हिमाचल प्रदेश में एक अधिकारी की तानाशाही ऐसी है कि वो पत्रकार के सवाल पर जवाब नहीं देता बल्कि गुंडों से हमला करवा देता है। घटना 31 अगस्त दोपहर 3 बजे की है। ‘ख़बरें अभी तक’ के एंकर और यूपी ब्यूरो हेड अभिषेक शांडिल्य हिमाचल प्रदेश प्राइवेट एजुकेशन रेगुलेटरी कमीशन के चेयरमैन डॉ. के के कटोच के पास सबूतों के आधार पर सवाल पूछने पहुंचे तो उनके गुर्गों ने हमला बोल दिया।
एक व्यक्ति रिपोर्टर अभिषेक शांडिल्य का हाथ पकड़ कर खींचता है। इसके बाद केके कटोच ‘ख़बरें अभी तक’ का कैमरा तोड़ने की कोशिश करते हैं। वो तोड़ने में कामयाब भी रहते हैं। पुलिस की धमकी दी जाती है और केके कटोच के गुंडे जानलेवा हमला भी करते हैं। महिला सचिव का सहारा लेकर रिपोर्टर को फंसाने की धमकी देते हैं। कटोच के गुंडे कैमरामैन संजय पाल और रिपोर्टर अभिषेक शांडिल्य को धक्का मार कर घायल करने की पूरी कोशिश करते हैं।
रिपोर्टर के जाने के बाद पुलिस बुलाई और फ़र्ज़ी मामले में महिला सचिव ने मुक़दमा दर्ज करवा दिया। इधर ‘ख़बरें अभी तक’ ने भी केके कटोच और उनके गुर्गों पर जानलेवा हमला, मीडिया की आज़ादी, रिपोर्टर के साथ मारपीट, रिपोर्टर को बाद देख लेने की धमकी, कैमरा तोड़ने के आरोपों में मुकदमा दर्ज करवा दिया है।
केके कटोच पर 16 अगस्त को ‘ख़बरें अभी तक’ ने एक प्रोग्राम चलाया था जिस पर चैनल ने कई बड़े ख़ुलासे किए थे। चैनल के रिपोर्टर जब तमाम सबूतों के आधार पर कमीशन के चेयरमैन कटोच से सवाल करने पहुंचे तो वहां पहले से ही रिपोर्टर पर जानलेवा हमला बोलने की तैयारी थी, और उन सभी ने किया भी ऐसा ही।
केके कटोच पर सेक्सुअल हरासमेंट, फर्ज़ीवाड़ा, फ़र्ज़ी डिग्री के दम पर कुलपति बनने का केस चल रहा है। इन्हीं मुद्दों पर सबूतों के आधार सवाल पूछा गया तो कटोच घबरा गए। एक प्लानिंग के तहत बैठे लोग मारपीट करने लगे। कटोच को लेकर विपक्ष में रहते हुए बीजेपी के बहुत वरिष्ठ नेता शांता कुमार ने भी सदन में सवाल उठाया था। हिमाचल के सीएम जयराम ठाकुर ने भी हिमाचल प्रदेश कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर के बजट में धांधली को लेकर 2016 में सवाल विधानसभा में पूछा था। उस वक्त कटोच इसी विश्वविद्यालय के कुलपति थे।