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न्यूज़ चैनल और वेब पोर्टल के कर्मचारी भी श्रमजीवी पत्रकार अधिनियम के तहत लाए जाएंगे

: संशोधन की तैयारी, मिलेंगे वेजबोर्ड सहित सभी लाभ : न्यूज़ चैनल्स, वेब और अन्य तमाम डिजिटल मीडिया में कार्यरत मीडियाकर्मियों के लिए बड़ी खुशखबरी है. प्रिंट मीडियाकर्मियों की तरह उन्हें भी जल्द ही श्रमजीवी पत्रकार अधिनियम के दायरे में लाया जाएगा. साथ ही उन्हें भी पत्रकारों के लिए गठित वेजबोर्ड का लाभ मिलने लगेगा. 19 अगस्त को भारतीय मजदूर संघ के राष्ट्रीय मंत्री श्री पवन कुमार के नेतृत्व में मप्र पत्रकार, गैर-पत्रकार संगठन के कार्यकारी अध्यक्ष श्री सुचेंद्र मिश्रा और महामंत्री श्री तरुण भागवत ने केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री श्री बंडारू दत्तात्रेय से मुलाकात कर इस संबंध में मांगपत्र सौंपा।

: संशोधन की तैयारी, मिलेंगे वेजबोर्ड सहित सभी लाभ : न्यूज़ चैनल्स, वेब और अन्य तमाम डिजिटल मीडिया में कार्यरत मीडियाकर्मियों के लिए बड़ी खुशखबरी है. प्रिंट मीडियाकर्मियों की तरह उन्हें भी जल्द ही श्रमजीवी पत्रकार अधिनियम के दायरे में लाया जाएगा. साथ ही उन्हें भी पत्रकारों के लिए गठित वेजबोर्ड का लाभ मिलने लगेगा. 19 अगस्त को भारतीय मजदूर संघ के राष्ट्रीय मंत्री श्री पवन कुमार के नेतृत्व में मप्र पत्रकार, गैर-पत्रकार संगठन के कार्यकारी अध्यक्ष श्री सुचेंद्र मिश्रा और महामंत्री श्री तरुण भागवत ने केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री श्री बंडारू दत्तात्रेय से मुलाकात कर इस संबंध में मांगपत्र सौंपा।

श्री दत्तात्रेय ने इस पर सहमति जताते हुए इसे वर्तमान में जारी श्रम अधिनियमों में संशोधन की प्रक्रिया में शामिल करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने उए भी कहा कि न्यूज़ चैनल्स को आये लगभग 25 वर्ष हो चुके हैं। ऐसे में इनमे कार्यरत पत्रकारों व गैर पत्रकारों को इसका लाभ न मिल पाना हैरानी भरा हैं। साथ ही प्रतिनिधि मंडल ने उनसे 1955 में बने इस अधिनियम में संशोधन कर जुर्माने की राशि वर्तमान परिप्रेक्ष्य के मुताबिक बढ़ाने और न्यूनतम वेतनमान फिक्स किए जाने और मजीठिया वेजबोर्ड के धारा 20 (जे) जैसे प्रावधानों को आगामी वेजबोर्ड में शामिल नहीं किए जाने की मांग भी की गई. मंत्री महोदय ने सभी मांगों को गंभीरतापूर्वक सुना और जायज माना।  उन्होंने वहाँ मौजूद अपने स्टाफ को इस संबंध में आदेश भी जारी कर दिए. गौरतलब है कि श्रम मंत्रालय द्वारा 22 श्रम कानूनों में सुधार कर उन्हें 4 श्रम कानूनों में समाहित किए जाने की प्रक्रिया चल रही है  उम्मीद है कि श्रमजीवी पत्रकार अधिनियम को भी इसमें इसी दौर में शामिल कर लिया जाएगा।

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