असरार ख़ान-
श्री अनुराग ठाकुर हिमाचल प्रदेश से आते हैं …मोदी के सबसे चहेते मंत्री हैं सूचना और प्रसारण मंत्रालय भी श्रीमान जी के पास है … खबर निकल कर आई है कि ठाकुर साहब अपनी लोकसभा हमीरपुर की एक भी असेम्बली सीट को बचा नहीं पाए और कांग्रेस ने सभी 5 सीट को जीत लिया …किसी नेता के लिए सबसे शर्म की बात यह होती है जब वह अपने पोलिंग बूथ को भी हार जाता है …ठाकुर साहब हार गए अपना बूथ भी …
अनुराग ठाकुर के बारे में विशेष तौर पर लिखने का केवल एक ही मकसद है कि वे राहुल गांधी के बारे में जब भी बात करते हैं तो बहुत ही अनादर और स्तरहीन लहजे और शब्दों का इस्तेमाल करते हैं …शायद यह सोच कर ऐसा घटिया आचरण दिखाते हहों कि लोग उन्हें राहुल गांधी से बड़ा समझने लगेंगे …
भरी लोकसभा में बहसों के दौरान उन्होंने राहुल गांधी के बारे में जिस तरह की बातें की हैं उसे सुनकर यह लगता है कि ठाकुर साहब द्वेष से भरे हुए हैं …
मोदी की नज़रों में उनके सबसे अच्छी कठपुतली बनने के चक्कर में इन्होंने 2020 के दिल्ली दंगों और जमिया jnu के छात्र आंदोलनों के वक़्त बेधड़क कहा था ….गोली मारो ……?
मैं यह नहीं कहता कि राहुल गांधी प्रधानमंत्री नहीं बनना चाहते सौ फीसदी उनका लक्ष्य भारत का प्रधानमंत्री बनना है लेकिन वे चाहते तो 2004 में प्रधानमंत्री बन सकते थे खुद कामरेड हर किसन सिंह सुरजीत ने यह बयान दिया था और उस समय वामपंथी पार्टियों के पास 60 सीट थी जिनके बगैर सरकार बनाने के लिए कांग्रेस के पास बहुमत नहीं था लेकिन एक बार जब मनमोहन सिंह प्रधानमंत्री बना दिए गए तो उन्हें हटाकर बीच में राहुल को प्रधानमंत्री बनाना मुश्किल काम था ….
राहुल गांधी पर वंशवाद का एक बड़ा आरोप है सही भी है लेकिन राहुल गांधी जब से राजनीति में आए हैं हमेशा सिद्धान्तों की बात किए हैं किसी के लिए अपशब्द का इस्तेमाल नहीं किए जब कि भाजपा राहुल और उनके परिवार के बारे स्तरहीन कमेंट करना अपनी वाहवाही समझती रही है ….
ठाकुर साहब को यह जान लेना चाहिए कि मोदी की जिस टीम में आप हैं और अपने पद की गरिमा का ध्यान रखे बगैर स्तरहीन बयानबाजियां करते हैं उस टीम के मुखिया श्री नरेन्द्र मोदी एक पत्रकार से इतना डर गए कि उस चैनल को ही अपने सबसे बड़े तिजोरी वाले कार्पोरेट से खरीदवा लिए …क्योंकि वह पत्रकार भारत की उस तसवीर को आईने में दिखाता रहा है जिसके सामने खड़े होकर मोदी जी निरुत्तर हो जाते थे …?
Praveen Saxena
December 10, 2022 at 2:03 am
राहुल गांधी किसी को अपशब्द नहीं कहते, हजम नहीं हुई। दिल्ली दंगों से पूर्व मोदी जी को पीटने की बात खुले मंच से किसने की थी । चौकीदार चोर है बार बार कहते रहे, फिर कोर्ट में माफी मांगने पहुंच गए। नाली, नीच जात, कुत्ते, आदि कहकर बार बार माफी मांगने वाली कांग्रेस स्वयं स्तरहीन कमेंट की सेंचरी मार चुकी है। राहुल गांधी के सिद्धांत क्या है कोई समझे तो अवश्य बतायें। उनका व्यक्तित्व भी सुलझना शेष है।