राष्ट्रीय सहारा लखनऊ संस्करण में गंभीर लापरवाही हुई है. यौन उत्पीड़न की शिकार पीड़िता की अखबार ने पहचान उजागर कर दिया है जबकि सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के मुताबिक ऐसा करना दंडनीय अपराध है. राष्ट्रीय सहारा लखनऊ के 29 जनवरी के अंक में पेज 4 पर छपी खबर में पीड़िता की पहचान उजागर की गई है. पीड़िता ने इस पर जताई आपत्ति और नोटिस भेजने की तैयारी की है.