Yashwant Singh : ग़ाज़ीपुर की बागी धरती का मूल निवासी होने के नाते मैं शर्मिंदा हूं कि चौरीचौरा से चले दस युवा सत्याग्रहियों को जिले में पदस्थ सत्ता के एक चापलूस टाइप एसडीएम ने अरेस्ट कर जेल भिजवा दिया.
इन सभी युवाओं से मैं ग़ाज़ीपुर की जनता की तरफ से माफी मांगना चाहता हूं.
गाजीपुर के लोगों से अनुरोध है कि वे जमानत कार्य आदि में मदद करें कराएं.
सत्याग्रह विरोधी दुष्ठ एसडीएम को गांधीवादी तरीके से फूल भेजकर उसके जल्द स्वस्थ होने की कामना करें.
इस एसडीएम का नाम नंबर आदि पता कर भेजें. इसे फोन पर भी गेट वेल सून कहने का दिल कर रहा है. ये कहां कहां पोस्टेड रहा है और इसने अब तक कुल कितना धन अर्जित किया है, इस बारे में भी जानकारी कराएं.
Chanchal सर लगातार इस मुद्दे पर लिख रहे हैं. भड़ास पर भी इस प्रकरण को पब्लिश किया जा रहा है.
पूरे प्रकरण को समझने के लिए इन्हें भी पढ़ें-
गाजीपुर में अरेस्ट किए गए दस युवा सत्याग्रहियों में एक महिला पत्रकार भी है!
ये कौन एसडीएम है जिसने विद्रोह की धरती गाजीपुर की नाक कटा दी!
कलेट्टर के नाम खत : गाजीपुर कोई वर्जित क्षेत्र नहीं जिसकी जमीन से गुजरना कोई जुर्म बनता है!
‘नागरिक सत्याग्रह पदयात्रा’ पर निकले युवाओं को गाजीपुर में पुलिस ने अरेस्ट कर लिया!
भड़ास के फाउंडर और एडिटर यशवंत सिंह की एफबी वॉल से.