जगदलपुर, 25 सितम्बर। पत्रकार और समाजसेवी प्रोफेसर नंदिनी सुन्दर ने पत्रिका अख़बार और बस्तर के कांग्रेस नेता अवधेश गौतम को लीगल नोटिस भेजा है। बीते साल बस्तर के झीरम घाटी में हुई बड़ी नक्सली वारदात की जांच के लिये बनाई गई न्यायिक जांच समिति के सामने दिये गये अपने बयान में अवधेश गौतम ने नंदिनी सुन्दर पर कई गंभीर आरोप लगाये हैं और पत्रिका अखबार ने इन आरोपों को प्रकाशित किया है।
प्रोफेसर नंदिनी सुन्दर, कांग्रेस नेता अवधेश गौतम
न्यायिक जांच समिति के सामने अवधेश गौतम ने बयान दिया था कि नंदिनी सुन्दर सीधे तौर पर माओवादियों से जुड़ी हुई है। इस काम के लिये उन्हें विदेश से पैसे मिलते हैं। गौतम के इस बयान को अखबार ने 11 जुलाई 2013 को प्रकाशित किया था। इससे पहले 15 जून को यह खबर प्रकाशित हुई कि प्रो. नंदिनी सुन्दर ने ताड़मेटला और अन्य गांवों पर हुए सुरक्षा बलों के हमले की जांच कर रहे टीपी शर्मा कमीशन के सामने पेश होने से पहले गवाहों को सिखाया पढ़ाया और उनको कपड़े खरीद कर दिये।
नोटिस में कहा गया है कि खबर छापने से पहले उनसे एक बार भी बात नहीं की गई और लगातार गलत खबरें छापी गई। वकील ने अखबार से मांग की है कि या तो वे पूरे पेज का माफी नामा छापे या फिर अखबार और अवधेश गौतम मानहानी का मुकदमा लड़ने को तैयार रहें।
ज्ञात हो कि 25 मई 2013 को बस्तर के झीरम घाटी में कांग्रेसी नेताओं के काफिले पर हुए हमले के तुरंत बाद घटना स्थल की तरफ जा रहे कांग्रेसी नेता अवधेश गौतम के वाहन पर भी हमला किया गया था। पूरे घटना क्रम में अवधेश गौतम का बयान महत्वपूर्ण माना जा रहा है। इसी घटना की न्यायिक जांच समिति के समक्ष दर्ज किए जा रहे बयान में उनके द्वारा नंदिनी सुन्दर के खिलाफ बातें कही गई हैं।