उपजा के प्रदेश अध्यक्ष रतन दीक्षित ने उरई (जालौन) के एक होटल में हुई मारपीट की घटना में खुद का नाम घसीटे जाने को स्थानीय राजनीति बताया है. उनका कहा है कि वे लंबे समय से संगठन की मजबूती के लिए काम करते आ रहे हैं, लिहाजा कुछ लोग उन्हें बदनाम करने की साजिश करते रहते हैं. उन्होंने कहा कि वे उरई (जालौन) में शपथ ग्रहण में शामिल होने गए थे, लेकिन उनके साथ मारपीट जैसी कोई घटना नहीं घटी. यह सरासर गलत है.
उन्होंने कहा कि किसी पत्रकार साथी ने ऐसी कोई घटना की भी हो, लेकिन इसमें उनका कोई इनवाल्वमेंट नहीं रहा है. उन्होंने एसपी से बात की है, एसपी ने बताया कि इस तरह की घटना हुई थी, लेकिन इस दौरान वे वहां मौजूद नहीं थे. श्री दीक्षित ने बताया कि मारपीट की घटना रात को 11 बजे हुई थी, जबकि वे उस होटल से खाना खाकर रात नौ बजे ही निकल गये थे. श्री दीक्षित ने कहा कि उपजा की आंतरिक राजनीति में उन्हें बदनाम करने की कोशिश की जा रही है, लेकिन वे किसी भी पत्रकार को अपना दुश्मन नहीं मानते हैं.
उन्होंने कहा कि कभी भी मैंने अपने मूल्यों से समझौता नहीं किया. दो बार से उपजा का निर्वाचित अध्यक्ष हूं. उरई में जो भी विवाद हुआ है वो स्थानीय स्तर पर हुआ है. उससे मेरा कोई भी लेना-देना नहीं है. अपना नाम घसीटे जाने से मैं बहुत ही आहत हूं. मैंने मूल्यों से कभी समझौता नहीं किया, हमेशा पत्रकार साथियों के लिए संर्घष किया है. पत्रकार साथियों का सहयोग भी मुझे मिलता रहा है.
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