Ashish Maharshi : इंडिया टुडे में अपनी घटिया पत्रकारिता के जरिए बदनाम हो चुके दिलीप मंडल इनदिनों फेसबुक के निशाने पर हैं। मंडल जी जिस नेशनल दस्तक नामक एक वेबसाइट के लिए पैसे लेकर ज्ञान पेलते हैं, उसे फेसबुक ने ब्लॉक कर दिया है। नेशनल दस्तक पर लगातार ये आरोप लगता रहा है कि ये साइट दूसरे का कंटेंट चोरी करके यूज करती है। इसके अलावा समाज में नफरत फैलाने का भी दिलीप मंडल और नेशनल दस्तक पर आरोप लगता रहा है।
इतना ही नहीं, मंडल पर ये भी आरोप जगजाहिर है कि वे यूपी और बिहार के कुछ नेताओं से पैसे लेकर लगातार उनके पक्ष में लिखते रहे हैं। हालांकि, कई बार ये देखा गया है कि प्रेस क्लब और फेसबुक पर पत्रकारिता का पाठ पढ़ाने वाले पत्रकार नेताओं के हाथ की कठपुतली बनकर पैसे कमाने में यकीन रखते हैं। मंडल पर यहां तक आरोप है कि शरद यादव की सिफारिश पर उन्हें इंडिया टुडे में नौकरी मिली थी।
Mohammad Anas : दिलीप मंडल टीआरपी खोर हैं। यदि किसी को मुझ पर यक़ीन नहीं हो रहा तो दिलीप मंडल अपने फेसबुक अकाउंट का यूज़र नेम/पॉसवर्ड दे दें। अगले ही सेकंड चालू करके दिखा दूंगा। यह इमोशनल ड्रॉमा है। चर्चा में बने रहने के लिए। लोग बेवजह एक अराजक और धूर्त आदमी को लेकर लोकतंत्र और संविधान की दुहाई दे रहे हैं। खुद से आईडी डिएक्टिवेट करके बताइए कि फेसबुक ने ब्लॉक किया है। फेसबुक ब्लॉक करता है तो प्रोफाइल सबको दिखती है। खुद से बंद करने पर किसी को नहीं दिखती। मुझे नहीं देते यूज़रनेम/पॉसवर्ड तो किसी और को दे दें।
Rahul Sankrityaayan : नेशनल दस्तक से बेहतर और तथ्यात्मक कवरेज TheWire.in करता है. हां, ये बात अलग है कि वो जहर नहीं फैलाता. अगर अलग तरह की कवरेज/ मेन स्ट्रीम मीडिया में ना उठाए जाने वाले मुद्दों के चलते आपको आज ब्लॉक किया गया है फिर तो TheWire को फेसबुक कब का ब्लॉक कर देता. उनकी खबरें आपसे ज्यादा तथ्यात्मक, बेहतर और शानदार होती हैं. वायरल भी होती हैं.
पत्रकार त्रयी आशीष महर्षि, मोहम्मद अनस और राहुल सांकृत्यायन की एफबी वॉल से.
Comments on “दिलीप मंडल टीआरपी खोर हैं, पहले खुद आईडी डिएक्टिवेट किया, फिर हल्ला मचाया- ”फेसबुक ने ब्लाक कर दिया!””
दिलीप मंडल पत्रकार नहीं जातिवाद का पोषक है. समाज में विष फैलाना इसका काम है. यह व्यक्ति लालू यादव से पुरष्कार लेकर गर्व मह्सुश करता है. बिहार में लालू के खिलाफ केश दर्ज हो गया है. तेजस्वी के खिलाफ भी केश हो गया है. मंडल ने एक भी शब्द लालू के खिलाफ नहीं लिखा. यदि लिख दे तो लालू इसका कलई खोल देंगें. इसकी संपत्ति की भी जाँच होनी चाहिए.
ये नेशनल दस्तक का पत्रकार शम्भु सिंह घोर जातिवादी जहरीला आदमी है सारा दिन लोगो को ब्राह्मण जाति और सवर्णों के खिलाफ ऊल जलूल भडकाऊ बातों से समाज में जहर घोल रहा है | कमाल की बात तो ये है की कोई भी नेता, मीडिया, बुद्धिजीवी वर्ग का व्यक्ति इसके खिलाफ ना तो कुछ बोलता है और ना ही अपना विरोध जताता है | असल में ये चेनल दलितों के खिलाफ काम कर रहा है एक दिन उनको भी यह बात समझ में आ जाएगी लेकिन नुकसान होने के बाद बात समझने का क्या फायदा होगा ?