ग़ाज़ीपुर के छात्र नेता रहे, वर्तमान में समाजसेवी और पत्रकार के बतौर सक्रिय फूलचंद सिंह बेबाक शख्सियत हैं. जो दिल में है वही जुबां पर. उनसे भड़ास एडिटर यशवंत ने ग़ाज़ीपुर स्थित भड़ास आश्रम पर बातचीत की.
इस बातचीत में फूलचंद जी के जीवन के कई रोचक पहलू सामने आए. आजकल इस कदर सच बोलने वाले बहुत कम रह गए हैं. लोग नाप तौल कर बोलने लगे हैं या चुप रहने लगे हैं. जाने कौन सी बात किसके पाले में जाए और किसे न पसंद आए.
पर फूलचंद इस सबसे अलग शख्स हैं. वे वही कहते हैं जो उनका दिल कहता है. बचपन में हाईवोल्टेज बिजली तार छू लेने के कारण उनका एक हाथ कट गया. वे छात्र राजनीति में एक चुनौती दिए जाने के कारण आए और चुनाव जीते. वे प्रेम में पड़े पर घर बसा चुके लोगों की गृहस्थी का हाल देखकर फूलचंद संन्यास लेने नेपाल में पहाड़-गुफाओं की ओर निकल जाते हैं.
फूलचंद को गाजीपुर में चाणक्य भी कहा जाता है जो अपने दम पर विधायक बनवा-हरवा देते हैं. ऐसे शख्स का इंटरव्यू देखना-सुनना बनता है.
दो पार्ट में इंटरव्यू के दोनों लिंक नीचे हैं…
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