कांग्रेस राज में ये पागलखाने भेज दिए गए थे. भाजपा राज में इन्हें जबरन रिटायर करने के बाद सीबीआई के शिकंजे में ला दिया गया. ये हैं करप्ट सिस्टम से लड़ने के लिए चर्चित IRS अफसर एसके श्रीवास्तव. इनकी मुश्किलें बेतहाशा बढ़ गई हैं. CBI ने कल इनके घर-आफिस पर मारा छापा. कहा जाता है कि कांग्रेस नेता पी. चिदंबरम और एनडीटीवी से पंगा इन पर भारी पड़ रहा है. हाल ही में दो बड़े अफसरों से उलझना भी इनके लिए परेशानी का कारण बना… देखिए अबकी श्रीवास्तव जी उबर पाते हैं या नहीं. इनका फोन बंद आ रहा है. इनके जानने-चाहने वाले इनकी कुशलता की कामना कर रहे हैं.
कई लोग अजीब मिट्टी के बने होते हैं. आईआरएस एसके श्रीवास्तव भी उन्हीं में हैं. इन्हें झुकाने, परास्त करने के लिए बहुत सारे उपक्रम किए गए. कांग्रेस राज में पागलखाने तक भेजा गया. पर वे झुके-टूटे नहीं. फिलहाल बीजेपी राज में भी उनकी मुश्किलें कम नहीं हुई हैं. उन्हें आईआरएस सेवा से जबरन रिटायर कर दिया गया. अब उनके घर और आफिस पर सीबीआई ने छापा डाल दिया है.
माना जा रहा है कि एसके श्रीवास्तव ने बड़े नेताओं और बड़े अफसरों से जो पंगा लिया, उन्हें एक्सपोज करने की जो कोशिश की, उनके करप्शन व उनके निर्देशों को जो चुनौती दी, उसके कारण उन्हें अब बेहद मुश्किल दिन देखने पड़ रहे हैं.
सीबीआई छापे के बाद से आईआरएस अफसर संजय कुमार श्रीवास्तव का मोबाइल फोन बंद जा रहा है. कहा जा रहा है कि कांग्रेस राज में केंद्रीय वित्त मंत्री और केंद्रीय गृहमंत्री रहे पी. चिदंबरम से लंबी लड़ाई के चलते उसका दुष्परिणाम एसके श्रीवास्तव को इसका दुष्परिणाम भाजपा राज में भी भोगना पड़ रहा है.
भाजपा राज की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण भी दक्षिण भारत की हैं और वे पहले लंबे समय तक कांग्रेस में रह चुकी हैं. पार्टी अलग-अलग होने के बावजूद दोनों नेता पी. चिदंबरम और निर्मला सीतारमण के बीच आपसी भाईचारा बेहद बढिया है. अरुण जेटली के वित्त मंत्री बने रहने तक चीजें एसके श्रीवास्तव के खिलाफ नहीं गईं. लेकिन उनके पद से हटते और निर्मला सीतारमण के केंद्रीय वित्तमंत्री बनते हुए एसके श्रीवास्तव को जबरन रिटायर करने और अब सीबीआई छापे वाली घटना हो गई.
इस बीच एसके श्रीवास्तव ने दो बड़े अफसरों से भी पंगा ले लिया. उन्होंने हंसमुख अधिया और अजय भूषण पांडेय के खिलाफ मानहानि का मुकदमा सुप्रीम कोर्ट में डाल रखा था. इसी चार जुलाई को सुप्रीम कोर्ट की जस्टिस यूयू ललित और जस्टिस विनीत सरन वाली खंडपीठ ने मुकदमा यह कहते हुए खारिज कर दिया कि इसमें मानहानि का कोई मामला नहीं बनता.
ज्ञात हो कि हंसमुख अधिया पूर्व केंद्रीय राजस्व सचिव हैं और अजय भूषण पांडेय वर्तमान केंद्रीय राजस्व सचिव हैं. इन दो बड़े अफसरों को नाराज करना भी एसके श्रीवास्तव के खिलाफ गया है. लेकिन अपने खास तेवर के लिए चर्चित एसके श्रीवास्तव ने कभी परवाह नहीं की कि वे जो कदम उठाने जा रहे हैं, उसके नतीजे क्या हो सकते हैं. यही कारण है कि उनकी इमेज एक बेहद ईमानदार और लड़ाकू अधिकारी की है जो अपने बड़े या छोटे, किसी की भी ग़लत चीज को बर्दाश्त नहीं करता.
माना जा रहा है कि अबकी बड़े नेताओं और बड़े अफसरों का सर्वदलीय गठजोड़ एसके श्रीवास्तव को आखिरी सबक सिखाने के मूड में है. ऐसे में देखना है कि क्या एसके श्रीवास्तव इन बुरे दिनों से उबर कर उठ खड़े हो पाते हैं या फिर उन्हें पूरा सिस्टम ठीकठाक तरीके से लपेटकर हमेशा के लिए शांत कर देता है! सीबीआई रेड के ताजे घटनाक्रम से एसके श्रीवास्तव को जानने वाले हैरान हैं और उनके कुशलक्षेम को लेकर चिंतित भी.