संजय कुमार सिंह-
ट्वीटर ने आईटी मंत्री को कानून की सीख दी। घंटे भर अकाउंट बंद रहा। सीख मिली : बेमतलब का कानून – कानून मंत्री को भी भारी पड़ सकता है।
वो कहते हैं ना – अभी तो अंगड़ाई है, आगे बड़ी लड़ाई है। देखते रहिए। मजे लीजिए। तनाव न पालिए। ट्वीटर के बिना भी जी रहे थे और इसके साथ भी जीएंगे। मंत्री जी को अपनी ताकत (अक्ल भी) आजमाने दीजिए।
अमिताभ श्रीवास्तव-
बताइये इस सरकार का इक़बाल क्या रह गया है! ट्विटर ने देश के क़ानून मंत्री और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद का अकाउंट ही एक घंटे के लिए ब्लाक कर दिया। चैनल कार्टून दिखा रहे थे कि सरकार ने ट्विटर के पर क़तर दिये। यहाँ तो उल्टे चिड़िया ने ही चोंच मार दी। रविशंकर जी इस सरकार के एक वरिष्ठ मंत्री हैं। शर्मनाक और सख़्त क़ाबिले एतराज़ हरकत है ट्विटर की। संसदीय समिति के अध्यक्ष शशि थरूर ने कहा है कि ट्विटर से जवाब माँगा जाएगा।
वक़्त आ गया है कि ट्विटर को बाहर का रास्ता दिखाया जाना चाहिए। लेकिन सरकार को चाहिए कि सिर्फ़ कड़ी निंदा तक सीमित न रहे। माननीय प्रधानमंत्री , उनके तमाम मंत्रियों और बीजेपी के तमाम सांसदों-नेताओं, आईटी सेल के लोगों को इस पर विरोध जताते हुए तुरंत ट्विटर छोड़ देना चाहिए। बल्कि, इससे भी आगे जाकर डिजिटल इंडिया वाली सरकार को ट्विटर के मुक़ाबले के लिए अपना एक देसी ऐप बनवाना चाहिए। नाम रखा जाए चिरैया ऐप। रंग नीले की जगह हो भगवा, नारंगी, केसरिया, गेरुआ जैसा। ऐप को लोकप्रिय बनाने के लिए सामाजिक सरोकार वाला गाना अपने पास पहले से है- ओ री चिरैया, नन्हीं चिरैया, अँगना में आ जा तू। इसमें जेंडर वाली बात आ जाएगी। जब भी कोई चिरैया ऐप पर अकाउंट खोलना चाहे तो गाना बजे- रंग दे तू मोहे गेरुआ। युवा लोग ख़ुश होंगे। बोलीवुड का भी हौसला बढ़ेगा। और ऐसे गाने बनेंगे जो सरकार के काम आएँ। एक और गाना है जो हम लोग बचपन में रेडियो पर सुना करते थे- चुन चुन करती आई चिड़िया, दाल का दाना लाई चिड़िया। इस बहाने पर्यावरण, वन्य जीव संरक्षण की बात भी हो जाएगी। कुछ तूफ़ानी करो तो। करने से होगा। धूम मच जाएगी क़सम से।
निशीथ जोशी-
केंद्रीय कानून मंत्री रवि शंकर प्रसाद का अकाउंट ब्लॉक एक घंटे तक ब्लॉक करने के बाद खोल कर ट्विटर ने भारत सरकार को चुनौती देने वाली हरकत की है। उसका तर्क है कि अमेरिका के डिजिटल मिलेनियम कॉपी राइट एक्ट (DMCA ) के तहत कारवाई की है। ट्विटर के मुताबिक कारण यह की रवि शंकर प्रसाद ने चैनलों को दिए अपने तीन इंटरव्यू के लिंक शेयर किए थे और उनके लिंक शेयर कर दिए थे।
अब सवाल यह उठता है कि ट्विटर, भारत में अपने प्लेट फार्म को चलाने के लिए कौन से कानून लागू करेगा भारत के या अमेरिका का। यदि अमेरिका के कानून से भारत को हांकना है तो फिर भारत में उसके ऑपरेशन को ब्लॉक कर देना चाहिए। ट्विटर में क्या पहली बार किसी ने कोई लिंक शेयर किया है। यदि ट्विटर को खंगाल लिया जाए तो आधे से अधिक अकाउंट ऐसे मिलेंगे जिन्होंने ऐसे लिंक शेयर किए होंगे।
पर भारत की प्रभु सत्ता को चुनौती देने के लिए किसी से शिकायत करने की साजिश रची गई और रवि शंकर प्रसाद को नीचा दिखाने की हरकत की गई। इसके पहले उपराष्ट्रपति के अकाउंट के साथ भी ट्विटर खेल कर चुका है। ट्विटर और दूसरे सोशल मीडिया प्लेट फार्म अपनी मनमानी कर के भारत की राजनीति और अर्थव्यवस्था को प्रभावित करना चाहते हैं। इसमें उनके व्यवसाईक हित शामिल हैं। साथ वे सत्ता को अपने तरीके से चलाने वाली ताकत बनने का प्रयास कर रहे हैं।
लगता है कि आने वाले दिनों में ट्विटर और भारत सरकार के बीच खींच तान और बढ़ने वाली है। यदि भारत में ट्विटर पर रोक लगा दी गई तो उसके लिए इतना बड़ा बाजार खो देने खतरा पैदा हो जायगा। लगता है चीन के तमाम ऐप ब्लॉक करने के बाद अब ट्विटर की बारी है।
अनुरंजन झा-
दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र के कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद के ट्वीटर एकाउंट का एक्सेस मंत्री महोदय को घंटे भर से ज्यादा ट्वीटर ने नहीं दिया । कानून मंत्री आपातकाल की बरसी पर अपनी व्यथा कैसे रोएँ ? ये फेसबुक-ट्वीटर सब बंद करो यार नहीं तो करते रहो।