वायस आफ इंडिया का बवाल सुलझता दिख रहा है। कर्मचारियों को जून महीने की सेलरी दे दी गई है और जुलाई माह की सेलरी अगले कुछ दिनों में देने का वादा किया गया है। कल रात 11 बजे चैनल के लोग काम पर लौट आए और रात 12 बजे के करीब चैनल फिर आन एयर हो गया। सूत्रों के मुताबिक चैनल बंद कराने के पूरे अभियान में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेने वालों और गाली-गलौज करने वालों के खिलाफ प्रबंधन सख्त कार्रवाई के मूड में है। इन लोगों की पहचान कर ली गई है। बताया जा रहा है कि इस बार के हंगामे में सबसे सक्रिय भूमिका तकनीकी विभाग के लोगों की थी। टेक्निकल स्टाफ ने जब काम करने से हाथ खड़ा कर दिया तो चैनल का आफ एयर होना स्वाभाविक था।
अब ऐसी व्यवस्था की जा रही है जिससे भविष्य में कभी भी चैनल के आफ एयर होने की स्थिति न आ सके। उधर, अमित सन्हा और मित्तल बंधुओं के बीच चैनल चलाने को लेकर बातचीत जारी है। सूत्रों के मुताबिक सारा विवाद चैनल की देनदारियों को लेकर है। अमित सिन्हा के पक्ष का कहना है कि पुरानी देनदारियों से उनका कोई लेना-देना नहीं है, इसलिए उसे मित्तल बंधु हैंडल करें जबकि मित्तल बंधु चाहते हैं कि अमित सिन्हा व उनके लोग पुरानी देनदारियों का भी जिम्मा लें। अमित सिन्हा ने मई और उसके बाद की सेलरी व अन्य देनदारियों को चुकता करने का वादा किया है और उसके पहले के लेन-देन के लिए मित्तल बंधुओं को जिम्मेदारी उठाने का अनुरोध किया है।
सूत्रों का कहना है कि कुछ ऐसे लोग भी सक्रिय हैं जो चाहते ही नहीं कि अमित सिन्हा और मित्तल बंधुओं में कोई समझौता हो सके। इनका मकसद चैनल को किसी भी तरह न चलने देने का है। बताया जा रहा है कि ऐसे ही लोग चैनल में स्ट्राइक करवा रहे हैं और कर्मचारियों को भड़काने में जुटे हैं। वीओआई के ग्रुप एडिटर किशोर मालवीय ने एक आंतरिक आदेश जारी कर न्यूज सेक्शन के सभी लोगों से कह दिया है कि जो लोग काम नहीं करना चाहते, वे जा सकते हैं लेकिन चैनल के अंदर किसी भी तरह की अराजकता किसी हालत में बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
भड़ास4मीडिया ने ग्रुप एडिटर किशोर मालवीय से संपर्क किया तो उन्होंने बताया कि चैनल का काम सुचारु रूप से चल रहा है। सभी लोग काम में जुट गए हैं। प्रबंधन और कर्मचारियों के बीच कुछ गलतफहमियों के चलते सारा विवाद हुआ। अब सब कुछ ठीक हो चुका है। जल्द ही सब कुछ ढर्रे पर आ जाएगा।