुई है। इस चैनल के कम से कम 11 लोगों को निकाले जाने की खबर है। इसमें दो एंकर, सात लोग आउटपुट और दो इनपुट के हैं। एनडीटीवी ने इन सभी लोगों को कई महीने की सेलरी देकर और नए प्रोजेक्ट में फिर रखे जाने का आश्वासन देकर विदा कर दिया है। एक बारहवां शख्स भी है जिन्हें पहले तो कार्यमुक्त किए जाने का पत्र दिया गया लेकिन बाद में उन्हें फिर रख लिया गया।
जिन लोगों को अंतिम तौर पर कार्यमुक्त किया गया है, उनके नाम व काम इस प्रकार है-
- अरफा खानम शेरवानी (एंकर)
- अमृता राय (एंकर)
- प्रज्ञा मानव (आउटपुट)
- शोभा राम (आउटपुट)
- निखिल रंजन (आउटपुट)
- प्रियंका शर्मा (आउटपुट)
- अभिरंजन (आउटपुट)
- रमेश (आउटपुट)
- सत्येंद्र रंजन (आउटपुट)
- शैलेंद्र (इनपुट)
- आकाश (इनपुट)
कार्यमुक्त किए गए सत्येंद्र रंजन को लगभग छह महीने पहले ही एनडीटीवी के स्पोर्ट्स डेस्क का इंचार्ज बनाया गया था। वे करीब छह साल से इस ग्रुप के साथ जुड़े हुए हैं। अरफा खानम शेरवानी और अमृता राय एनडीटीवी इंडिया के जाने-माने और दर्शकों के परिचित हो चुके चेहरे हैं। सूत्रों का कहना है कि अगले कुछ दिनों में अंग्रेजी न्यूज चैनल एनडीटीवी 24×7 के कर्मियों पर गाज गिराई जाएगी। एनडीटीवी में अभी तक छंटनी के चार दौर चल चुके हैं। मेट्रोनेशन से दो राउंड में लोग निकाले गए। एनडीटीवी ग्रुप के इस चैनल से पहली बार 22 जनवरी 2009 को छंटनी हुई। उसके बाद 26 मार्च को ढेर सारे लोग बाहर किए गए। मुंबई में एनडीटीवी इंडिया और एनडीटीवी 24×7 में छंटनी पिछले हफ्ते हुई जिसमें दोनों चैनलों के एडिटोरियल से करीब 9 लोग निकाले गए और हर विभाग को मिला दें तो 24 लोग बाहर हुए। अब दिल्ली से सिर्फ हिंदी न्यूज चैनल से 11 लोगों को निकाल दिया गया है।
एनडीटीवी ग्रुप छंटनी के बावजूद कई लोगों को फिर से अपने दूसरों चैनलों में एडजस्ट कर रहा है। सूत्रों के अनुसार मेट्रोनेशन से निकाले गए कई लोगों को एनडीटीवी प्राफिट और एनडीटीवी अरेबिया में रख लिया गया। इसी तरह मुंबई में भी कई पुराने कैमरापर्सन को जिन्हें निकाल दिया गया था, उन्हें एनडीटीवी के दूसरे चैनलों में समायोजित कर लिया गया है। दुबारा रखे जाने के बारे में दो तरह की सूचनाएं आ रही हैं। कुछ लोगों का कहना है कि जिन लोगों के गाडफादर चैनल में हैं, वे लोग कहीं न कहीं एडजस्ट कर लिए जा रहे हैं। दूसरी तरफ यह भी कहा जा रहा है कि एनडीटीवी प्रबंधन मेरिट और जरूरत के हिसाब से समायोजित कर रहा है और निकाले गए कुछ लोगों का नए सिरे से नौकरी प्रदान कर रहा है। संभव है, एनडीटीवी इंडिया से हटाए गए लोगों में से कुछ को एनडीटीवी ग्रुप जल्द ही किसी और प्रोजेक्ट में समायोजित कर ले।