Connect with us

Hi, what are you looking for?

सियासत

भाजपा से कहीं अधिक खतरनाक भाजपा का ‘भक्त’ है! जानें वजह

भाजपा से कहीं अधिक खतरनाक भाजपा का भक्त है। वे अल्पसंख्यकों, राजनीतिक दलों और उन सभी लोगों के खिलाफ, जिनसे वह सहमत नहीं है, अपनी घृणा, असुरक्षा और पूर्वाग्रहों को दिशा देने के लिए बीजेपी का इस्तेमाल करता है।

बीजेपी में उसे एक ऐसी आवाज मिली है, जिसे वह पिछले 700 सालों से खोज रहा था। वह मुसलमानों से नफरत करता है, वह ईसाइयों से नफरत करता है, वह उदारवादियों और बीमारों से नफरत करता है, वह कांग्रेस से नफरत करता है, वह सपा, बसपा, टीएमसी और हर दूसरी पार्टी के नेता से नफरत करता है। उसे अरविंद केजरीवाल से नफरत है। उसे NDTV और इंडिया टुडे से नफरत है। वह प्रशांत भूषण और योगेंद्र यादव से नफरत करता है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

वह धर्म के आधार पर देश के हर अच्छे आदमी के इरादों पर शक करता है। उसका मानना है कि आमिर खान, नसीरुद्दीन शाह, जावेद अख्तर, शाहरुख खान देशद्रोही हैं। जब आमिर की पत्नी ने देश में असुरक्षा महसूस होने को लेकर बयान दिया था, तो उन्होंने इसे राष्ट्रीय मुद्दा बना दिया। लेकिन जब उसे पता चलता है कि अक्षय कुमार 07 साल पहले ही चुपचाप इस देश की नागरिकता छोड़ चुके हैं, तो वह उनके इस निर्णय को सही ठहराता है।

उसे मोदी पर बनाए गए चुटकुले जरा भी पसंद नहीं हैं। वह दिल्ली के मुख्यमंत्री को खुजलीवाल और राहुल गांधी को पप्पू कह सकता है, लेकिन वह कुणाल कामरा को मोदी का मजाक उड़ाते हुए बर्दाश्त नहीं कर सकता। लेकिन नरेंद्र मोदी की बात आते ही सभी तरह के हास-परिहास और चुटकुलों को बंद करना पड़ेगा। वह अच्छा भला शिक्षित व्यक्ति है, लेकिन जिन लोगों को वह नापसंद करता है, उनके बारे में फेक न्यूज़ साझा करते समय वह अपने दिमाग का कतई इस्तेमाल नहीं करता। उसे इस बात की परवाह नहीं है कि उसके द्वारा साझा किया जा रहा समाचार फर्जी है। वह फिर भी इसे साझा करना चाहता है। वह जितनी अधिक फेक न्यूज शेयर करता है, उसे रात को उतनी ही अच्छी नींद आती है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

वर्ष 2014 में, उसका मानना था कि हिंदू खतरे में हैं। इसलिए उसने मोदी को वोट दिया। पांच साल, 22 राज्यों और 300+ सीटों के बाद, वह अभी भी मानता है कि हिंदू खतरे में है। यदि उससे पूछा जाये कि आखिर उसे किस बात का डर है, तो वह श्रीलंका में हुए आत्मघाती हमलों की बात करेगा। जब उसे यह बताया जाएगा कि पिछले पांच वर्षों में भारत (कश्मीर को छोड़कर) के किसी भी हिस्से में एक भी आत्मघाती हमला नहीं हुआ है, तो वह विषय को बदल देगा।

वह तर्कदोष ((किसी कठिन प्रश्न या आरोप का सामना होने पर किसी दूसरे मुद्दे को उठा देना या प्रतिआरोप लगाना) का मास्टर है। यदि बीजेपी अपने मूल्यों और सिद्धांतो के खिलाफ कुछ कार्य करती है, तो वह उसके बचाव में तर्कदोषों की एक पूरी सूची के साथ मौजूद रहता है। इस तर्कदोष के लिए अंग्रेजी भाषा में व्हाटाबॉटरी (Whataboutery) नामक शब्द प्रचलित है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

उसका सामान्य फार्मूला यह है:

मुस्लिमों ने ऐसा 700 सालों तक किया + नेहरू ने ऐसा 1955 में किया था + कांग्रेस ने 1982 में ऐसा किया था = भाजपा सही है।

भाजपा हमेशा सही होती है।

वह विरोधाभासों का पुलिंदा है। वह नोटबंदी का समर्थन करते हुए उसे समय की जरूरत बताता है, लेकिन स्वयं नकदी में धड़ल्ले से कारोबार करता रहता है। वह स्कूल और कॉलेज अपने बच्चों के दाखिले के लिए डोनेशन देने में और यातायात के नियमों के उल्लंघन पर ट्रैफिक पुलिस को रिश्वत देने में कोई संकोच नहीं करता है। वह आयकर विभाग को छलने के लिए अपने चार्टर्ड अकाउंटेंट के साथ देर तक माथामच्ची करता है। यहां तक कि वह स्वच्छ भारत अभियान को बढ़ावा देने के लिए बने शौचालय के इस्तेमाल के बजाए बेधड़क सड़क किनारे पेशाब करता है और अपने नाम के आगे धृष्टतापूर्वक चौकीदार लगाता है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

वह देश में बुलेट ट्रेन चलते हुए देखना चाहता है, भले ही वह स्वयं उसमें यात्रा करने योग्य नहीं होगा। वह कांग्रेस के नेता सरदार वल्लभभाई पटेल की दुनिया में सबसे ऊंची प्रतिमा देखाना चाहता है, क्योंकि मोदी ने ऐसा निश्चय किया था। वह उत्तर प्रदेश में भगवान राम की मूर्ति बनवाने का औचित्य साबित करेगा, लेकिन वह मोदी से यह नहीं पूछेगा कि वे पिछले 5 वर्षों में वीर सावरकर की एक भी प्रतिमा क्यों नहीं बना पाए।

उसे राष्ट्रीय ध्वज और राष्ट्रगान बहुत पसंद है। लेकिन उससे गाने को कहा जाये तो वह इसे नहीं गा सकता। वह चाहता है कि मुसलमान वंदे मातरम बोलें, लेकिन वह स्वयं इसके एक भी शब्द का अर्थ नहीं जानता।

Advertisement. Scroll to continue reading.

वह एक ऐसा हिंदू है, जिसने उपनिषदों को नहीं पढ़ा है। हिंदू धर्म की उनकी समझ व्हाट्सएप संदेशों तक सीमित है। वह सोचता है कि भगवान स्वर्ग में रहते हैं और इसीलिए राम मंदिर का निर्माण आवश्यक है, और केरल के सबरीमाला मंदिर में महिलाओं को प्रवेश देने पर भगवान शाप देंगे।

जो लोग नरेंद्र मोदी का समर्थन करते हैं, वे उसके नायक हैं। उसकी नज़र में, बॉलीवुड में अभिनेताओं और निर्देशकों के राजनीतिक विचार उनके अभिनय/ प्रस्तुति से कहीं बढ़कर हैं। अत: विवेक अग्निहोत्री एक रॉकस्टार हैं। वह फिल्म अभिनय क्षेत्र में दिए जाने वाले राष्ट्रीय पुरस्कार हेतु ‘दंगल’ फिल्म में आमिर खान और ‘अलीगढ़’ फिल्म में मनोज बाजपेयी के अभिनय के बजाय ‘रुस्तम’ फिल्म के लिए अक्षय कुमार का समर्थन करता है। वह ग्रैंड मस्ती जैसी फिल्म को भारतीय मूल्यों के खिलाफ मानता है, लेकिन विवेक ओबेरॉय सिर्फ इसलिए उसके नायक बन जाता है, क्योंकि वह नरेंद्र मोदी की बायोपिक में उनका किरदार निभा रहा है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

भाजपा भक्त दिल से अनुयायी होता है। वह औद्योगिक युग का व्यक्ति है। वह इंटरनेट का उपयोग करता है, लेकिन इंटरनेट अर्थव्यवस्था के आधारों से सहमत नहीं है। उसे अनुशासन, आदेश और अनुपालन पसंद है। वह नेतृत्व करना चाहता है। उसे अपने राजनीतिक नायकों के बारे में प्रश्न सुनना पसंद नहीं है। लेकिन जिनसे वह नफरत करता है, उनसे हर समय कटघरे में खड़ा रखना चाहता है।

उसे वादविवाद करना पसंद नहीं है। वह जानता है कि उसके नायक गलत हैं। लेकिन वह उनकी गलतियों को सही ठहराता रहता है। जब वादविवाद में उसका पलड़ा हल्का पड़ने लगता है तो वह अपशब्दों का इस्तेमाल करने लगता है। वह व्यक्तिगत हो जाता है। वह नाम लेकर संबोधित करने लगता है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

वह कट्टरपंथी हिंदुओं द्वारा धर्म के नाम पर किए गए अपराधों के खिलाफ कुछ नहीं बोलना चाहता हैं। वह यह देख कर खुश है कि दुनिया भर में आई.एस.आई.एस. द्वारा किए जा रहे पापों का खामियाजा भारत के निर्दोष मुसलमानों को उठाना पड़ रहा है। वह इस बात के लिए मुस्लिम समुदाय को कोई धन्यवाद नहीं देना चाहेगा कि पिछले 5 वर्षों में बारंबार गरियाये जाने के बावजूद उन्होंने गरिमापूर्ण आचरण किया है।

वह भाजपा से ज्यादा सांप्रदायिक हैं। वह भाजपा से ज्यादा खतरनाक हैं। उसे लगता है कि वह बहुमत में हैं क्योंकि भाजपा के पास संसद में 300+ सीटें हैं। वह संवैधानिक मूल्यों की कोई परवाह नहीं है। वह भाजपा द्वारा तैयार किया गया एक दैत्य है। उसकी नफरत भाजपा के विकास के एजेंडे को लील जाएगी। मुझे उम्मीद है कि कभी न कभी ये होकर रहेगा, ताकि नरेंद्र मोदी उस बात पर ध्यान केंद्रित कर सकें जिसके लिए उन्हें वोट दिया गया था।

Advertisement. Scroll to continue reading.
Click to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Advertisement

भड़ास को मेल करें : [email protected]

भड़ास के वाट्सअप ग्रुप से जुड़ें- Bhadasi_Group

Advertisement

Latest 100 भड़ास

व्हाट्सअप पर भड़ास चैनल से जुड़ें : Bhadas_Channel

वाट्सअप के भड़ासी ग्रुप के सदस्य बनें- Bhadasi_Group

भड़ास की ताकत बनें, ऐसे करें भला- Donate

Advertisement