नर्सिंग होम में अवैध काम किए जाने की सूचना मिलने पर कवरेज के लिए पहुंचे विधान केसरी के पत्रकार से अमर उजाला का रिपोर्टर भिड़ गया। दोनों के बीच जमकर गहमागहमी हुई। नौबत हाथापाई तक पहुंची लेकिन अन्य पत्रकारों ने बीच बचाव कर दिया। बाद में विधान केसरी के पत्रकार विनोद गुप्ता ने पुलिस को तहरीर दी। लेकिन अमर उजाला के ब्यूरो चीफ का अस्पताल होने की वजह से पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की।
मामला यूपी के रामपुर ज़िले की शाहबाद तहसील का है। अमर उजाला के रामपुर ब्यूरो चीफ विर्मेन्द्र शर्मा के भाई का रामपुर में पार्टनरशिप में नर्सिंग होम चल रहा है। उनके पार्टनर डॉक्टर नरेंद्र का दूसरा अस्पताल शाहबाद टाउन के आँवला चौराहे पर संचालित हो रहा है। नए शुरू किए अस्पताल में पहली फरवरी को डिलीवरी केस पहुंचाने के लिए स्वास्थ्य विभाग की आशाओं को लालच बतौर गिफ्ट्स बांटे जा रहे थे।
इसकी सूचना पर विधान केसरी का पत्रकार विनोद गुप्ता अस्पताल पहुंच गया तो वहां आशाओं की भीड़ लगी हुई थी। इसकी उसने वीडियो बना ली। इस पर अस्पताल स्टाफ ने उसका मोबाइल लेकर तोड़ने की कोशिश की। मामला बढ़ा तो डॉक्टर ने ब्यूरो चीफ विर्मेन्द्र को फोन लगा दिया। इसके बाद अमर उजाला ब्यूरो चीफ ने अपने रिपोर्टर शहनवाज़ अली को भेज दिया। अपने साथी रिपोर्टर का साथ देने के बजाय शहनवाज़ पूरी तरह अस्पताल की हिमायत में उतर गया और विधान केसरी के पत्रकार विनोद गुप्ता से भिड़ गया।
विनोद ने कोतवाल संजय तोमर को तहरीर दी तो उन्होंने यह कह कर कार्रवाई से इनकार कर दिया कि अस्पताल भी ब्यूरो चीफ का है, आप पत्रकार लोग आपस में मसला निपटाओ।