Connect with us

Hi, what are you looking for?

बिहार

निर्भया कांड के दोषियों के लिए बक्सर जेल में बन रहे मौत के फंदे!

अफजल गुरु के लिए भी यहीं से भेजा गया था फंदा, मनीला रस्सी से तैयार होता है फांसी का फंदा… किसी समय फिलीपिंस की मनीला जेल में तैयार होता था फांसी का फंदा, इसकी वजह से फांसी का फंदा जिस रस्सी से बनता है उसे मनीला कहा जाता है… 1844 में अंग्रेजी हुकूमत ने बक्सर के केंद्रीय कारागार में फांसी के फंदा तैयार करने की फैक्टरी लगाई थी, तभी से देश में जो भी फांसी होती है इसी कारागार में कैदी ही फांसी का फंदा तैयार करते हैं….

नई दिल्ली। हैदराबाद गैंगरेप के बाद आरोपियों का एनकाउंटर और उन्नाव गैंगरेप पीड़िता की जलाकर हत्या के बाद देश में मचे बवाल के बाद सात साल पहले वाले निर्भया कांड के दोषियों को फांसी देने की तैयारी में सरकार लग गई है। देश ही नहीं विदेश के मीडिया में भी छाये रहे इस शर्मसार करने वाले कांड के दोषियों को फांसी देने के लिए बिहार के बक्सर जेल में विशेष रस्सियां तैयार की जा रहीं हैं।

Advertisement. Scroll to continue reading.

ज्ञात हो कि हैदराबाद गैंगरेप और उन्नाव प्रकरण को लेकर देश में मचे बवाल में निर्भया कांड में अभी तक दोषियों को फांसी न होने का मुद्दा मुख्य रहा। निर्भया कांड में न्याय में हो रही देरी के पीछे जल्लाद का न होना बताया जा रहा था। अब जब महिलाओं की सुरक्षा को लेकर देश में चल रहे आंदोलन में निर्भया कांड के दोषियों को सजा में देरी की बात आई तो देश के एममात्र जल्लाद पवन सिंह ने आगे बढ़कर कहा कि इन दोषियों को जल्द से जल्द फांसी होनी चाहिए।

इस बीच हिमाचल के अलावा दूसरे प्रदेशों से भी कई युवक फांसी देने के लिए जल्लाद बनने के लिए तैयार होने लगे। केंद्र सरकार को लगा कि अब निर्भया कांड में दोषियों का फांसी देन में देरी की तो उसका खामियाजा सरकार की छवि को भुगतना पड़ सकता है तो अब युद्ध स्तर पर दोषियों को फांसी देन की तैयारी शुरू होने लगी है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

ज्ञात हो कि 16 दिसम्बर 2012 को देश की राजधानी दिल्ली में घटे निर्भया कांड ने देश को दुनियाभर में शर्मसार कर दिया था। उस रात दिल्ली की सड़क पर एक बस में अपने दोस्त के साथ घर जा रही एक युवती के साथ गैंगरेप की हैवानियत की गई थी। उसके बाद दोनों को सर्द रात में मरने के लिए सड़क किनारे फेंक दिया गया था। गैंगरेप के दोषियों की बर्बरता की शिकार हुई निर्भया की इलाज के दौरान मौत हो गई थी। यह मुद्दा लोकसभा और राज्यसभा दोनों में गर्माया था। दिल्ली के जंतर-मंतर पूरा बवाल मचा था।

तमाम दबाव के बबाद लंबी कानूनी प्रक्रिया के बाद अब यह मामला अपने अंजाम तक पहुंचता दिख रहा है। गैंगरेप व हत्या के इस मामले में दोषी मुकेश, पवन शर्मा, अक्षय ठाकुर और विनय शर्मा को फांसी देने की तैयारी तेजी से चल रही है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

यह अपने आप में दिलचस्प है कि इस बीच गृह मंत्रालय ने शुक्रवार को दोषी विनय शर्मा की राष्ट्रपति को भेजी दया याचिका खारिज करने की सिफारिश की तो विनय शर्मा ने दया याचिका इस आधार पर वापस करने की मांग की है कि वह उसकी ओर से अधिकृत नहीं है। इस पर उसके हस्ताक्षर ही नहीं हैं। अब जब फांसी के फंदे तैयार होने लगे हैं तो इन दोषियों का फांसी लगना तय है।

बक्सर जेल में बन रहे हैं मौत के फंदे : सात साल पहले हुए इस जघन्य कांड में अब न्याय को अंजाम मिलने की तैयारी शुरू हो गई है। कांड में दोषी करार चारों गुनाहगारों को बक्सर जेल में बने फंदे पर लटकाया जाएगा। मनीला रस्सी के नाम से मशहूर फांसी के लिए रस्सी को तैयार करने के लिए बक्सर केंद्रीय कारा को निर्देश मिल चुका है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

यहीं की रस्सी से लटकाए गए थे अफजल व कसाब : देश में केवल बक्सर जेल में ही फांसी देने वाली खास रस्सी तैयार होती है। अंग्रेजी हकुमूत से कुख्यात रही इस जेल से बनी रस्सी से आतंकी कसाब व अफजल गुरु को भी फांसी पर लटकाया गया था।

देश में केवल बक्सर जेल में ही बनता है मौत का फंदा : यह भी अपने आप में दिलचस्प है कि जिस जेल में क्रांतिकारियों के लिए फांसी के फंदे बनते थे उसी जेल में आजाद भारत में दोषियों के लिए फांसी के फंदे तैयार होते हैं। यह अपने आप में इतिहास हीहै कि देश में आजादी के पहले से अब तक जितनी फांसी दी गई हैं, उनमें बक्सर जेल में बनी मनीला रस्सी का ही इस्तेमाल हुआ है। दरअसल मनीला रस्सी इसे इसलिए बोल जाता है क्योंकि हमारे देश में रस्सी बनने से पहले यह रस्सी फिलीपिंस की मनीला जेल में बनती थी। 1844 ई. में अंग्रेज शासकों ने बक्सर केंद्रीय कारा में मौत का फंदा तैयार करने की फैक्ट्री लगाई थी। यह भी अपने आप में दिलचस्प है कि देश में जब-जब मौत का फरमान जारी होता है तब-तब केंद्रीय कारा, बक्सर के कैदी ही मौत का फंदा तैयार करते हैं। इसे खास किस्म के धागों से तैयार किया जाता है।

Advertisement. Scroll to continue reading.

सोशल एक्टिविस्ट चरण सिंह राजपूत की रिपोर्ट.

Advertisement. Scroll to continue reading.
Click to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Advertisement

भड़ास को मेल करें : [email protected]

भड़ास के वाट्सअप ग्रुप से जुड़ें- Bhadasi_Group

Advertisement

Latest 100 भड़ास

व्हाट्सअप पर भड़ास चैनल से जुड़ें : Bhadas_Channel

वाट्सअप के भड़ासी ग्रुप के सदस्य बनें- Bhadasi_Group

भड़ास की ताकत बनें, ऐसे करें भला- Donate

Advertisement