नववर्ष के दिन धनबाद जिला के तोपचांची स्थित वाटर बोर्ड डैम पर पत्रकारों की पिटाई की घटना की उच्चस्तरीय जांच होगी. मुख्यमंत्री रघुवर दास ने बोकारो प्रक्षेत्र के डीआइजी देव बिहारी शर्मा को पूरे घटनाक्रम की जांच के आदेश दिये हैं. उन्होंने जांच प्रतिवेदन एक सप्ताह के अंदर प्रस्तुत करने को कहा है. रांची स्थित प्रोजेक्ट भवन के कार्यालय कक्ष में मिलने गये तोपचांची प्रखंड के पत्रकारों के प्रतिनिधिमंडल को उन्होंने आश्वासन दिया कि पत्रकारों की प्रतिष्ठा धूमिल नहीं होने दी जायेगी.
इससे पूर्व तोपचांची प्रेस क्लब के अध्यक्ष दीपक कुमार पांडेय के नेतृत्व में चार सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल सीएम से मिल पूरी घटना से अवगत कराया और निष्पक्ष जांच की मांग की. बताया कि विगत एक जनवरी को तोपचांची डैम के किनारे पिकनिक मनाने आये लोगों पर तोपचांची पुलिस ने बेवजह लाठियां बरसायीं. जानकारी प्राप्त होने पर कई पत्रकार एवं फोटोग्राफर घटना के कवरेज के लिए पहुंचे. पिकनिक स्थल पर आम लोगों पर डंडा बरसाती पुलिस की तसवीरें उतारीं, जिसे देख पुलिस कर्मियों ने कैमरा छीनने का प्रयास किया एवं पत्रकारों पर लाठियां बरसायीं. खींची गयी तसवीरों को पुलिस कर्मियों द्वारा डिलीट करने के लिए दबाव डाला गया. पत्रकारों एवं फोटोग्राफरों द्वारा इसका विरोध करने पर थाना प्रभारी धर्मदेव राम ने जवानों को उन्हें पीटने का आदेश दिया.
सीएम ने पूछा, धनबाद एसपी ने किया?
मुख्यमंत्री ने पत्रकारों के प्रतिनिधिमंडल की बातों को गंभीरता से सुना. लगभग 20 मिनट तक तमाम कागजातों को देखने के बाद कहा कि मामला काफी गंभीर है. उन्होंने प्रतिनिधिमंडल से जानना चाहा कि क्या इस संबंध में धनबाद एसपी हेमंत टोप्पो को कोई आवेदन दिया गया? दीपक पांडेय ने बताया कि दो जनवरी को धनबाद डीसी प्रशांत कुमार व एसपी हेमंत टोप्पो को शिकायत पत्र सौंपा गया था. इस पर मुख्यमंत्री ने पूछा कि क्या कोई कार्रवाई हुई? पत्रकारों ने कहा कि अब तक हुई कार्रवाई की उन्हें जानकारी नहीं है. अब तक कोई नतीजा नहीं निकलने पर सीएम ने आश्चर्य व्यक्त किया. इसके बाद डीआइजी को मामले की अविलंब जांच का आदेश दिया.