नोएडा के अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट के आदेश पर दादरी कोतवाली पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है…
कुल छह लोगों के खिलाफ आईपीसी की 13 धाराओं में दर्ज हुआ नामज़द मुकदमा..
इनमें बीकानेरवाला के मालिक और वाराणसी के विधायक भी शामिल हैं
- श्याम सुंदर अग्रवाल
- विनीत अग्रवाल
- पंकज अग्रवाल
- मनीष अग्रवाल
- सौरभ श्रीवास्तव
- अशोक माथुर
आईपीसी की इन धाराओं के तहत एफआईआर
- आईपीसी 406
- आईपीसी 420
- आईपीसी 467
- आईपीसी 468
- आईपीसी 471
- आईपीसी 427
- आईपीसी 147
- आईपीसी 323
- आईपीसी 380
- आईपीसी 392
- आईपीसी 504
- आईपीसी 506
- आईपीसी 120 बी
क्या है मामला-
दिल्ली में वेस्ट विनोद नगर मंडावली के रहने वाले कुलदीप ने गौतमबुद्ध नगर के अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में एक अर्जी दाखिल की। कुलदीप ने अदालत को बताया कि उनकी कंपनी मैसर्स मथन सिंह एंड संस प्राइवेट लिमिटेड का कार्यालय दादरी के मिहिरभोज डिग्री कॉलेज मार्केट में है। कंपनी का एक वेयरहाउस दादरी क्षेत्र के गांव बैरंगपुर उर्फ नई बस्ती में बनाया गया है। यह वेयरहाउस किराए पर लेने के लिए वर्ष 2018 में प्रभाकर गुप्ता ने संपर्क किया। प्रभाकर गुप्ता ने बताया कि नमकीन और स्नैक्स बनाने वाली कंपनी बीकानेरवाला के मालिक श्याम सुंदर अग्रवाल व मनीष अग्रवाल उसके रिश्तेदार हैं। इन लोगों ने विश्वास दिलाया कि अगर यह वेयरहाउस किराए पर देते हैं तो समय पर किराया देंगे। इस संपत्ति पर कोई अवैध कब्जा, धोखाधड़ी, तोड़फोड़ या गैरकानूनी कार्य नहीं किया जाएगा। कुलदीप ने अदालत को आगे बताया कि बीकानेरवाला एक प्रसिद्ध कंपनी है। लिहाजा, लॉन्ग टर्म एग्रीमेंट को ध्यान में रखते हुए हमारी कंपनी ने उनकी कंपनी के साथ बाजार दर के मुकाबले 40% कम दरों पर किरायानामा पंजीकृत करवाया।
बीकानेरवाला पर गैर कानूनी काम करने का आरोप
कुलदीप ने अदालत को बताया कि श्याम सुंदर अग्रवाल और मनीष अग्रवाल के नौकरों और मैनेजरों ने तमाम तरह की सुविधाएं और उपकरण वेयरहाउस में लगाने के लिए कहा था। यह सारी चीजें तैयार करके उन्हें दी गईं। वेयरहाउस का किरायानामा 24 दिसंबर 2018 को अगले 9 वर्षों के लिए रजिस्टर्ड करवाया गया। इस लीजडीड में 3 वर्ष का लॉक-इन पीरियड था। इन 3 वर्षों के बाद हमारी कंपनी को वेयरहाउस खाली करवाने का अधिकार दिया गया था। कुलदीप ने अदालत को आगे बताया कि बीकानेरवाला कंपनी ने वेयरहाउस अपने कब्जे में लेने के बाद तोड़फोड़ शुरू कर दी। नक्शों को दरकिनार करते हुए निर्माण करवाने लगे। कंपनी के कर्मचारी इस वेयरहाउस में अवैध कारोबार कर रहे थे। यह लोग यहां अवैध पैकेजिंग का काम करते थे। जिसका हम लोगों ने विरोध किया।
वेयरहाउस पर कब्जा किया और मारपीट की
कुलदीप ने अदालत को बताया कि बीकानेरवाला की अवैध गतिविधियों को देखकर हमारी कंपनी ने वेयरहाउस खाली करवाने का निर्णय लिया। इसके लिए बीकानेरवाला को 31 मार्च 2022 को लीज डीड रद्द करने के लिए नोटिस भेजा गया। उन्होंने हमें कब्जा वापस देने का आश्वासन दिया लेकिन पूर्व नियोजित षडयंत्र के तहत एकराय होकर विनीत अग्रवाल, पंकज गोयल, श्याम सुंदर अग्रवाल और मनीष अग्रवाल ने बड़ी चालाकी से लीजडीड समाप्ति से पहले ही शर्तों के विपरीत वेयरहाउस पर कब्जा कर लिया। इन लोगों ने वेयरहाउस पर अपराधी किस्म के लोगों को लाकर बैठा दिया। वह लोग यहां गैंग बनाकर रहने लगे। वेयरहाउस की मालिक कंपनी के एक अन्य डायरेक्टर मनवीर भाटी ने कहा, “हमारे वेयरहाउस पर अवैध कब्जा करने के लिए वाराणसी से विधायक सौरभ श्रीवास्तव और उसका भाई अशोक माथुर बड़ी संख्या में गुंडों को लेकर आए। हमें इनके बारे में पता चला है कि यह सभी लोग इसी तरह संपत्ति को विवादित करते हैं। इसके बाद सस्ती कब्जा खत्म करवाने के नाम पर सस्ती दरों पर प्रॉपर्टी हड़प लेते हैं।”
विधायक और उसके गुर्गों ने हमें पीटा, पुलिस ने मदद नहीं की
मनवीर भाटी ने बताया कि सौरभ श्रीवास्तव, अशोक माथुर, श्याम सुंदर अग्रवाल और विनीत अग्रवाल 1 अप्रैल 2022 की दोपहर 12:00 बजे अपने 10-12 गुंडों को लेकर वेयरहाउस पर पहुंचे। इन लोगों ने हमारे वेयरहाउस पर कब्जा कर लिया।” मनवीर ने आगे कहा, “इन सारे लोगों ने मेरे और मेरे ड्राइवर दिगपाल पर हमला किया।” मनवीर और कुलदीप का आरोप है कि गौतमबुद्ध नगर पुलिस वाराणसी से भारतीय जनता पार्टी के विधायक सौरभ श्रीवास्तव के दबाव में है। हमने इस मामले की शिकायत पुलिस से की लेकिन कोई सुनवाई नहीं की गई। हमारी एफआईआर भी दर्ज नहीं की गई। मजबूर होकर हम लोगों ने अदालत का दरवाजा खटखटाया। अब अदालत ने इस मामले में एफआईआर दर्ज करने का आदेश दादरी कोतवाली पुलिस को दिया है। पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है।