फेसबुक जैसी सोशल मीडिया साइट पर यदि आप कोई कंटेंट डालते हैं तो संतोष सिर्फ लाइक या कमेंट से ही होना पड़ता है. कैसा हो कि यदि इस कंटेंट की लोकप्रियता के आधार पर पैसा भी मिल जाए. जब ऐसा फॉर्मूला लेकर आई एक कंपनी TSU.CO तो फेसबुक ने त्योरियां चढ़ा लीं. इंस्टाग्राम और व्हाट्सअप जैसे पॉपुलर प्लैटफार्म की मालिक सोशल मीडिया कंपनी फेसबुक 300 बिलियन डॉलर (दो लाख करोड़ रुपए) से ज्यादा की हो गई है. कमाई का फंडा यही है कि आप जो भी कंटेंट इन प्लेहटफॉर्म पर शेयर करते हैं, उसके आसपास ये एड लगाती हैं. जितना ज्या दा कंटेंट देखा जाएगा, फेसबुक का उतना फायदा. लेकिन, अब एक और सोशल मीडिया प्लेंटफार्म आया है, जिसने फेसबुक की नींद उड़ा दी है. क्यों कि उसे अपनी कमाई खतरे में पड़ती दिख रही है. जानिए क्याे है पूरा मामला…
पिछले कुछ महीनों से फेसबुक अपने प्लैटफॉर्म से वेबसाइट TSU.CO से सबंधित सभी पोस्ट ब्लॉक कर रही है. फेसबुक ने लगभग 10 लाख ऐसे पोस्ट (फोटो, विडियो और आर्टिकल) डिलीट कर दिए हैं जिसमें TSU.CO लिखा था. फेसबुक का दावा है कि यह एक स्पैम है. हालांकि अमेरिका के एक प्रमुख मीडिया हाउस द्वारा छपी खबर के मुताबिक TSU.CO ने फेसबुक के रेवेन्यू मॉडल पर बड़ा हमला किया है. इस वेबसाइट के मुताबिक, अब आप अपने कंटेन्ट (फोटो, विडियो और आर्टिकल) को फेसबुक पर फ्री में अपलोड करने की जगह उससे मोटी कमाई भी कर सकते हैं. इस कमाई के साथ अपने यार-दोस्तों से इस कंटेंट की शेयरिंग सुविधा मुफ्त ही रहेगी.
अमेरिका में रजिस्टर्ड इस कंपनी में फिलहाल 50 कर्मचारी है. TSU.CO के प्रमुख सेबैस्टियन सोब्याक का दावा है कि जहां फेसबुक अपनी वेजसाइट पर एडवर्टाइजिंग से हो रही पूरी कमाई खुद रख रहा है, वहीं वे इस रेवेन्यू से महज 10 फीसदी कमाई करेंगे और बाकी 90 फीसदी अपने यूजरों को दे देंगे. उदाहरण के लिए यदि किसी कंटेंट पर सौ रुपए का एड पब्लिश होता है. तो दस रुपए कंपनी रखेगी, 45 रुपए उस कंटेंट के पब्लिशर यानी उस अकाउंट वाले को मिलेगा और बाकी 45 उस अकाउंट के सदस्यों में बांट दिया जाएगा. सोशल मीडिया का यह बिजनेस मॉडल रेवेन्यू शेयरिंग और चेन मार्केटिंग पर आधारित है.
अब यदि TSU.CO ने ये ऑफर दिया है तो इससे फेसबुक को क्या आपत्ति होनी थी? दरअसल, इस वेबसाइट पर अकाउंट खोलने वाले यूजर अपनी कम्युनिटी को बड़ा करने के लिए फेसबुक का सहारा ले रहे हैं. वे फेसबुक पर अपने मित्रों को TSU.CO ज्वाइन करने के लिए न्यौता देते हैं. ये इनवाइट इतने ज्यादा हो गए हैं कि फेसबुक को स्पैम लगने लगे हैं. फेसबुक का कहना है कि लोग पैसा कमाने के लिए स्पैम इनवाट भेज रहे हैं. हालांकि, इस कारोबार को समझने वाले कहते हैं कि पूरा मामला कमाई से जुड़ा है. TSU.CO हूबहू फेसबुक जैसा ही है, बस फर्क यह है कि वहां उसे पैसा भी मिल रहा है. ऐसे में फेसबुक को डर है कि TSU.CO ज्वाइन करने के लिए भेजा गया हर इनवाइट फेसबुक यूजर की संख्या घटाएगा.
फिलहाल तो सोशल मीडिया की दुनिया में फेसबुक ही दबंग है. लेकिन, उससे सवाल तो किया जा रहा है कि उसका TSU.CO को इस तरह ब्लॉक करना क्या सही है?
आईचौक डाट इन पर प्रकाशित राहुल मिश्र की रिपोर्ट.
loon karan chhajer
November 14, 2015 at 8:49 am
nice information. Thanks
loon karan chhajer
November 14, 2015 at 8:53 am
very good information about new social form.
thanks