मीडिया जब गोदी हो तो उससे निष्पक्षता की उम्मीद नहीं की जा सकती. सत्ता पक्ष के नेताओं की जब पोल खुलती है तो मीडिया या तो चुप हो जाता है या फिर बस कामचलाऊ कवरेज करता है. चिन्मयानंद प्रकरण एक सटीक उदाहरण है. मीडिया इस कांड में मौनी बाबा बना रहा.
मसाज कांड के वीडियोज सारे मीडिया हाउसेज के पास थे लेकिन किसी ने खबर चलाने की हिम्मत नहीं की. भड़ास जैसे पोर्टल ने इस प्रकरण को ब्रेक किया और मसाज वीडियो के कई दृश्यों को प्रकाशित किया. चिन्मयानंद प्रकरण में मीडिया की भूमिका समझने के लिए बस इस एक कार्टून को देख लीजिए…
One comment on “चिन्मयानंद कांड में मीडिया की भूमिका समझने के लिए इस एक कार्टून को देख लीजिए”
You guys re doing really a gud job. Keep it up media buddies