लाकडाउन के बाद से बडे अखबारी समूहों में जहां बडे पैमाने पर छंटनी हो रही है , वहीं दैनिक अमृत विचार छंटनी का शिकार हुए बेरोजगार पत्रकारों – गैर पत्रकारों का सहारा बनता जा रहा है। बड़े अखबारों में लगातार स्टाफ कम करने का क्रम जारी है। ये समूह 35 से 40 प्रतिशत तक स्टाफ घटाने की योजना पर काम कर रहे हैं। जिलों के ब्यूरो आफिस बंद किये जा रहे या कार्यरत कर्मचारियों की संख्या कम कर दी गयी है। तहसीलों के आफिस बंद कर दिये गए हैं। इससे बडे पैमाने पर कोरोना जन्य संकट कालीन स्थित में मीडियाकर्मी , खासकर पत्रकारों के सामने आजीविका का बडा संकट उत्पन्न हो गया है। इसमें कई युवा पत्रकार भी हैं। हालत यह है कि तीस-पैंतीस हजार रुपये वेतन पाने पत्रकार पंद्रह-बीस हजार रुपये की नौकरी को भटक रहे हैं।
दैनिक जागरण, मुरादाबाद से छंटनी के शिकार डिप्टी चीफ सब एडिटर आशुतोष मिश्र ने अमृत विचार, मुरादाबाद में सिटी इंचार्ज के रूप में ज्वाइन किया है। दैनिक जागरण, मुरादाबाद के डिजाइनर रिजवान अहमद ने भी अमृत विचार , मुरादाबाद ज्वाइन किया है। हिंदुस्तान, नोएडा से छटनी कर दिए गए मनीष मिश्रा ने अमृत विचार, मुरादाबाद में सीनियर सब एडिटर के पद पर ज्वाइन किया है। वह मुरादाबाद में दैनिक जागरण और अमर उजाला में भी सेवारत रह चुके हैं। हिंदुस्तुान, नोएडा से छंटनी के शिकार हुए युवा पत्रकार पीयूष द्विवेदी भी अमृत विचार, बरेली आ गए हैं। वह दैनिक जागरण, बरेली से एक वर्ष पहले ही हिंदुस्तान गए थे और छंटनी की जद में आ गए। वह अमृत विचार, बरेली में सिटी प्रभारी के रूप सेवायें देंगे।
दैनिक जागरण, बरेली से छंटनी अभियान में बाहर कर दिये गए सर्कुलेशन मैनेजर त्रिनाथ शुक्ला ने अमृत विचार, बरेली में सर्कुलेशन मैनेजर के पद पर ज्वाइन किया है। वह दैनिक जागरण में सिटी सेल्स हेड थे और उससे पहले अमर उजाला, लखनऊ, टाइम्स आफ इंडिया, बिजिनेस स्टैंटर्ड, पायनियर, राजस्थान पत्रिका और आउटलुक में काम कर चुके हैं।
दैनिक अमृत विचार लखनऊ, बरेली और मुरादाबाद से प्रकाशित है। समूह संपादक शंभू दयाल वाजपेयी के अनुसार प्रबंधन की योजना अखबार का चौथा संस्करण हल्द्वानी (नैनीताल) से भी शुरू करने की योजना है। नोएडा संस्करण भी प्रबंधन की योजना में है। अमृत विचार वेबसाइट और यूट्यूब चैनेल भी है। डिजिटल में एक दर्जन से अधिेक पूर्ण कालिक पत्रकार कार्यरत हैं। बरेली में अखबार का प्रकाशन शुरू हुए आठ महीने हुए हैं। पांच महीने पहले मुरादाबाद संस्करण शुरू हुआ। बेहतर कंटेंट, सभी रंगीन और अच्छा कागज व छपाई होने से अखबार ने कम समय में ही पाठकों में अपनी पहचान बनायी और तेजी से बढ़ रहा है। 14 -16 पेज के अखबार के साथ रविवार को चार पेज की मैगजीन भी है।