
योगी सरकार का बजट ठुन ठुन गोपाल निकला…. जानिए कैसे…
-कुम्भ मेले में जिस गंगा एक्सप्रेसवे की घोषणा हुई थी, उसके लिए एक भी पैसा नहीं।
-पूर्वांचल एक्सप्रेसवे जिसकी लागत रु. 23,000 है, जिसे 2 वर्ष में पूरा किया जाना था, उसके लिए इस बजट गत वर्ष के बजट में रु.550 करोड़ दिया था और इस वर्ष मात्र रु.1194 करोड़ : इस तरह ये एक्सप्रेस वे कितने वर्ष में पूरा होगा। हर साल लागत में भी बढ़ोतरी होती जाएगी।
-बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे की लागत रु.11,000 करोड़ है, के लिए मात्र रु.1000 करोड़ दिया है, कितने वर्ष लगेंगे इस परियोजना में। 11 वर्ष?
-युवाओं को रोजगार सृजन के लिए शून्य बजट।
-किसानों की आय दो गुनी करने के लिए शून्य बजट।
-गन्ना किसानों के बकाया भुगतान के लिए शून्य।
दो वर्ष में ग्राउंड ब्रेकिंग तो हुई लेकिन पूँजी निवेश शून्य रहा।
गौशालाओं के लिए रु.550 करोड़ जरूर दिया…. क्या इससे युवाओं को इससे रोजगार मिल जाएगा?
उत्तर प्रदेश कैडर के वरिष्ठ आईएएस अधिकारी रहे सूर्य प्रताप सिंह की एफबी वॉल से.