वरिष्ठ पत्रकार, जांबाज पत्रकार, चर्चित पत्रकार, अदभुत पत्रकार आलोक तोमर हम लोगों के बीच नहीं रहे. आज उनका निधन हो गया. वे पिछले कई दिनों से जीवन और मौत से संघर्ष कर रहे थे. दिल्ली के बत्रा अस्पताल में भर्ती आलोक तोमर को कैंसर था. डाक्टरों ने बहुत पहले उनके न बचने के बारे में कह दिया था.
लेकिन आलोक तोमर अपने विल पावर और जिजीविषा के कारण कैंसर व मौत, दोनों को लगातार मात दे रहे थे. पर इस बार जब हालत बिगड़ी तो आलोक तोमर कई दिनों के संघर्ष के बाद अंततः इस दुनिया को अलविदा कह गए. आलोक तोमर जनसत्ता में अपनी रिपोर्टिंग के जरिए देश के कोने-कोने तक में चर्चित हुए. उन्होंने कई किताबें लिखीं. अपने बेलौस और बेबाक लेखन के कारण आलोक तोमर ने अपने लाखों-करोड़ों प्रशंसक बनाए.
प्रिंट मीडिया से करियर की शुरुआत करने वाले और लोकप्रियता की बुलंदियों तक पहुंचने वाले आलोक तोमर ने बाद के दिनों में न्यू मीडिया को अपना कर फिर से अपने लेखन को जन-जन तक पहुंचाना शुरू कर दिया. वे शब्दार्थ फीचर एजेंसी, डेटलाइन इंडिया वेबसाइट व न्यूज एजेंसी के जरिए देश के दर्जनों अखबारों में प्रकाशित होते रहते थे. उनके परिवार में उनकी पत्नी सुप्रिया व एक बिटिया मिष्टि हैं.
Comments on “आलोक तोमर का निधन”
होली के दिन ये सूचना वाकई बेहद दुखद है..भगवान उनकी आत्मा को शांति और उनके परिवार को इस दुखद घडी में शक्ति दे…भारतीय पत्रकारिता के लिए यह एक अपूर्णीय क्षति है. इस रिक्त स्थान को भर पाना नामुमकिन हैं….
sabko ek din jana hai. lekin alok ji etni jaldi humlogo ko chor kar chle jayenge. yakin nahi ho raha. shayad mai yakin karna bhi nahi chahta hun.
yeh hindi parakarita ke ek yug ka avsan hai.
alok ji ka nidhan patrakarita jagat ke liye dukhad h. hardik samvedna.
Holi ki subah es dukhad khabar ne ham sabko aahat kar gaya, tomarjee ka jana patrkarita jagat ke sath hi B4M ki bhi badi chhati hai.ham tak jaan satta to nahin pahuchta tha,lekin bhadas ke jariye alokjee ke vichar hamesha pahuchate rahe.
aub unaki lekhani to nahin par unka tarika hamare bich shesh hai,jo ham sabko prerana deta rahega.
yashvantjee aap hamari sradhanjali unake parijanon tak preshit karenge.
बहुत दुखद , बहुत दुखद
ये हिन्दी पत्रकारिता के लिए बड़े ही दुख की बात है
दीपक खोखर
होली के दिन एक प्रिय एवं आदरणीय पत्रकार को खोना दुखद हैं। मैं उनके आलेखों को पढ़ा करता था। उनके लेखन में रफ्तार एवं संप्रेषण था। उनके लेखन से सिखने एवं समझने को मिलता था। आज के दिन हिन्दी पत्रकारिता ने आलोकजी जैसा सितारा खो दिया हैं।
alok tomar ke nidhan se main bahut maremahat ho. aap ki patrakarita se log loha mante the.puri jindagi bade shan se patrakarita ki aur bade rajniotigyo se samband hone par bhi labh nahi liya.bhagwan aap ki atma ko shanti pradan kare.aur alok ji ke mitro se nivedan karoga ki unki patni aur
baccho ka khyal rakhe.
antim darshan to karnahi sakte ish liye bhadas ke hi madhyam se aap ko shradhanji arpit karte hai.
शब्द नहीं हैं मेरे पास इस दुख को बयां करने के लिए…आखों में आंसू हैं…आलोक सर मेरे लिए बहुत बड़े प्रेरणास्त्रोत थे…शब्दों के इस जादूगर की कमी शायद ही कोई भर पाएगा.
हिन्दी पत्रकारिता के लिए आलोक जी का निधन बेहद दुखद है..आलोक जी के स्थान को भर पाना किसी के बूते की बात नहीं ….सही मायने में सही को सही और गलत को गलत बताने के उनके बे-बाक अंदाज़ को हमेशा याद रखा जायेगा … अलोक जी के शोक संपत परिवार को हमारी संवेदना …
मुकेश राजपूत चंडीगढ़
Alok ji ka nidhan byaktigat tour par mere liye bahut sdukhad hai patrkarita ke chetra me unka yogdan bhulaya nahi ja sakta main byakti gat rup se unhe janta tha unme jo jijibsa thi aur swahas tha wah har patrkar ko prerit karta rahega iswar unke aatma ko santi de thatha misti bitya aur bhabhi ji ko is dhokh se ubarne ka sahas de
BINOD ANAND
EDITOR
ANTARKATHA
holi ke din aisi dukhad khabar… yakin nahi hota…. lekin satya ko sweekarna hi hoga… desh ne ek jeewat, nirbheek kalam ke sipahi ko kho diya… iswar unki aatma ko shati pradan kare…
आलोक जी को जर्नलिस्ट टुडे नेटवर्क की तरफ से श्रद्धांजलि व नमन… उनका जाना पत्रकारिता जगत के लिए अपूर्णीय क्षति है। परम पिता परमातमा से प्रार्थना है उन्हें अपने श्रीचरणों में स्थान दें और उनके परिवार व पत्रकारिता जगत को ये दुख सहन करने की शक्ति।
योगराज शर्मा, एडिटर इन चीफ, जर्नलिस्ट टुडे नेटवर्क
http://www.journalisttoday.com/
BAHUT DUKHAD KHABAR HAI !
Kalam ke is sipahi ko Akhiri Salam.
-Pushpranjan
आलोक जी आप हमेशा हमारे साथ है….और रहेगे..
देवेंद्र सिंह तंवर
टी वी पत्रकार दिल्ली
अलोक जी के निधन से पूरा ग्वालियर -चम्बल स्तब्ध है ….हर जगह सिर्फ यही खबर है और उनकी पत्रकारिता और लेखों से जुड़े किस्सों की चर्चा …..जब तक हिंदी पत्रकारिता रहेगी आलोक तोमर जीवित रहेंगे …नहीं तुम कभी नहीं मर सकते …कभी नहीं
ना जाने कितने दीपकों को सूर्य-का सा आलोक देकर छुप गया एक आलोक।
इस नश्वर देह के दायित्व खत्म हुए तो मर गया तोमर। अब इस दायित्व को और भी आलोकित करने का जिम्मा उन सूरजों पर है जिन्हें आलोक तोमर ने उर्जा दी।
तो अब तो अपने आप को बेमिसाल आलोक सा साबित करने की जिम्मेदारी उन दीपकों-ढिबरियों और लालटेनों पर है कि वे कितने निर्भीक, ओजस्वी, आलोकित और बेखौफ उर्जावान बन सकते हैं जिन्हें धधकता सूरज बना कर आलोक तोमर ने भौतिक अवसान लिया।
हां, यह बात जरूर हमेशा मुझे सालती रहेगी कि उनके सामने बैठकर यह गाना गाने की ख्वाहिश पूरी नहीं कर सका —-
खेलैं मसाने में होली दिगम्बर, खेलैं मसाने में होली।
वैसे हिन्दी ही नहीं, बल्कि पूरी भारतीय पत्रकारिता का यह बेलौस दिगम्बर अब स्मृति-शेष है, यकीन ही नहीं हो रहा है। लेकिन छन्नू महराज के अंदाज में आलोक तोमर ने पत्रकारों को यह तो अहसास करा ही दिया कि —-
ना सोना साथ जाएगा, ना चांदी जाएगी,
सज धज कर जिस दिन मौत की शहजादी आयेगी।
ना सोना साथ जाएगा, ना चांदी जाएगी।
वैसे, आप याद बहुत आयेंगे आलोक भाई साहब। मुझे सुन रहे हैं ना, आप याद बहुत आयेंगे। जिन्दगी भर।
कुमार सौवीर
अलोक जी के निधन से पूरा ग्वालियर -चम्बल स्तब्ध है ….हर जगह सिर्फ यही खबर है और उनकी पत्रकारिता और लेखों से जुड़े किस्सों की चर्चा …..जब तक हिंदी पत्रकारिता रहेगी आलोक तोमर जीवित रहेंगे …नहीं तुम कभी नहीं मर सकते …कभी नहीं
WE WILL MISS U
Alok ji ko shat-shat naman. Ek bebaak patrakar ka kabhi na lautna bahut takleef dega. Ishwar unki aatma ko shanti de.
आलोक तोमर कई पत्रकारों के प्रेरणास्रोत रहे हैं. उनके निधन से हिंदी पत्रकारिता को अपूरणीय क्षति हुई है. उन्हें कोडरमा जिले के पत्रकारों की ओर से विनम्र श्रद्धांजलि. भगवान उनकी आत्मा को शांति और उनके परिवार को इस दुखद घडी में शक्ति दे…
– संजीव समीर, कोडरमा
Sad day for Indian Journalism.A great journalist,fighter to the core is no more.Inspirational for the budding journalists! May his soul rest in peace!
aisa khara aadmi dubara paida nahi hoga…
Oh Very Sad news in My News life/Jane mane journlist Aalok Tomar aab is duniya me nahi rahe/Unka jana kuch arsa pehle hi fix ho gaya tha/aakhirkar Cancer se lamba yudh karte huye is dunia se vida ho gay/unko meri orse BHAVBHEENI Shardanjali
Mene tomar sahab ko pada . sahi mayne me patrkaro ke aadrash rahe . unka jesa patrkar milna mushkil hai . sir aap great the , hai aur rahenge . mai aapko salyut karta hu.
Alok ji ke khabar miltay he may jaha tha wahe kharah rah gaya ,yakin nahi ho raha hay,yeh hindi patrakarita ke eak yug ka avsan hay,swargeya s.p ji ka bad hindi patrakarita ke yah dusre bhare dukhade khabar hay.jisko kabhe bhe bhara nahe ja sakta hay,….hardek samvedna.
holi ka den yeh khabar behad dukhad hay ,bhagwan unke atma ko santhe pardan karay.hamare samvadna……
प्रभु दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें…यही कामना करता हूं…
दुखद खबर…
अत्यंत दुखद समाचार है । ईश्वर दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें एवं उनके परिजनों व मित्रों को यह दुख सहने की क्षमता दें ।
होली पर इससे ज्यादा दुखद समाचार और कोई नहीं हो सकता था. आलोक तोमर जी जैसी धारदार लेखनी मिलना बहुत मुश्किल है. मोत के इतने करीब हो कर भी अपने बही तेवर बनाये रखना बहुत हिम्मत की बात है. परम पिता परमेश्बर उनकी आत्मा को शांति और परिवार को यह दुःख सहने की ताकत प्रदान करे.
मुझे आलोक जी के साथ काम करने और काफ़ी कुछ सीखने का सौभाग्य मिला है. आलोक जी को मेरा नमन.
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[b]बेहद दुखद समाचार…..[/b].
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आलोक तोमर साहब को नमन…
Sad news , Mai Aalok ji ke saath kaam kiya hai , media jagat ke Guru the aur mere bhi guru rah chuke hai , viswaas nahi hota …
dukhad…. behad dukhad… Alok ji se milne kii meri hasrat hasrat hi rah gayi. ishwar unkii aatmaa ko shaanti de….
उन जैसे निर्भीक पञकार का निधन दुखद है. प्रभु दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें…
आलोकविहीन होली का रंग काला पड़ गया…. विनम्र श्रद्धांजलि…
पत्रकारिता के निर्भिक हस्ताक्षर आलोक तोमरजी को मेरी और से भावभीनी श्रद्धांजलि।
श्रधांजलि……….!
मेरे जैसे पता नहीं ही लोग उन्हें पसंद करते थे अक्सर में उनसे बात करता बहुत कुछ उनसे मैंने सिखा भी मेरे जीवन में उनकी कमी हमेशा ही खलेगी विनम्र सर्धांजलि के साथ बिजेंदर शर्मा धर्मशाला हिमाचल परदेश
alok tomar ke jaane ki khabar sunkar bara dhakka laga. aisa laga jaise koi apne ghar se chala gaya hai. behad dukhad ghari hai mere liye…holi ke din rula gaye sir.
black holi for journalism ….. sachin choudhary bhopal
socha tha iss bar dilli jauga to alokji se jarur milunga. par aisha ho na saka. holi ke din behad buri khabar mili. alok ji hum aap ko hamesh yad rakhenge…vijay singh
पत्रकारिता के एक युग का अवसान हो गया …….
Main bahut hi wyathit hun. Aap jaise mahan patrkar kabhi-kabhi janam lete hain. Log aapse sachhi patrkarita ki prerna len yahi aapki sabse badi shradhanjali hogi.Ishwar apki atma ko shanti pradan kare.
कुछ भी कह पाने में असमर्थ हूँ! स्तब्ध ! अवाक् !
” मौत ने तो धर दबोचा एक चीते की तरह, जिंदगी ने जब छुआ तब फासला रखकर छुआ !”
बेहद दुखद ,अलोक तोमर जी की datelineidia देखने बाद मैं बहुत ही प्रभावित था , वो एक प्रेरणा श्रोत और मार्गदर्शक थे ,पत्रकारिता के चर्चित चेहरों में आलोकित..
एक रौशनी एक अलोक से हम वंचित हो गए …
Very sad news.May God give peace to departed soul and streanth to his family to tolerate the loss.-H R Tripathi.=Lucknow
we’ll miss u sir….
आलोक सर जैसे कलम के बेबाक सिपाही का निधन वाकई कभी भी पूरी ना हो सकने वाली क्षति है। ईश्वर दिवंगत आत्मा को शांति दे।
आलोक जी के स्थान को भर पाना किसी के बूते की बात नहीं ….सही मायने में सही को सही और गलत को गलत बताने के उनके बे-बाक अंदाज़ को हमेशा याद रखा जायेगा … अलोक जी के शोक संपत परिवार को हमारी संवेदना …
kisi ki badli ya nahi meri life jaroor badal di tomar ji ne
bhadas par unke lekh ne mera bhavishya ko nai dish pradan ki
or aaj me apne mukam ke raste par chal pada hoon
bhagwan unki aatma ko shanti pradan kare
आलोक जी के स्थान को भर पाना किसी के बूते की बात नहीं ….सही मायने में सही को सही और गलत को गलत बताने के उनके बे-बाक अंदाज़ को हमेशा याद रखा जायेगा … अलोक जी के शोक संपत परिवार को हमारी संवेदना …
bade gaur say sun raha tha jamana tumhey
tumhee so gaye dasta kahtey kahtey………..bus ab kuch nahi…sirf yug purush ko sat-sat naman.
phir iswar alokji ko hindustan ki sarjami may kisi maa ki kokh may bhejay taki punah nayi peedhi ko ek adarsh kalamkar ki leykhni ka labh mil sakey.
alokji ap varso hum sabhi mard patrakaro k beech banay rahegay.yeh wada hai sirf hum sabhi mard patrakaro ka.
rajesh vajpayee ibn7 unnao
Alok tomar ,,ab hamare beech nahi,,rahe ,,,Ye afsosnaak hai,,Ishwar unhe shanti de ,aur parivaar ko shakti,,,
मैं कभी आलोक जी से नहीं मिला, मगर कभी उनको अपरिचित नहीं महसूस किया। कभी उनके बारे में पढ़ता, सुनता तो हमेशा यही लगता जैसे अपने ही किसी की चर्चा है। आज उनके निधन की खबर से भी लगा कोई अपना नहीं रहा। उनसे सीधा संपर्क न होने के बाद भी वह मेरी दुनिया का ही एक हिस्सा थे। बहुत से लोग उन्हे निजी तौर पर जानते थे, वे चर्चा करते और मैं सोचता इस बार मौका मिला तो जरूर मिलूंगा- नहीं मिल सका। लेकिन सोचता हूं कि ऐसे लोगों से मुलाकात का कोई बहुत महत्व नहीं होता, क्योंकि वह अपने विशाल व्यक्तित्व के कारण हमेशा आपके करीब होते हैं। उनसे न मिल पाने के दुख से बड़ा आज उनके न रहने का दुख है।
बेहद दुखद समाचार….लगता था कि जांबाज आलोक जी लगातार मौत को यूं ही मात देते रहेंगे..एक दशक से ज्यादा समय से उन्हें जानते हुए उनकी बेबाक लेखनी का प्रशंसक रहा…इन दिनों भड़ास और फेसबुक के जरिये निरंतर उन्हें पढने का सौभाग्य मिल रहा था…हार्दिक श्रद्धांजलि
आलोक जी से मैं कभी नहीं मिला मगर कभी वह अपरिचित नहीं
महसूस हुए। हमेशा वह मेरी दुनिया का ही एक हिस्सा रहे। इसी
वजह से उनके न रहने की खबर से मुझे निजी तौर पर एक रिक्तता
महसूस हुई, जिसे शब्दों में बयान करना मुश्किल हो रहा है। कई बार
उनके परिचितों से उनके बारे में सुनता, सोचता कि इस बार मौका
लगते ही उनसे मिलूंगा, पर न मिल सका। मगर उनसे न मिल पाने से बड़ा दुख उनके न रहने का है। ईश्वर करे उनके कार्य नई पीढ़ी का मार्गदर्शन करें।
दुखद समाचार है । ईश्वर दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें एवं उनके परिजनों व मित्रों को यह दुख सहने की क्षमता दें । आलोक तोमर कई पत्रकारों के प्रेरणास्रोत रहे हैं. उनके निधन से हिंदी पत्रकारिता को अपूरणीय क्षति हुई है.
महासंताप दायक, कारुणिक व क्रन्दनकारी समाचार !
ऐन मौके पर धोखा दे ही गया भाई,
स्तब्ध, विचलित और अ-वाक् हूँ. कमी सदा खलेगी.
अश्रुपूर्ण विदाई ……आत्मिक श्रध्दांजलि …..
isvar unki aatma ko shanti pradan kare aur parivar ko shakti de alok ji jase log aaj kam hi milte h
virendra arya meerut
भगवान उनकी आत्मा को शांति दें….
avishwashniy .. unkaa aakhri sandesh .. woh joojh rahein hain nidar hokar .. dekhein kaun jitataa hai..? was the spirit he lived for ..a tribute,, and heartfelt condolence .. for ..
Alok sir ke nidhan ki ghatana sun kar kafi dukh hua….Bhagwaan unki atma ko shanti de…….
…Ye media ka aur hum jaise logo ka durbhagya hai ki ek bebak aur damdar insan ab nahi raha …. meri jitni bhi mulakat hui thi unse aaj mai wahi pal yaad kar raha hu…..unki kahi hui har baat mujhe unki yaad dila rahi hai…..
alok ji ke nidhan ka samachar jan kar gehra sadma laga.alok ji ke sath mai.n bhi nbt mai.n samvaddata tha kai bar sath sath reporting ki thi. us ke bad bhi sampark bana raha. vastav mai.n alok ji ka vayktitva karishmai tha. aaj alok ji jaise jujharoo patrkar kam hi hai.n.aisa lag raha hai jaise apne sharir ka koi aang nahi.n raha.ishvar unki aatma ko shanti de aur supriya ji aur unke parivar ko yeh dukh sahne ki shakti de. aamin
Ek jaanbaaz patrakarita ke yug ka ant ho gaya. meri taraf se alok tomarji ko shradhdhanjali.
आलोकजी नहीं रहे, विश्वास नहीं हो रहा है। आलोकजी ने पत्रकारिता के क्षेत्र में नया आलोक डाला है। उन्होंने बतलाया है कि पत्रकारिता में आलोक कैसे फैलाया जाता है। वे हमेशा अमर रहेगे। ईश्वर उनकी आत्मा को शांति दे।
अलोक सर के लिए…..सबको पता हैं एक ऐसी सरहद आयेगी जहाँ से आगे जिन्दगी चार कदम तो क्या एक कदम भी आगे ना बढ पायेगी, जिन्दगी फिर से लौट आने लिए इन्तज़ार कराएगी…….बीते सफर को एक नज़र में फिर से दिखलाएगी…अपने कदम फिर से पत्रकारिता की तरफ बढ़ाएगी… ठीक उसी पल आप जिन्दगी से फिर जीत जायेंगे…मगर देखना है की जिन्दगी अभी कितना और रुलाएगी……………..
कभी आलोक जी से मिला नहीं .. कभी उनका कोई लेख भी नही पढ़ा लेकिन आज सुबह जैसे ही आलोक जी के निधन की ख़बर सुनी एक दम आवा्क सा रह गया….. कुछ पल के लिए लगा कि ये एक होली का गंदा मजाक है लेकिन जब चेतना आई तो फिर आंखो में आसुओ के अलावा और कुछ नहीं था…… आलोक जी को अश्रुपूर्ण श्रद्धांजलि
आदर्णीय आलोक जी की यादें हमेशा हमारे दिल में रहेगी । भगवान उनकी आत्मा को शान्ती प्रदान करे ।
आदर्णीय आलोक जी की यादें हमेशा हमारे दिल में रहेगी। ईश्वर उनकी आत्मा को शान्ती प्रदान करें ।
patrakarita jagat ke loh stambh the adarniye alokji bhagwan sri krishna se karbadh prathna hai aise mahan atma ko ve apni sharan mein isthan de aur alokji ke parivaar ko unki jaisi himmat aur hosla de.written by mohit singh patrakar lucknow.
आलोक जी का जाना वैसा ही है जैसे एकदम से बिजली चला जाना. वो पत्रकारिता और रिपोर्टिंग के लिए जीवंतता के प्रतीक थे. उनके जैसो का जाना हम सब के के लिए दुखद है. यह हमारी व्यक्तिगत छति है.
सादर नमन। ईश्वर उनकी आत्मा को शांति दे।
Alok ji k saath Zindagi ne Waqt se pahle Bewafai kar diya. Kaash alok ji ham logo k beech Sadaiv rahte. Ishwar Alok ji ki Aatma ko Shanti Aur Unki Patni-Beti ko Shakti Pradan Kare.
patrakarita ek aur purodha hamesha ke liye so gaya. ye patrakarita jagat ke liye apurniya kshati hai.
bhagwan alokji ki aatma ko shanti de.
आलोक जी का जाना वैसा ही है जैसे एकदम से बिजली चला जाना. वो पत्रकारिता और रिपोर्टिंग के लिए जीवंतता के प्रतीक थे. उनके जैसो का जाना हम सब के के लिए दुखद है. यह हमारी व्यक्तिगत छति है.
alok ji ne sabhi ke liye bahut kuchh kiya tha unki kami hame nirantar khalati rahegi.
आलोक जी को श्रधांजलि . . . . . . . . .
मीडिया जगत में यह एक अपूरणीय छति हुई है जिसकी भरपाई शायद मुश्किल हो.. एक्टिव जर्नलिस्ट फोरम, गाजीपुर व् समस्त पत्रकारों की तरफ से इस दुःख की घड़ी में हम सभी भगवान् से उनकी दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करने की प्रार्थना करते हैं..
आलोक जी को अश्रुपूर्ण श्रद्धांजलि
आलोक जी को अश्रुपूर्ण श्रद्धांजलि
आलोक जी को शत् शत् नमन…
हम तुम्हें यूं भूला ना पाएंगें