एक सज्जन ने भड़ास को मेल भेजकर बताया है कि एबीपी न्यूज में कार्यरत संत एंड टीम की असली मुश्किल अब शुरू हुई है.. कंपनी के एडिटर पर जेल जाने का खतरा मंडराने लगा है… कंपनी ने सत्तर के करीब लोगों की जो छंटनी की है उसे गैरकानूनी साबित करने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है…
इसकी वजह ये है कि जिस कानून के तहत कोई कंपनी अपने स्टाफ की छंटनी करती है, 10 से ज्यादा लोगों को बिना उचित कारण दिए एक साथ निकाले जाने की स्थिति आती है तो ये सब इंडस्ट्रीयल डिस्प्यूट एक्ट 1947 के तहत आता है… इस एक्ट के हिसाब से कानून ये है कि कोई कंपनी अगर एक साथ बहुत सारे लोगों को निकालने का फैसला लेती है तो सबसे पहले उन लोगों को कंपनी से बाहर का रास्ता दिखाया जाएगा जो सबसे बाद में कंपनी में रिक्रूट हुए हैं…
इस आधार पर ऐसे वो सारे लोग कंपनी से पहले निकाले जाएंगे जो कंपनी में नए हैं… इसके मुताबिक नेशनल चैनल के संपादक संत प्रसाद राय और उनकी टीम में किसी का अब तक एक साल भी पूरा नहीं हुआ है.. ऐसे में अदालत में पहली सुनवाई में ही ये पूरी छंटनी की कवायद रद्द होने वाली है और संत प्रसाद व उनकी पूरी टीम रिट्रेंचमेट की पहली शिकार हो सकती है, जबकि सारे पुराने लोग बहाल किए जा सकते हैं…. कानून नीचे लिखा है-
Section 25G in The Industrial Disputes Act, 1947
25G. Procedure for retrenchment.- Where any workman in an industrial establishment, who is a citizen of India, is to be retrenched and he belongs to a particular category of workmen in that establishment, in the absence of any agreement between the employer and the workman in this behalf, the employer shall ordinarily retrench the workman who was the last person to be employed in that category, unless for reasons to be recorded the employer retrenches any other workman.
इस पोस्ट में कही गई बातों की वैधता और कानूनी प्रासंगिकता के बारे में आपके पास अगर कोई जानकारी हो तो नीचे कमेंट बाक्स में जरूर अवगत कराएं.
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Aks
July 5, 2023 at 2:38 pm
यह स्थिति तो आनी ही थी क्योंकि जब पत्रकारिता छोड़ कुछ और न्यूज़ चैनल करने लगेगा तो स्वाभाविक है कि कितनी बड़ी सोच हो उसे विवर्स ठुकरा देंगे। बायस होकर जब आप प्रजेंटेशन देंगे तो सही और गलत तो विवर्स देख ही रहा है। ग्राउंड लेबल पर प्लान बनाकर काम करिये टी आर पी आपके पीछे दौड़ेगी।
ABC
July 7, 2023 at 4:56 pm
यह गलत Interpretation है।
1. पहली बात – ABP में छंटनी पर ID Act नहीं बल्कि Indian Contract Act 1872 लागू होगा क्योंकि ID Act उन पर लागू होता है, जहां पर 15 हजार रूपए से कम की महीने की सैलरी होती है और इससे ज्यादा सैलरी वाले केस में, Indian Contact Act 1872 लागू होता है।
2. दूसरी बात – ID Act वहां लागू होता है जहां Industrial काम होता या फिर वो संस्थान इसी एक्ट के तहत आए लेकिन ABP कंपनी, shops and establishment act के तहत रजिस्ट्रेशन लिए हुए है।
ऐसे में पिछले लेख में लिखी जानकारी गलत संदर्भ के साथ प्रस्तुत की गई है।